जयपुर. स्वायत्त शासन विभाग ने डेयरी बूथ संचालकों को बकाया राशि 31 मार्च 2021 तक जमा कराने पर ब्याज में छूट के आदेश जारी किए हैं. वहीं विवाह स्थल पंजीयन में लिए जाने वाले विलंब शुल्क में छूट की अवधि 31 दिसंबर तक दी गई थी. ऐसे में अब निगम प्रशासन की ओर से 28 और 29 दिसंबर को जोन स्तर पर शिविर का आयोजन कर बकाया राशि वसूल की जाएगी. नगर निगम ने डेयरी बूथ संचालकों का किराया 1000 रुपए प्रति माह निर्धारित किया हुआ है, लेकिन 2018 से अब तक हजारों बूथ संचालकों का किराया बकाया है और इस साल कोविड-19 की वजह से निगम ने अब तक सख्ती भी नहीं दिखाई है.
यही नहीं, इन डेयरी बूथ संचालकों को बीते 3 साल का किराया एकमुश्त जमा कराने पर किसी तरह का ब्याज भी नहीं देना होगा. ये छूट 31 मार्च 2021 तक जारी रहेगी. निगम ये किराया त्रैमासिक वसूल करता है और किराया नहीं चुकाने पर 18 फीसदी ब्याज वसूला जाता है. ऐसे में जिन बूथ संचालकों ने अब तक किराया जमा नहीं कराया है. यदि वो एक मुश्त बकाया जमा कराते हैं, तो उन्हें तकरीबन 6000 रुपए का फायदा भी होगा. इसके साथ ही राजस्थान नगरपालिका अधिनियम 2009 के तहत विवाह स्थल पंजीयन शुल्क वर्ष 2019-20 तक का बकाया एकमुश्त जमा कराने पर 10 प्रतिशत शास्ति और 100 रुुपए प्रतिदिन का विलंब शुल्क और ब्याज में शत-प्रतिशत छूट दी गई है.
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विलंब शुल्क में छूट की अवधि 31 दिसंबर तक दी गई है. ऐसे में डेयरी बूथ और विवाह स्थल संचालकों को लाभ देने के लिए 28 और 29 दिसंबर को जोन स्तर पर दो दिवसीय शिविरों का आयोजन किया जाएगा. जिसका कार्यक्रम निगम प्रशासन द्वारा जारी कर दिया गया है. उधर, ईज ऑफ डूइंग बिजनेस के तहत नगर निगम जयपुर हेरिटेज द्वारा प्राइवेट होटल को पहला ट्रेड लाइसेंस जारी किया गया. आयुक्त लोकबंधु के अनुसार ईज ऑफ डूइंग बिजनेस के तहत बिजनेस रिफॉर्म एक्शन प्लान के तहत सूचना प्रौद्योगिकी एवं संचार विभाग के साथ समन्वय कर, जो ऑनलाइन सॉफ्टवेयर तैयार किया गया है. उसके माध्यम से ऑनलाइन आवेदन करने वाले को सुगमता से ट्रेड लाइसेंस जारी किया गया है.