जयपुर. एसीबी ने गुरुवार शाम रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किए गए बायोफ्यूल अथॉरिटी के सीईओ के ठिकानों पर सर्च की कार्रवाई की. इस सर्च ऑपरेशन में एसीबी ने करीब 3 करोड़ 62 लाख रुपए की नकदी (acb searching in biofuel Project Director house in jaipur) बरामद किया है. इसके साथ ही आरोपी के विभिन्न आलीशान फ्लैट और पेंट हाउस से विदेशी ब्रांड की कुल 102 बोतलें बरामद की गई हैं. डीजी एसीबी बीएल सोनी ने बताया कि आरोपी के खिलाफ प्रिवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट के साथ ही एक्साइज एक्ट का मामला भी दर्ज करवाया गया है. फिलहाल पूरे प्रकरण में एसीबी की जांच लगातार जारी है.
रात भर कैश ही गिनती रही एसीबी टीम: बायोफ्यूल अथॉरिटी के सीईओ सुरेंद्र सिंह (Big Action Against Bribery in Jaipur) राठौड़ को परिवादी से 5 लाख रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कि.या गया था. इसके बाद एसीबी ने जब आरोपी के झोटवाड़ा स्थित आवास पर सर्चिंग की, तो वहां से बड़ी तादाद में कैश बरामद किया गया. इतनी बड़ी मात्रा में कैश देखकर एसीबी के अधिकारी भी हैरान रह गए. नोट गिनने के लिए मशीन मंगवानी पड़ी. एसीबी के अधिकारी और पूरी टीम रात भर नोट गिनने वाली मशीन से कैश ही गिनते रहे. जिसके मुताबिक आरोपी के घर से 3 करोड़ 62 लाख रुपए बरामद किए गए हैं. कैश के अलावा मकान से विदेशी ब्रांड की 46 शराब की बोतलें भी बरामद की गई.
आलीशान फ्लैट और पेंट हाउस में मिली ब्रांडेड शराब की बोतलें: आरोपी के झोटवाड़ा स्थित आवास के अलावा सहकार मार्ग स्थित पिनेकल में तीन अपार्टमेंट और पेंट हाउस में भी एसीबी ने सर्च की कार्रवाई की. सर्च के दौरान यहां से विदेशी (crores recovered in Biofuel ceo bribe case in jaipur) ब्रांड की 56 महंगी शराब की बोतलें बरामद की गई. उनमें से कई ऐसे ब्रांड भी शामिल थे जिन्हें आज तक एसीबी के अधिकारियों ने भी नहीं देखा था. बड़ी तादाद में शराब की बोतलें बरामद होने के चलते आरोपी के खिलाफ ज्योति नगर थाने में एक्साइज एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज करवाया गया है.
अब तक उजागर हुई 100 करोड़ की काली कमाई: रिश्वतखोर सुरेंद्र सिंह राठौड़ के विभिन्न ठिकानों पर सर्च के दौरान अब तक एसीबी को 100 करोड़ रुपए की संपत्ति का पता चला है. जिसमें 4 करोड़ रुपए की 4 लग्जरी कार भी शामिल है जिनके नंबर भी वीवीआइपी हैं. इसके साथ ही करोड़ों रुपए की प्रॉपर्टी के कागजात भी एसीबी सर्च के दौरान बरामद हुए हैं. इसके साथ ही कई बैंक लॉकर की जानकारी भी एसीबी के हाथ लगी है जिन्हें खंगाला जाना अभी बाकी है. इतनी बड़ी मात्रा में काली कमाई उजागर होने के बाद अब एसीबी इस पूरे प्रकरण को लेकर आयकर विभाग और ईडी को भी पत्र लिखकर इसकी जानकारी देगी. राठौड़ ने अपने परिवार के सदस्यों व रिश्तेदारों के नाम से भी करोड़ों रुपए की प्रॉपर्टी में इन्वेस्ट किया हुआ है जिसके दस्तावेज भी सर्च के दौरान सामने आए हैं. फिलहाल प्रकरण में एसीबी की कार्रवाई लगातार जारी है जिसमें और भी कई खुलासे होने की संभावना है.
पूर्व सीएस से सम्मानित हो चुका है आरोपी: आरोपी सुरेंद्र सिंह राठौड़ को पूर्व सीएस डीबी गुप्ता प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित कर चुके हैं. डीबी गुप्ता से प्राप्त प्रशस्ति पत्र को बकायदा फ्रेम करवाकर आरोपी ने अपने कार्यालय में लगवा रखा है. एसीबी की कार्रवाई के दौरान कार्यालय में दीवार पर टंगा हुआ योग्यता प्रमाण पत्र भी चर्चा का काफी विषय रहा. इसके साथ ही कार्यालय में आरोपी की मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का स्वागत करते हुए की कुछ तस्वीरें भी लगी हुई थी. रिश्वतखोरी के इस पूरे प्रकरण में सुरेंद्र सिंह राठौड़ के अलावा और कौन-कौन लोग शामिल हैं इसकी भी पड़ताल एसीबी कर रही है.
सुरेंद्र के खिलाफ एसीबी को मिली और भी शिकायतें: डीजी एसीबी बीबीएल सोने का कहना है कि आरोपी सुरेंद्र सिंह राठौड़ के खिलाफ एसीबी मुख्यालय को मासिक बंधी मांगे जाने की कुछ अन्य शिकायतें भी प्राप्त हुई हैं. जिनकी जांच में एसीबी टीम जुट गई है, और जल्द ही उन शिकायतों पर भी कार्रवाई कर मामले का खुलासा किया जाएगा. सुरेंद्र सिंह राठौड़ ने जिस संविदा कर्मी के मार्फत रिश्वत की राशि ली थी, उसकी अन्य प्रकरणों में क्या भूमिका है इसके बारे में भी जांच की जा रही. इसके साथ ही एसीबी टीम ने बायोफ्यूल अथॉरिटी कार्यालय के कुछ कमरों को भी सील किया है, जिनमें मौजूद दस्तावेजों की जांच की जाएगी.
एक दिन के रिमांड पर सौंपाः एसीबी मामलों की विशेष अदालत ने रिश्वत मामले में गिरफ्तार बायो फ्यूल प्राधिकरण के सीईओ सुरेन्द्र सिंह राठौड और संविदाकर्मी देवेश शर्मा को एक दिन के रिमांड पर एसीबी को सौंपा है. एसीबी की ओर से दोनों आरोपियों को अदालत में पेश कर एक दिन का रिमांड मांगा गया. वहीं आरोपी पक्ष के अधिवक्ता ने यह कहकर विरोध दर्ज कराया कि मामले में आईओ की जगह टीएलओ पेश हुए हैं. इसके अलावा जो नकदी जब्त की गई है वह खनन का काम करने वाले प्रार्थी के बेटे की है. साथ ही एसीबी ने एफआईआर और सीजर मेमो भी पेश नहीं किया है. जिस पर सुनवाई करते हुए अदालत ने दोनों आरोपियों को एक दिन के रिमांड पर सौंप दिया है.