सवाईमाधोपुर : शिवाड़ के धुश्मेश्वर महादेव मंदिर में पांच दिवसीय महाशिवरात्रि महोत्सव का आयोजन किया जा रहा है. मंदिर में अलसुबह से ही श्रद्धालुओं का तांता लगा हुआ है. जिला मुख्यालय से करीब 35 किलोमीटर दूर शिवाड़ स्थित घुश्मेश्वर महादेव को देश के 12वें ज्योतिर्लिंग के रूप में माना जाता है. यहां वर्ष भर देश के कोने-कोने से श्रद्धालु पहुंचते हैं और मंदिर में हाजिरी लगाते हैं. यह महोत्सव 29 फरवरी तक चलेगा. आज महाशिवरात्रि के मौके पर अलसुबह से ही मन्दिर में शिव भक्तों का तांता लगा हुआ है. बड़ी संख्या में श्रद्धालु मन्दिर पहुंच रहे हैं. शिवलिंग पर आक, धतूरा और बिल्वपत्र आदि चढ़ाए जा रहे हैं.
अद्भुत है मंदिर का इतिहास: यह मंदिर करीबन 900 वर्ष पुराना बताया जाता है. यहां मंदिर में स्थापित शिवलिंग स्वत: प्राकट्य है. बताया जाता है कि यहां घुश्मा नामक व्यक्ति की तपस्या से शिव का प्राकट्य हुआ था. इस शिवलिंग को पाताल से जुड़ा हुआ माना जाता है. वेदों और उपनिषदों में भी शिवाड़ के घुश्मेश्वर का वर्णन है. महर्षि वेदव्यास ने भी उपनिषद में इस मंदिर का वर्णन किया है.
पर्वत है आकर्षण का केन्द्र: इस मंदिर में देवगिरि पर्वत लोगों के लिए विशेष आकर्षण का केंद्र है. पहाड़ पर देवी मंदिर को ट्रस्ट ने विकसित कर खूबसूरत बना दिया. यहां विभिन्न देवी-देवताओं की बड़ी-बड़ी प्रतिमाएं स्थापित की गई.
बारहवां ज्योतिर्लिंग है शिवाड़: इस मंदिर को 12वां ज्योतिर्लिंग होने का दावा करने वाले मन्दिर ट्रस्ट अध्यक्ष प्रेम प्रकाश शर्मा का कहना है कि शिवाड़ स्थित घुश्मेश्वर महादेव मंदिर ही असली 12वां ज्योतिर्लिंग है. इसका प्रमाण पुराणों और उपनिदेशकों में भी मिलता है. विभिन्न धर्म गुरुओं और देश के कई शंकराचार्य भी शिवाड़ स्थित घुश्मेश्वर महादेव मंदिर को ही 12वां ज्योतिर्लिंग मानते हैं.