जयपुर. अतिरिक्त सत्र न्यायालय क्रम-8 महानगर प्रथम ने गुरुकुल विश्वविद्यालय (Gurukul University case) के फर्जी निर्माण को लेकर आरोपी रणजीत सिंह की अग्रिम जमानत अर्जी को खारिज कर दिया है. अदालत ने कहा कि अभी तक की जांच में आरोपी के खिलाफ धोखाधड़ी और फर्जी दस्तावेज का अपराध प्रमाणित पाया गया है. प्रकरण में विस्तृत अनुसंधान किया जाना है. ऐसे में आरोपी को अग्रिम जमानत का लाभ नहीं दिया जा सकता.
प्रार्थना पत्र में कहा गया कि प्रार्थी को प्रकरण में जबरन फंसाया जा रहा है. उस पर जमीन नहीं होने या फर्जी दस्तावेज पेश करने का आरोप भी नहीं है. प्रकरण में सिर्फ यह तय होना है कि यदि प्रार्थी गुरुकुल विवि की योग्यता रखता है तो उसे अनुमति प्राप्त होगी या नहीं. वहीं सरकारी वकील की ओर से कहा गया कि प्रकरण में अनुसंधान लंबित है. ऐसे में उसे अग्रिम जमानत का लाभ नहीं दिया जा सकता. इस पर सुनवाई करते हुए अदालत ने आरोपी की अग्रिम जमानत अर्जी को खारिज कर दिया है. बता दें कि बिना भवन बनाए कागजों में गुरुकुल विश्वविद्यालय बनाने का मामला सामने आने पर सरकार ने विधानसभा में इससे जुड़े विधेयक को वापस ले लिया था. वहीं संभागीय आयुक्त की जांच रिपोर्ट के आधार पर गत 19 अप्रैल को मामला दर्ज किया गया था. मामले में प्रोफेसर अमेरिका सिंह सहित अन्य भी आरोपी हैं.
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