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किसी बड़ी घटना के इंतजार में संगानेर एयरपोर्ट प्रशासन, नशे की हालत में पकड़े जा रहे कर्मचारी

अंतरराष्ट्रीय सांगानेर एयरपोर्ट पर कर्मचारियों का नशे के हालत में पकड़े जाने का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. दिसंबर महीने के अंतर्गत जयपुर एयरपोर्ट पर कर्मचारियों को चार बार नशे के हालत में पकड़ा जा चुका है. साथ ही 3 महीने के लिए निलंबित भी किया जा चुका है. बावजूद इसके कर्मचारियों का नशे के हालत में पकड़े जाना अभी बंद नहीं हुआ है.

जयपुर की खबर,  airport workers  in a state of intoxication
चार बार नशे के हालत में पकड़े जा चुके कर्मचारी
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Published : Jan 27, 2020, 5:16 PM IST

जयपुर. अंतरराष्ट्रीय सांगानेर एयरपोर्ट पर कर्मचारियों का नशे के हालत में पकड़े जाने का सिलसिला लगातार जारी है. बता दें कि दिसम्बर महीने में कई बार कर्मचारियों को नशे की हालत में पकड़े जाने का मामला सामने आ चुका है. इसे लेकर एयरपोर्ट प्रशासन की ओर से अभी तक कोई कड़ी कार्रवाई नहीं की गई है.

अंतरराष्ट्रीय सांगानेर एयरपोर्ट पर कर्मचारियों का नशे की हालत में मिलने का सिलसिला जारी

दिसंबर माह में पकड़े गए कर्मचारियों में एक एयर होस्टेस भी शामिल थी. आलम ये है कि एयरपोर्ट पर ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट की जरूरत पड़ने लगी है. अक्टूबर महीने से जयपुर एयरपोर्ट पर ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट भी शुरू हो गया है. हालांकी, दिसंबर में पकड़े गए कर्मचारियों का ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट नहीं करवाया गया था. क्योंकि नशे में धुत इन कर्मचारियों को देखकर कोई भी आसानी से पहचान जाता की ये नशे में हैं. इसी वजह से यात्री से मिली शिकायत के आधार पर इन सभी कर्मचारियों की गिऱफ्तारी की गई थी. गिरफ्तारी के बाद एयरपोर्ट प्रशासन ने उनका ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट करवाया, जिसमें उन्हें अल्कोहल बी पॉजिटिव पाया गया था.

जयपुर एयरपोर्ट के निदेशक जयदीप बल्हारा का कहना है कि दिसंबर माह के अंतर्गत कई ऐसे मामले सामने आ चुके हैं. पकड़े गए कर्मचारियों को 3 महीने के लिए निलंबित भी किया जाता है. उन्होंने कहा कि शराब के नशे में पाए जाने पर डीजीसीए के तहत कार्रवाई की जाती है. अगर कोई कर्मचारी 1 बार से ज्यादा ऐसी हालत में पाया जाता है तो उसको हमेशा के लिए निलंबित कर दिया जाता है.

पढ़ें: जयपुर: निशक्तजनों को ट्राई साइकिल और जरूरतमंदों को बांटे गए गर्म कपड़े

जानिए नशे की हालत में कब- कब पकड़े गए कर्मचारी-

  1. जयपुर एयरपोर्ट पर पहला मामला 22 दिसंबर को इंडिगो की फ्लाइट में पकड़ा गया था जिसमें एक एयरहोस्टेस नशे की हालत में ही फ्लाइट में चले गई थी. ऐसे में यात्रियों ने उसकी शिकायत की और इंडिगो प्रशासन की ओर से 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया गया था.
  2. दूसरा मामला 26 दिसंबर को सामने आया था जिसके अंतर्गत एयर इंडिया के ग्राउंड हैंडलिंग एजेंसी के एक कर्मचारी को पकड़ा गया था जिसे 3 महीने के लिए निलंबित किया गया था.
  3. तीसरा मामला 24 दिसंबर को इंडो थाई के दो कर्मचारियों के साथ आया था. जिसके बाद दोनों कर्मचारियों को 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया गया था.
  4. चौथा मामला इंडिगो के एक ड्राइवर का सामने आया था. बस ड्राइवर नशे की हालत में ड्राइव कर रहा था. ऐसे में उसकी शिकायत करने पर उसे 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया था.

नशे की हालत में पकेड़े जाने पर क्या है नियम

एयरपोर्ट के निदेशक बल्हारा की मानें तो कोई भी कर्मचारी अगर पहली बार नशे के हालत में पकड़ा जाता है, तो उसे 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया जाता है. वहीं दूसरी बार पकड़े जाने पर उसे हमेशा के लिए निलंबित कर दिया जाता है. साथ ही डीजीसीए के नियमों के तहत कार्रवाई भी की जाती है.

जयपुर. अंतरराष्ट्रीय सांगानेर एयरपोर्ट पर कर्मचारियों का नशे के हालत में पकड़े जाने का सिलसिला लगातार जारी है. बता दें कि दिसम्बर महीने में कई बार कर्मचारियों को नशे की हालत में पकड़े जाने का मामला सामने आ चुका है. इसे लेकर एयरपोर्ट प्रशासन की ओर से अभी तक कोई कड़ी कार्रवाई नहीं की गई है.

अंतरराष्ट्रीय सांगानेर एयरपोर्ट पर कर्मचारियों का नशे की हालत में मिलने का सिलसिला जारी

दिसंबर माह में पकड़े गए कर्मचारियों में एक एयर होस्टेस भी शामिल थी. आलम ये है कि एयरपोर्ट पर ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट की जरूरत पड़ने लगी है. अक्टूबर महीने से जयपुर एयरपोर्ट पर ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट भी शुरू हो गया है. हालांकी, दिसंबर में पकड़े गए कर्मचारियों का ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट नहीं करवाया गया था. क्योंकि नशे में धुत इन कर्मचारियों को देखकर कोई भी आसानी से पहचान जाता की ये नशे में हैं. इसी वजह से यात्री से मिली शिकायत के आधार पर इन सभी कर्मचारियों की गिऱफ्तारी की गई थी. गिरफ्तारी के बाद एयरपोर्ट प्रशासन ने उनका ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट करवाया, जिसमें उन्हें अल्कोहल बी पॉजिटिव पाया गया था.

जयपुर एयरपोर्ट के निदेशक जयदीप बल्हारा का कहना है कि दिसंबर माह के अंतर्गत कई ऐसे मामले सामने आ चुके हैं. पकड़े गए कर्मचारियों को 3 महीने के लिए निलंबित भी किया जाता है. उन्होंने कहा कि शराब के नशे में पाए जाने पर डीजीसीए के तहत कार्रवाई की जाती है. अगर कोई कर्मचारी 1 बार से ज्यादा ऐसी हालत में पाया जाता है तो उसको हमेशा के लिए निलंबित कर दिया जाता है.

पढ़ें: जयपुर: निशक्तजनों को ट्राई साइकिल और जरूरतमंदों को बांटे गए गर्म कपड़े

जानिए नशे की हालत में कब- कब पकड़े गए कर्मचारी-

  1. जयपुर एयरपोर्ट पर पहला मामला 22 दिसंबर को इंडिगो की फ्लाइट में पकड़ा गया था जिसमें एक एयरहोस्टेस नशे की हालत में ही फ्लाइट में चले गई थी. ऐसे में यात्रियों ने उसकी शिकायत की और इंडिगो प्रशासन की ओर से 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया गया था.
  2. दूसरा मामला 26 दिसंबर को सामने आया था जिसके अंतर्गत एयर इंडिया के ग्राउंड हैंडलिंग एजेंसी के एक कर्मचारी को पकड़ा गया था जिसे 3 महीने के लिए निलंबित किया गया था.
  3. तीसरा मामला 24 दिसंबर को इंडो थाई के दो कर्मचारियों के साथ आया था. जिसके बाद दोनों कर्मचारियों को 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया गया था.
  4. चौथा मामला इंडिगो के एक ड्राइवर का सामने आया था. बस ड्राइवर नशे की हालत में ड्राइव कर रहा था. ऐसे में उसकी शिकायत करने पर उसे 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया था.

नशे की हालत में पकेड़े जाने पर क्या है नियम

एयरपोर्ट के निदेशक बल्हारा की मानें तो कोई भी कर्मचारी अगर पहली बार नशे के हालत में पकड़ा जाता है, तो उसे 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया जाता है. वहीं दूसरी बार पकड़े जाने पर उसे हमेशा के लिए निलंबित कर दिया जाता है. साथ ही डीजीसीए के नियमों के तहत कार्रवाई भी की जाती है.

Intro:जयपुर एंकर-- प्रदेश के सबसे बड़े अंतरराष्ट्रीय सांगानेर एयरपोर्ट पर कर्मचारियों का नशे की हालत में मिलने का सिलसिला थम नहीं रहा है, जयपुर एयरपोर्ट पर दिसंबर माह के अंतर्गत चार बार कर्मचारियों को नशे की हालत में पकड़ा जा चुका है, जिसके अंतर्गत उन्हें 3 महीने के लिए निलंबित भी किया जा चुका है, तो वहीं जयपुर एयरपोर्ट के निदेशक का कहना है कि, अब जयपुर एयरपोर्ट पर अक्टूबर माह से ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट भी शुरू हो गया है,




Body:जयपुर-- प्रदेश के सबसे बड़े अंतरराष्ट्रीय सांगानेर एयरपोर्ट पर कर्मचारियों का नशे की हालत में मिलने का सिलसिला थम नहीं रहा है, दिसंबर महीने की बात की जाए तो , दिसम्बर महीने के अंतर्गत कई बार कर्मचारियों को नशे की हालत में पकड़े जाने का मामला सामने आ चुका है, इसको लेकर एयरपोर्ट प्रशासन की ओर से कोई भी कड़ी कार्रवाई नहीं की जा रही है , आपको बता दें कि दिसंबर माह के अंतर्गत करीब 5 कर्मचारियों को नशे की हालत में पकड़ा जा चुका है, जिसमें से एक एयर होस्टेस तो नशे की हालत में ही पकड़ी गई थी , जिसको लेकर यात्रियों ने एयर होस्टेज की शिकायत की थी जिसके बाद उसे फ्लाइट से उतार लिया गया था, आपको बता दें कि जयपुर एयरपोर्ट पर पहले ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट नहीं हुआ करता था, लेकिन अक्टूबर माह से अब जयपुर एयरपोर्ट ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट भी शुरू हो गया है, आपको बता दे कि जब इन कर्मचारी को पकड़ा गया था, तो इससे पहले उनके एयरपोर्ट पर आने से उनका ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट नहीं करवाया गया था , जब वह एयरपोर्ट के अंदर गए और उनसे चला भी नहीं गया और यात्री के द्वारा उनकी शिकायत की गई तो, उसके बाद एयरपोर्ट प्रशासन ने उनका ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट करवाया था, और उसमें अल्कोहल बी पॉजिटिव आया था, ऐसे में एयरपोर्ट प्रशासन के द्वारा यात्रियों की जान की परवाह नहीं की जा रही है, जयपुर एयरपोर्ट के निदेशक जयदीप बल्हारा का कहना है कि , दिसंबर माह के अंतर्गत कई ऐसे मामले सामने आ चुके हैं , और उनको 3 महीने के लिए निलंबित भी कर दिया है, उन्होंने कहा कि शराब के नशे में पाए जाने पर डीजीसीए के तहत कार्रवाई की जाती है , और कोई कर्मचारी 1 बार से ज्यादा ऐसी हालत में पाया जाता है, तो उसको हमेशा के लिए निलंबित भी कर दिया जाता है, वही बल्हारा का कहना है कि, अब अक्टूबर माह से जयपुर एयरपोर्ट पर ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट भी जरूरी कर दिया है, जिसके अंतर्गत कर्मचारियों के एयरपोर्ट के अंदर आने से पहले उनका अब ब्रेथ एनालाइजर टेस्ट जरूरी कर दिया है,

- जानिए कब - कब पकड़े गए नशे की हालत में कर्मचारी

1. जयपुर एयरपोर्ट पर पहला मामला 22 दिसंबर को इंडिगो की फ्लाइट में पकड़ा गया था , आपको बता दें कि एक एयरहोस्टेस नशे की हालत में ही फ्लाइट में चले गई थी, ऐसे में यात्रियों के द्वारा उसकी शिकायत करने पर इंडिगो प्रशासन के द्वारा उसे 3 महीने के लिए निलंबित भी कर दिया था,

2. जयपुर एयरपोर्ट पर दूसरा मामला 26 दिसंबर को सामने आया था, जिसके अंतर्गत एयर इंडिया के ग्राउंड हैंडलिंग एजेंसी के एक कर्मचारी को पकड़ा गया था , और उसे 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया था,

3. जयपुर एयरपोर्ट पर तीसरा मामला 24 दिसंबर को इंडो थाई के दो कर्मचारियों के साथ आया था, जिसके बाद उन दोनों कर्मचारियों को 3 महीने के लिए निलंबित भी कर दिया था,

4. जयपुर एयरपोर्ट पर चौथा मामला इंडिगो के एक ड्राइवर का सामने आया था , बता दे कि बस ड्राइवर नशे की हालत में बस चला रहा था , ऐसे में उसकी शिकायत करने पर उसे 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया था,

- नशे की हालत में पकेड़े जाने पर क्या है नियम

जयपुर एयरपोर्ट की निदेशक जयदीप बल्हारा की मानें तो, यदि कर्मचारी पहली बार नशे की हालत में पकड़ा जाता है, तो उसे 3 महीने के लिए निलंबित कर दिया जाता है, यदि इसके बाद भी वह दूसरी बार पकड़ा जाता है, तो फिर उसे हमेशा के लिए निलंबित कर दिया जाता है , और डीजीसीए के नियमों के तहत कार्रवाई भी की जाती है.

बाइट-- जयदीप बल्हारा निदेशक जयपुर एयरपोर्ट





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