अलवर. दिवाली के मौके पर दो पैसे कमाने की चाहत में सड़कों पर दीपक, लक्ष्मी-गणेश जी की मूर्ति, कैलेंडर व अन्य छोटे-मोटे घरेलू सामान बेचकर अपना जीवन यापन करने वाले लोगों को प्रशासन की मार झेलनी पड़ रही है. दिवाली से ठीक पहले बाजार में सड़कों पर लगने वाली अस्थाई दुकानों को नगर परिषद की टीम ने हटाया व उनका सामान जप्त कर लिया. इससे लोग खासे परेशान हुए. उन्होंने शहर के मुख्य बाजार का रासता बंद कर जाम लगा दिया.
जिले में दिवाली से पहले फुटकर व्यापारियों पर प्रशासन का डंडा चला है. नगर परिषद की टीम ने सोमवार सुबह शहर के सबसे भीड़भाड़ वाले क्षेत्र घंटाघर, होप सर्कस नगर परिषद के आसपास क्षेत्र में अतिक्रमण हटाते हुए सड़क पर दुकान लगाने वाले फुटकर व्यापारियों का सामान जप्त कर लिया. लोगों ने नगर परिषद की टीम से सामान वापस लौटाने की मांग की, लेकिन उनकी बात किसी ने नहीं सुनी.
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परेशान लोगों ने बीच बाजार में जाम लगा दिया. इससे लोगों को आने-जाने में खासी दिक्कत हुई. करीब एक घंटे तक आवाजाही पूरी तरह से बंद रही. जाम की सूचना कोतवाली थाना पुलिस को दी गई. पुलिस ने मौके पर पहुंचकर लोगों को समझाया. इस पर लोगों ने उनका सामान वापस लौटाने की मांग की. पुलिस ने महिलाओं से जाम खोलने की बात कही. इस पर लोगों का गुस्सा फूटा और वे पुलिस का विरोध करने लगे.
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लोगों ने दिवाली से ठीक पहले नगर परिषद की इस कार्रवाई को गलत ठहराया. उन्होंने कहा कि दिवाली के मौके पर अस्थाई दुकान लगाकर लोग अपना परिवार पालने हैं. 2 साल से कोरोना के चलते सभी का रोजगार वैसे ही बंद हो चुका है. हालात खराब हैं व दो वक्त की रोटी के लिए मारामारी रहती है. वहीं पुलिस ने अस्थाई दुकानदारों का सामान वापस दिलवाने की बात कही है.