अजमेर. राजस्थान के अजमेर में ऋषि घाटी स्थित अग्रवाल समाज के जगन्नाथ मंदिर में 60 वर्षों से पूजा-अर्चना का कार्य कर रहे 90 वर्षीय बुजुर्ग पुजारी ने मंगलवार को परेशान होकर आत्मदाह (Self Immolation in Jagannath Temple) करने की कोशिश की. 40 प्रतिशत झुलसी हुई अवस्था में पुजारी को इलाज के लिए जेएलएन अस्पताल में भर्ती कराया गया है. मंदिर ट्रस्ट के सदस्यों की ओर से उन्हें पुजारी के पद और मंदिर से बेदखल करने से वह परेशान थे. आत्मदाह की कोशिश करने से पहले भी पुजारी ने पुलिस के उच्च अधिकारियों से मिलकर मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की थी.
ऋषि घाटी स्थित अग्रवाल समाज के जगन्नाथ मंदिर में 60 वर्षों से पूजा-अर्चना का कार्य कर रहे बुजुर्ग पुजारी पंडित गोविंद राम शर्मा ने मंदिर परिसर में ही खुद पर केरोसिन छिड़क कर आग लगा ली. पुजारी का जेएलएन अस्पताल में इलाज जारी है. चिकित्सकों के मुताबिक पुजारी गोविंद राम का शरीर 40 प्रतिशत झुलस चुका है. इस घटना से कुछ घंटे पहले ही पुजारी गोविंद राम ने जिला कलेक्ट्रेट पहुंच कर पुलिस के उच्च अधिकारियों को मंदिर ट्रस्ट के सदस्यों की ओर से उन्हें परेशान करने और जबरन मंदिर से बेदखल करने की कोशिश करने का आरोप लगाते हुए न्याय की गुहार लगाई थी.
इससे पहले भी कई बार पंडित गोविंदराम शर्मा पुलिस के उच्च अधिकारियों से न्याय की गुहार लगा चुके हैं, लेकिन मंदिर ट्रस्ट के सदस्यों के खिलाफ किसी तरह की कोई कार्रवाई नहीं हुई, बल्कि उन्हें ही डराया धमकाया गया और मंदिर छोड़कर (Allegation of Torture on Temple Committee) चले जाने के लिए कहा गया. पुजारी गोविंद राम के पोते भरत शर्मा ने कहा कि उनके दादा गोविंद राम मंदिर में 60 वर्षों से पूजा-अर्चना और सर-संभाल कर रहे हैं. उन्होंने बताया कि कुछ दिन पहले ही मंदिर ट्रस्ट की नई समिति बनी थी. इस समिति के सदस्यों ने पुजारी गोविंदराम शर्मा को मंदिर से बेदखल करने का फरमान सुना दिया.
इस फरमान के विरोध में पुजारी की ओर से अदालत में शरण ली गई. कोर्ट में दाखिल मुकदमे का फैसला कुछ दिनों में आने ही वाला था, लेकिन ट्रस्ट के सदस्य लगातार मंदिर से बाहर निकालने की धमकीया दे रहे थे. वहीं, मंदिर में नया पुजारी भी ट्रस्ट की ओर से रख दिया गया है. नया पुजारी ने भी झगड़ा कर झूठा मुकदमा ट्रस्ट की शह पर गंज थाने में दर्ज करवाया है. गंज थाना प्रभारी धर्मवीर और एएसआई बलदेव चौधरी से भी कई बार गुहार लगाई गई थी, लेकिन ट्रस्ट के सदस्यों के प्रभाव में उन्होंने कोई कार्रवाई नहीं की. पुलिस ने सहयोग नहीं किया, इस कारण उन्हें आत्मदाह के लिए मजबूर होना पड़ा. भरत शर्मा ने बताया कि उनके दादा गोविंद राम शर्मा ने अपनी पूरी जिंदगी मंदिर की सार-संभाल और पूजा-अर्चना में बिता दी. जिंदगी के आखिरी पड़ाव में वह कहां जाएं. मंदिर से निकालने के लिए ट्रस्ट के सदस्य उन्हें प्रताड़ित कर रहे थे.
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जांच के बाद ही स्पष्ट होगा आत्मदाह के प्रयास का कारण : इधर गंज थाने के एएसआई बलदेव चौधरी ने बताया कि क्षेत्र में जगन्नाथ मंदिर के पूर्व पुजारी गोविंदराम शर्मा ने केरोसिन छिड़क कर आत्मदाह करने की कोशिश करने की सूचना मिली थी. पूर्व पुजारी गोविंदराम शर्मा का जेएलएन अस्पताल में (Admit In Hospital) उपचार किया जा रहा है. 90 वर्षीय पूर्व पुजारी के पोते भरत शर्मा ने पुलिस को शिकायत दी है कि ट्रस्ट के सदस्य और पुजारी गोविंदराम के बीच कोर्ट में मंदिर से बेदखल किए जाने को लेकर प्रकरण चल रहे हैं. मंगलवार को मेरे दादा गोविंद राम मंदिर में अकेले थे, उन्होंने केरोसिन अपने ऊपर छिड़क कर आग लगा ली. फिलहाल, प्रकरण में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है. अनुसंधान के बाद ही आत्महत्या के कारण स्पष्ट हो पाएगा.