अजमेर. कांग्रेस और भाजपा के बीच राजनीतिक युद्ध अजमेर में गरमाता ही जा रहा है. जहां एक ओर कांग्रेस द्वारा बढ़ती महंगाई को लेकर शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ नारेबाजी की. वहीं बीजेपी कार्यकर्ताओं ने कांग्रेस के इस कृत्य की जमकर निंदा की थी. इन्हीं सबके बीच अजमेर से लोकसभा प्रत्याशी और कांग्रेस के दिग्गज नेता महेंद्र सिंह रलावता ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिए अजमेर उत्तर विधायक वासुदेव देवनानी को उनके बयानों के लिए जमकर आड़े हाथों लिया.
देवनानी कर रहे हैं जनता को भ्रमित
अजमेर लोकसभा प्रत्याशी और कांग्रेस के दिग्गज नेता महेंद्र सिंह रलावता ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिए अपनी बात कहते हुए अजमेर उत्तर विधायक वासुदेव देवनानी को जमकर निशाने पर लिया रलावता ने कहा कि विधायक का दायित्व होता है कि वह वास्तविक स्थिति से जनता को अवगत कराएं, लेकिन बीजेपी विधायक वासुदेव देवनानी अपनी गलत बयानबाजी से जनता को भ्रमित करने की लगातार कोशिश कर रहे हैं.
नहीं किया अजमेर के हितों के लिए काम
रलावता ने कहा कि कुछ दिन पहले देवनानी ने एक बयान में कहा था कि कांग्रेस के राज में बीसलपुर का पानी जयपुर चला गया, जबकि बीसलपुर का पानी जयपुर को तब आवंटित किया गया, जब स्वर्गीय सांवरलाल जाट अजमेर से विधायक बनने के बाद जल संसाधन मंत्री बने थे. रलावता ने कहा कि कांग्रेस के दिवंगत नेता किशन मोटवानी बीसलपुर पेयजल योजना को सिर्फ अजमेर के लिए लाई थी, जबकि भाजपा ने उसे जयपुर के लिए पहुंचा दिया.
टाटा पावर द्वारा बिजली सप्लाई के बारे में रलावता ने कहा कि जब टाटापावर द्वारा बिजली उपलब्ध नहीं करवाने और लोगों को ज्यादा बिल राशि भेजने के संबंध में कांग्रेस ने पूरे अजमेर को बंद करवाया था और विभिन्न ज्ञापन भी सौंपे थे. उस वक्त भी विधायक वासुदेव देवनानी राजस्थान सरकार में मंत्री थे, लेकिन उन्होंने अजमेर की जनता को राहत दिलवाने के लिए कोई प्रयास नहीं किया और टाटा पावर निजी हाथों में चला गया. जिसकी वजह अजमेर की जनता आज तक परेशान हो रही है.
स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर देवनानी पर निशाना साधते हुए रलावता ने कहा कि वासुदेव देवनानी पिछले 18 सालों से अजमेर के विधायक है, लेकिन फिर भी अजमेर की स्वास्थ्य सेवाएं बुरी तरह से ठप पड़ी हुई है. देवनानी ने इन्हें दुरुस्त कराने के लिए किसी तरह का कोई प्रयास नहीं किया. वह सिर्फ और सिर्फ सरकार को कोसने का काम कर रहे हैं. राजस्थान की हर संभागीय मुख्यालय पर स्पेशल कैटेगरी स्पेसिफाइड है, लेकिन अजमेर में ऐसा कुछ नहीं है.
आम जनता को खाद्यान्न उपलब्ध करवाने के संबंध में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने आदेश जारी किया था कि विधायक कोष के 5 करोड़ रुपए में से 25 लाख रुपए हर विधायक अपने क्षेत्र में खाद्यान्न पर खर्च करेगा, लेकिन देवनानी ने इस सामाजिक सुरक्षा के लिए आज तक 1 रुपया भी जारी नहीं किया. यदि वह चाहते तो नगर निगम, जहां भारतीय जनता पार्टी का बोर्ड बना हुआ है. उसके साथ मिलकर जनता की मदद कर सकते थे, लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया.
रेवेन्यू बोर्ड का अजमेर के लिए खास स्थान है, लेकिन वसुंधरा सरकार के समय रेवेन्यू बोर्ड का विघटन करने का प्रयास किया गया था. इसी प्रस्ताव को इस बार दोबारा विधानसभा में भेजा गया है. रलावता ने कहा कि रेवेन्यू बोर्ड अजमेर की इज्जत है. इसके लिए चाहे अजमेर के कांग्रेस कार्यकर्ताओं को अपनी ही सरकार से क्यों ना लड़ना पड़े, लेकिन इसका विघटन नहीं होने दिया जाएगा.
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देवनानी पर तंज कसते हुए रलावता ने कहा कि देवनानी अपनी अनुशंसा पर एक टीचर या पटवारी का ट्रांसफर तक नहीं करवा सकते, जबकि उन्होंने राजस्थान के सीएम से अनुशंसा कर अजमेर की हाथी खेड़ा ग्राम पंचायत के अंतर्गत आने वाले बोराज गांव में एक स्कूल भी सैंक्शन करवा लिया है. अब इस बात पर भी देवनानी सवाल उठाएंगे, जिसका जवाब देते हुए रलावता ने कहा कि प्रदेश में कांग्रेस की सरकार है, जो अपने जनप्रतिनिधियों की बात हमेशा सुनती है. देवनानी सिर्फ जनता को भ्रमित कर रहे हैं.
अजमेर के विकास के लिए ईमानदारी से काम करने पर कांग्रेस का देंगे साथ
रलावता ने कहा कि विधायक वासुदेव देवनानी ने 18 सालों के विधायक कार्यकाल में अजमेर की जनता के लिए कोई काम नहीं किया. यदि वह आज भी अजमेर के विकास के लिए ईमानदारी से काम करने लगे तो कांग्रेस भी कंधे से कंधा मिलाकर उनका साथ देंगे.
गरीबों के अभिनंदन का हो प्रयास
केंद्र सरकार के 2 साल पूरे होने पर भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओं द्वारा आयोजित किए गए विभिन्न कार्यक्रमों पर तंज कसते हुए रलावता ने कहा कि बीजेपी ने केंद्र सरकार के 2 साल पूरे होने पर उस वक्त अभिनंदन कार्यक्रम आयोजित किए हैं. जब महामारी की वजह से शमशानों के बाहर लंबी कतारें लगी. अपने इस कृत्य पर भारतीय जनता पार्टी को शर्म आनी चाहिए. समाज के अंतिम छोर पर बैठे गरीब भी इस वक्त भगवान का रूप हैं. इसीलिए जनप्रतिनिधियों को उस अंतिम छोर पर बैठे गरीब तक पहुंचने का प्रयास करना चाहिए. उन्होंने विधायक वासुदेव देवनानी से अपील की है कि वे अनर्गल बयानबाजी के जरिए जनता को भ्रमित करने का प्रयास ना करें.