विराटनगर (जयपुर): विराटनगर के भगतपुरा गांव में पुलिस सुरक्षा के बीच आईपीएस सुनील कुमार धनवंता की बरात निकली. सुनील दलित बिरादरी से आते हैं और वह मणिपुर कैडर के आईपीएस हैं. पहले इसी इलाके में दलित दूल्हे की बरात के दौरान तनाव की स्थिति उत्पन्न हो गई थी. इस कारण आईपीएस की बरात कड़ी सुरक्षा के बीच निकाली गई. सुरक्षा के लिए बरात के रास्ते में प्रशासन ने एहतियात के तौर पर सात थानों की पुलिस को तैनात किया था.
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आंटी की शादी में हुआ था बवाल
सुनील ने बताया कि वर्ष 2001 में उसकी आंटी की शादी थी. उस दौरान उनके दूल्हे यानी अंकल की बिंदौरी यानी बरात के दौरान काफी बवाल हुआ था. बिंदौरी (बरात) निकलने के दौरान कुछ अराजक तत्वों ने दूल्हे के साथ जमकर मारपीट की थी. यही वजह थी कि इस प्रकार की घटना न हो इसके लिए उन्होंने पहले से पुलिस प्रोटेक्शन के लिए प्रार्थना पत्र दे दिया था.
एक रुपया और नारियल लिया 'दहेज'
आईपीएस सुनील कुमार ने बताया कि वह बिना दहेज की शादी करना चाहते थे. उन्होंने बताया कि दहेज प्रथा को खत्म करने के लिए यह उनका छोटा सा प्रयास होगा, बस यही सोचकर उन्होंने शादी में एक रुपया शगुन और नारियल लेकर विवाह किया.
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छावनी बन गया गांव
बिंदौरी के दौरान कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की गई थी. सात थानों की फोर्स के साथ आरएसी तैनात किए जाने से पूरा गांव छावनी में तब्दील हो गया था. घर के आसपास भी काफी संख्या में पुलिस बल तैनात था. आईपीएस दूल्हे की निकासी के दौरान कोटपूतली एडीएम जगदीश आर्य, एएसपी विद्याप्रकाश, विराटनगर एसडीएम सुनील शर्मा, शाहपुरा पुलिस उपाधीक्षक सुरेंद्र कृष्णियां, कोटपूतली पुलिस उपाधीक्षक संध्या यादव, विराटनगर तहसीलदार पिंकी गुर्जर समेत कई अधिकारी मौजूद रहे.
शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए निकासी रूट पर पुलिस तैनात रही. इस दौरान विराटनगर थाना प्रभारी रामवतार मीणा, शाहपुरा थाना प्रभारी विजेंद्रसिंह, मनोहरपुर थाना प्रभारी हरिओम, अमरसर थाना प्रभारी अशोक कुमार, सरुण्ड थानाधिकारी इंद्राजसिंह, कोटपूतली थानाधिकारी सवाईसिंह, भाबरु थाना प्रभारी अतरसिंह, प्रागपुरा थाना प्रभारी हवासिंह सहित साथ थानों के जाप्ते के साथ आरएसी के जवान मौजूद थे.