सीधी। सीधी जिले में करवा चौथ के पर्व को लेकर बाजार गुलजार रहे. व्रत के सामानों की खरीददारी के लिए महिलाओं की भीड़ बाजारों में नजर आई, लेकिन कहीं न कहीं कोरोना का असर भी दिखाई दिया. हर साल की अपेक्षा इस साल बाजारों में कम भीड़ दिखाई दी है, करवा चौथ के व्रत के लिए मिट्टी का करवा, दिया, चलनी व अन्य पूजन सामग्री के अलावा कपड़े की दुकानों में रौनक दिखाई दी.
शहर के गांधी चौक बाजार में करवा चौथ के व्रत में उपयोग होने वाले मिट्टी के करवा, मिट्टी का दिया, चलनी जैसे समान महिलाओं ने खरीदे, लेकिन कुछ व्यापारियों का कहना है कि, इस साल कोरोना के डर से बाजार में भीड़ कम दिखाई दी. करवा चौथ के एक दिन पहले व्यापारियों की अच्छी खासी दुकानदारी हो जाती थी, लेकिन इस साल कम भीड़ की वजह से खरीदी कम हुई है.
करवा चौथ का व्रत पति की दीर्घायु के लिए रखा जाता है, इस व्रत में सुबह स्नान कर पूजा पाठ किया जाता है, फिर दिन भर निर्जला व्रत रह कर शाम को महिलाएं चांद निकलने के बाद पूजा अर्चना करती हैं, फिर चलनी से चांद को देखते हुए पति का चेहरा देखती हैं, मान्यता है कि, इस व्रत के करने से पति को लंबी आयु की प्राप्ति होती है.
करवा चौथ महिलाओं की आस्था का पर्व है. जहां आस्था होती है, वहीं भगवान बसते हैं. दिन भर पति की लंबी उम्र की कामना लेकर महिलाएं निर्जला उपवास करती हैं, शाम को चांद के दीदार के बाद पति का आशीर्वाद लेकर पति के हाथों से जल पीकर अपने व्रत को तोड़ती हैं, लेकिन इस साल कोरोना वायरस की वजह से लगे लॉकडाउन से बाजारों में भीड़ कम रही.