सतना। ओफिडियोफोबिया यानी सांप से जिन्हें डर लगता है उनके लिए ये खबर थोड़ी वर्जित हैं. कहानी सतना के अमरपाटन स्थित गांव रिगरा की है. जहां सांपों का एक पूरा कुनबा रेंगता दिखा. घर वाले इन अनचाहे मेहमानों से खौफजदा हो गए और फिर उनकी स्टोरी ने सुर्खियां बटोर लीं.
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एक दो नहीं 18 सांप दाहिया परिवार के घर में रेंगते दिखे तो सब सहम गए. घर में शोक सभा का कार्यक्रम चल रहा था. तभी रसोईघर में खाना पकाने जाते वक्त परिवार की बहू के पैरों से एक संपोला लिपट गया. जैसे तैसे उसने खुद को बचाया और शोर मचाकर घर वालों को जुटा लिया.
उसके बाद तो सांपों का झुंड पूरे रसोईघर में रेंगता दिखने लगा. घबराए ग्रामीणों ने डरकर उन्हें मार दिया.
जिस तरह से घरवालों ने बिना सोचे समझे सांपों को मार दिया दरअसल, ये ओफिडियोफोबिया के कारण हुआ. एक ऐसा डर जो हर पल किसी भी इंसान को सांपों की मौजदूगी के खौफ में जीने को मजबूर करता है. इस डर को लेकर कई रिसर्च हुए हैं.
क्यों होता है Ophidhophobia ?
ओफिडियोफोबिया यानी सांप का डर. रिसर्चर इसे एक सर्वाइवल इंस्टिंक्ट यानि जीवित रहने के लिए इंसानों में कुदरत द्वारा डाला गया एक जरूरी डर बताते हैं. दुनिया की एक तिहाई आबादी को सांप से डर लगता है.
हमारे भारतीय परिवेश में मुख्य कारण हैं इनसे जु़ड़ी कहावतें या लोकप्रिय दंत कथाएं. जिन्हें सुनकर हम बड़े हुए हैं. इसे जेनेटिकल भी माना जाता है. एक और कारण है- जब कोई शख्स किसी नजदीकी शख्स के दर्दनाक अनुभव को देखता है तो वो उसके मन मस्तिष्क पर छा जाता है और समय के साथ वो भय का आकार ले लेता है.