भोपाल। जीत की गारंटी के लिए केन्द्रीय मंत्री और बीजेपी की चुनाव प्रबंध समिति के संयोजक वोटर के बीच कौन सा फार्मूला अपनाते हैं, क्यों हारी हुई सीटें बीजेपी का सबसे बड़ा टेंशन है. सिंधिया पार्टी की ताकत बनें या कमजोरी, ईटीवी भारत से बातचीत में केन्द्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने क्यों कहा कि जहां सिंधिया को जवाबदारी जहां मुझे जिम्मेदारी मिली मैं पहुंच रहा हूं. इसके अलावा किन सीटों पर जल्द उम्मीदवार घोषित करेगी पार्टी और इंडियन एलायंस पर तोमर ने सनातन के सहारे कांग्रेस पर किस तरह से हमला बोला. ईटीवी भारत की नरेन्द्र सिंह तोमर से एक्सक्लूसिव बातचीत.
जीत की गारंटी क्यों मांगी...जोखिम कहां है: चुनाव में बीजेपी संगठन की कमान संभाले केन्द्रीय मंत्री और बीजेपी की चुनाव प्रबंध समिति के संयोजक नरेन्द्र सिंह तोमर चुनावी रथ पर सवार अपनी छवि से उलट नारे लगाते हैं, दूर-दूर खड़े एक एक वोटर को पहचान कर पूछते हैं. चुनाव में कमल मुहर पर ही लगाओगे ना, जो बीजेपी के साथ हैं, हाथ उठाकर बताओ. केन्द्रीय मेंत्री और मध्यप्रदेश में बीजेपी की चुनाव प्रबंध समिति के संयोजक नरेन्द्र सिंह तोमर ने ईटीवी भारत का सवाल भी यही था कि जब पार्टी को जीत का विश्वास है, तो ये पब्लिक से हाथ उठाकर गारंटी क्यों ली जा रही है. तोमर ने कहा "लोकतंत्र में चुनाव एक प्रतिस्पर्धा है, चाहे कितना भी समर्थन किसी पार्टी को प्राप्त हो लेकन समर्थन जब तक मशीन तक नहीं पहुंच जाता. उसे पहुंचाने प्रयत्नशील रहना चाहिए. बीजेपी पूरी तैयारी से चुनाव लड़ रही है, जनआर्शीवाद यात्रा के माध्यम साढे दस हजार किलोमीटर का सफर तय कर रहे हैं. 200 से अधिक सभाएं कर रहे हैं, कार्यकर्ता जनता बहनें दलित किसान नौजवान आ रहे हैं. निश्चित रुप से आभार प्रगट करना बीजेपी को वोट देने आव्हान करना हमारा धर्म है, धर्म का निर्बाह कर रहे हैं."
ईटीवी पर बोले तोमर उम्मीदवारों की घोषणा जल्द: क्या हारी हुई सीटें पार्टी का सबसे बड़ा टेंशन है. तोमर ने कहा कि "एमपी में पार्टी का पूरा फोकस हारी हुई हुई सीटों पर है, 39 सीटों पर उम्मीदवारों के एलान के बाद अब बाकी बची सीटों पर भी पार्टी जल्द उम्मीदवार घोषित करेगी. स्वाभाविक रुप से आकांक्षी सीट से एक दो कार्यकर्तों को हमने बूथ की मजबूती के लिए पहले भी लगाया, जो सीटें पिछली बार नहीं जीते उन्हें जीतेंगे. बाकी उम्मीदवारों की सूची पर काम चल रहा है समय रहते ही जल्दी ही घोषित होंगी."
देश भर के बीजेपी नेताओं की फौज एमपी में किसलिए: केन्द्रीय मंत्री तोमर से सवाल था ये पहली बार है कि देश भर के बीजेपी नेताओं के साथ पार्टी चुनाव मैदान में उतरी है. क्या कोई जोखिम है क्या वजह है कि गोआ और असम के सीएम भी बुलाए जा रहे हैं. इस पर उन्होने कहा कि ऐसा नहीं है इससे पहले भी जितने चुनाव हुए बीजेपी पूरी सक्रीयता से चुनाव लड़ती रही है. जो नेता हमारे पास उपलब्ध रहते हैं, उनको चुनाव के समय बुलाया जाता है. इस महायज्ञ में हर व्यक्ति की आहूति विजय के लिए जरुरी होती है, पहले भी पार्टी के वरिष्ठ नेता आर्शीवाद देने आते रहे हैं और आर्शीवाद देने आते रहे हैं. हमारी अनेक प्रांतों में सरकारें हैं, केन्द्रीय मंत्री हैं, उनका उपयोग कार्यकर्ता के नाते होना चाहिए."
पीएम मोदी का सनातन संदेश क्या 2024 का एजेंडा तय: एमपी की धरती से ही पीएम मोदी ने सनातन का संदेश दिया क्या मध्यप्रदेश से तय हो गया 2024 का एंजेंडा. तोमर ने कहा कि "ये सही है कि विपक्षी दलों का जो गठबंधन है, वो स्वार्थ आधारित है. नरेन्द्र मोदी जी की लोकप्रियता से भयभीत होकर गढबंधन किया जा रहा है. जिसमें ना नीति है नेता है ना नीयत है गठबंधन किसी के भी कंट्रोल में नहीं है. इस गठबंधन के साथ जो लोग हैं उन पर कांग्रेस की चुप्पी इस बात का परचियाक है, इस हमले के प्रति वो पूरी तरह सहमत है. सनातन धर्म अनंत है अनंत था अनंत रहेगा और कोई भी ऐसा व्यक्ति धरती पर पैदा नहं हुआ जो सनातन धर्म को चोट पहुचा सके."
सिंधिया बीजेपी की ताकत हैं या कमजोरी: केन्द्रीय मंत्री तोमर से सवाल था सिंधिया ताकत हैं या कमजोरी उन्होंने कहा कि "स्वाभाविक रुप से बीजेपी के कार्यकर्ता हैं सिंधिया, उनकी मदद और सहयोग पार्टी को मिलता है. आप देख रहे हैं जनआर्शीवाद यात्रा में, जहां उनको भेजा गया है वो जा रहे हैं. जहां मुझे भेजा जा रहा मैं जा रहा हूं."
टारगेट 150 या दो सौ पार: टारगेट 150 सीटों का है, लेकिन आपका अनुमान क्या इस सवाल पर तोमर ने कहा कि "मैं समझता हूं जनआर्शीवाद यात्रा को जो समर्थन मिल रहा है, उस समर्थन में जो उत्साह लोगों में दिखाई दे रहा है भारतीय जनता पार्टी स्पष्ट बहुमत से चुनाव जीतेगी. "