ETV Bharat / state

उपार्जन केंद्रों की अव्यवस्था किसानों के लिए बनी मुसीबत, तीन- तीन दिन से कर रहे इंतजार - farmers are facing problem in procurement centers

गेहूं उपार्जन केंद्रों पर किसानों को तीन-तीन दिनों तक लाइन में खड़ा होना पड़ा रहा है. अव्यवस्थाओं से परेशान किसानों ने उपार्जन केंद्रों पर बड़े तोल कांटे से फसल तुलाई करने की मांग की है.

farmers are not getting proper arrangements In procurement centers
उपार्जन केंद्र की अव्यवस्थाओं से परेशान किसान
author img

By

Published : May 16, 2020, 8:48 AM IST

रतलाम। उपार्जन केंद्रों की अव्यवस्था किसानों के लिए मुसीबत का सबब बन चुकी है. उपज बेचने के लिए किसान तीन- तीन दिन तक लाइन में लगकर अपनी बारी का इंतजार कर रहे हैं. रोजाना बड़ी संख्या में किसानों के पास मैसेज पहुंचने से उपार्जन केंद्रों पर गेहूं लदी ट्रॉलियों की लाइन लग रही है, जिससे उपार्जन केंद्रों पर पहुंचने वाले किसानों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. समय पर गेहूं खरीदी नहीं होने से किसानों को ट्रैक्टर और ट्रॉली का अतिरिक्त भाड़ा भी देना पड़ रहा है. बड़ी संख्या में उपार्जन केंद्रों पर पहुंच रहे किसानों की वजह से सोशल डिस्टेंसिंग का पालन भी नहीं हो पा रहा है.

दरअसल किसानों की गेहूं की फसल के उपार्जन के लिए मध्य प्रदेश सरकार द्वारा क्रय केंद्रों की शुरुआत की गई थी, जहां लॉकडाउन के चलते सीमित संख्या में किसानों को फसल उपार्जन केंद्रों पर मैसेज द्वारा बुलाया जा रहा था, लेकिन बड़ी संख्या में मैसेज जारी होने से उपार्जन केंद्रों पर गेहूं लदी ट्रॉलियों की लाइन लग रही है, जिससे उपार्जन केंद्रों पर पहुंचने वाले किसानों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.

उपार्जन केंद्रों पर पहुंचने वाले किसानों का कहना है कि, अपनी फसल के उपार्जन के लिए वो ट्रैक्टर और ट्राली किराए पर लेकर आए थे, लेकिन तीन-तीन दिनों तक फसल तुलाई नहीं होने से उन्हें ट्रैक्टर का अतिरिक्त किराया देना पड़ रहा है. वहीं परेशान किसानों की मांग है कि, उपार्जन केंद्रों पर बड़े तोल कांटे का उपयोग किया जाना चाहिए, जिससे किसानों की फसल तुलाई में ज्यादा समय ना लगे.

रतलाम। उपार्जन केंद्रों की अव्यवस्था किसानों के लिए मुसीबत का सबब बन चुकी है. उपज बेचने के लिए किसान तीन- तीन दिन तक लाइन में लगकर अपनी बारी का इंतजार कर रहे हैं. रोजाना बड़ी संख्या में किसानों के पास मैसेज पहुंचने से उपार्जन केंद्रों पर गेहूं लदी ट्रॉलियों की लाइन लग रही है, जिससे उपार्जन केंद्रों पर पहुंचने वाले किसानों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. समय पर गेहूं खरीदी नहीं होने से किसानों को ट्रैक्टर और ट्रॉली का अतिरिक्त भाड़ा भी देना पड़ रहा है. बड़ी संख्या में उपार्जन केंद्रों पर पहुंच रहे किसानों की वजह से सोशल डिस्टेंसिंग का पालन भी नहीं हो पा रहा है.

दरअसल किसानों की गेहूं की फसल के उपार्जन के लिए मध्य प्रदेश सरकार द्वारा क्रय केंद्रों की शुरुआत की गई थी, जहां लॉकडाउन के चलते सीमित संख्या में किसानों को फसल उपार्जन केंद्रों पर मैसेज द्वारा बुलाया जा रहा था, लेकिन बड़ी संख्या में मैसेज जारी होने से उपार्जन केंद्रों पर गेहूं लदी ट्रॉलियों की लाइन लग रही है, जिससे उपार्जन केंद्रों पर पहुंचने वाले किसानों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.

उपार्जन केंद्रों पर पहुंचने वाले किसानों का कहना है कि, अपनी फसल के उपार्जन के लिए वो ट्रैक्टर और ट्राली किराए पर लेकर आए थे, लेकिन तीन-तीन दिनों तक फसल तुलाई नहीं होने से उन्हें ट्रैक्टर का अतिरिक्त किराया देना पड़ रहा है. वहीं परेशान किसानों की मांग है कि, उपार्जन केंद्रों पर बड़े तोल कांटे का उपयोग किया जाना चाहिए, जिससे किसानों की फसल तुलाई में ज्यादा समय ना लगे.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.