ETV Bharat / state

वर्षों बाद अलग हुए हीरा और पन्ना, टाइगर रिजर्व छोड़कर सतना के जंगलों में गया बाघ - ETV bharat News

पन्ना टाइगर रिजर्व (Panna Tiger Reserve) में वर्षों पुरानी बाघों की जोड़ी (Pair of Tigers) टूट गई है. इन दो बाघों की दोस्ती (Friendship of Tigers) को देखते हुए अधिकारियों ने इनका नाम हीरा और पन्ना रखा था. अब इन दोनों में से हीरा नाम का बाघ सतना के जंगलों (Forest of Satna) में चला गया है.

hira and Panna separated after years
वर्षों बाद अलग हुए हीरा और पन्ना
author img

By

Published : Sep 15, 2021, 9:48 PM IST

पन्ना। वैसे तो मध्य प्रदेश का पन्ना जिला मंदिरों और हीरों के लिए देश-दुनिया मे जाना जाता है, लेकिन आज हम बात पन्ना में मिलने वाले बेशकीमती हीरों (Diamond) की नहीं बल्कि पन्ना टाइगर रिजर्व (Panna Tiger Reserve) के दो ऐसे बाघों की कर रहे है. जिनका नाम हीरा और पन्ना (Hira and Panna) है. एक समय था जब ये दोनों यार पर्यटकों को खूब लुभाते थे, लेकिन अब स्थिति यह हो गई है कि दोनों को बिछड़ गए है. हीरा पन्ना टाइगर रिजर्व की सीमा छोड़कर चित्रकूट और सतना के जंगलों (Chitrakoot and Satna Forest) में चला गया है. ऐसे में प्रबंधन को भी चिंता सता रही है कि अब पन्ना हीरा के बगैर कैसे रह सकता है.

अधिकारियों ने नाम रखा था हीरा-पन्ना

पन्ना टाइगर रिजर्व के अधिकारियों ने दो मेल टाइगर की दोस्ती को देखते हुए इनका नाम हीरा और पन्ना रख दिया था. उनका कहना है कि इनका नाम भी हीरा और पन्ना इसलिए रखा था क्योंकि हीरा पन्ना के बगैर नहीं रह सकता और पन्ना हीरा के बगैर नहीं रह सकता. लेकिन अब इन दो बाघों की दोस्ती टूट गई. हीरा पन्ना को छोड़कर चित्रकूट के जंगलों में चला गया है. दोस्त के दाने के बाद पन्ना ने बफर क्षेत्र में अकोले अपना रहवास बना लिया है.

Panna Tiger Reserve: बाघिन टी-2 ने दो शावकों को दिया जन्म, बाघों का कुनबा हुआ 70 से ज्यादा

सतना और चित्रकूट के जंगलों में हीरा ने जमाया डेरा

अधिकारियों का कहना है कि हीरा पन्ना को छोड़कर सतना जिले की सीमा में पहुंच गया है. यह सेटेलाइट रेडियो कॉलर बाघ हैं. जिससे पन्ना टाइगर रिजर्व प्रबंधन के अधिकारियों को जानकारी लगी है. हालांकि कुछ दिन पहले तक अटखेलियां करने वाले यह हीरा और पन्ना दोनों भाइयों की तरह रहते थे. लेकिन हीरा के बिछड़ जाने से पन्ना अब उदास रहने लगा है. यह उदासी टाइगर रिजर्व प्रबंधन के अधिकारियों को भी समझ में आ रही है.

पन्ना। वैसे तो मध्य प्रदेश का पन्ना जिला मंदिरों और हीरों के लिए देश-दुनिया मे जाना जाता है, लेकिन आज हम बात पन्ना में मिलने वाले बेशकीमती हीरों (Diamond) की नहीं बल्कि पन्ना टाइगर रिजर्व (Panna Tiger Reserve) के दो ऐसे बाघों की कर रहे है. जिनका नाम हीरा और पन्ना (Hira and Panna) है. एक समय था जब ये दोनों यार पर्यटकों को खूब लुभाते थे, लेकिन अब स्थिति यह हो गई है कि दोनों को बिछड़ गए है. हीरा पन्ना टाइगर रिजर्व की सीमा छोड़कर चित्रकूट और सतना के जंगलों (Chitrakoot and Satna Forest) में चला गया है. ऐसे में प्रबंधन को भी चिंता सता रही है कि अब पन्ना हीरा के बगैर कैसे रह सकता है.

अधिकारियों ने नाम रखा था हीरा-पन्ना

पन्ना टाइगर रिजर्व के अधिकारियों ने दो मेल टाइगर की दोस्ती को देखते हुए इनका नाम हीरा और पन्ना रख दिया था. उनका कहना है कि इनका नाम भी हीरा और पन्ना इसलिए रखा था क्योंकि हीरा पन्ना के बगैर नहीं रह सकता और पन्ना हीरा के बगैर नहीं रह सकता. लेकिन अब इन दो बाघों की दोस्ती टूट गई. हीरा पन्ना को छोड़कर चित्रकूट के जंगलों में चला गया है. दोस्त के दाने के बाद पन्ना ने बफर क्षेत्र में अकोले अपना रहवास बना लिया है.

Panna Tiger Reserve: बाघिन टी-2 ने दो शावकों को दिया जन्म, बाघों का कुनबा हुआ 70 से ज्यादा

सतना और चित्रकूट के जंगलों में हीरा ने जमाया डेरा

अधिकारियों का कहना है कि हीरा पन्ना को छोड़कर सतना जिले की सीमा में पहुंच गया है. यह सेटेलाइट रेडियो कॉलर बाघ हैं. जिससे पन्ना टाइगर रिजर्व प्रबंधन के अधिकारियों को जानकारी लगी है. हालांकि कुछ दिन पहले तक अटखेलियां करने वाले यह हीरा और पन्ना दोनों भाइयों की तरह रहते थे. लेकिन हीरा के बिछड़ जाने से पन्ना अब उदास रहने लगा है. यह उदासी टाइगर रिजर्व प्रबंधन के अधिकारियों को भी समझ में आ रही है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.