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दलित युवती को मंदिर में नहीं जाने देने का मामला, पुजारी सहित 3 के खिलाफ केस दर्ज, दिग्विजय सिंह की सरकार को चुनौती बोले -कार्रवाई करे सरकार video viral

जिले में महाशिवरात्रि के दिन युवती को शिव मंदिर में पूजा करने से रोकने का वीडियो तेजी से वायरल होने के बाद, मामले ने तूल पकड़ लिया है. युवती का वीडियो देखने के बाद गुस्साए समाज के लोगों ने एसपी कार्यलाय पहुंच कर जमकर नारेबाजी की और बेटी को न्याय दिलाने की मांग की है. इस मामले में पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह का कहना है कि जिसने भी महिला को मंदिर में जाने से रोका उस पर कानूनी अपराध का मामला बनता है. (priest not allowed dalit women enter temple in khargone) (women was denied worshipping on mahashivratri)

priest not allowed dalit women enter temple
खरगोन में महाशिवरात्रि पर भेदभाव
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Published : Mar 5, 2022, 5:31 PM IST

खरगोन। महाशिवरात्रि के दिन एक दलित युवती को पुजारी द्वारा शिव मंदिर में पूजा करने से रोकने का वीडियो तेजी से वायरल होने के बाद, मामले ने तूल पकड़ लिया है. युवती का वीडियो देखने के बाद गुस्साए समाज के लोगों ने एसपी कार्यालय पहुंच कर जमकर नारेबाजी की और बेटी को न्याय दिलाने की मांग की है. युवती ने भी एसपी ऑफिस पहुंच कर मामले की शिकायत की है. वहीं इस मामले में राजनीति भी शुरू हो गई है. कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने इस मामले में जिम्मेदारों पर कार्रवाई करने की मांग की है.

पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह का बयान
दलित युवती को मंदिर में पूजा करने से रोका

दोषी पर कार्रवाई हो: दिग्विजय सिंह
दलित युवती को मंदिर में प्रवेश न देने के मामले में पूछे जाने पर पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह का कहना है कि जिसने भी महिला को मंदिर में जाने से रोका उस पर कानूनी अपराध का मामला बनता है. संविधान में इसके लिए कानून है, और जिस किसी ने भी इसका उल्लंघन किया है उसपर कार्रवाई होनी चाहिए.

women begging to let her enter in temple
खरगोन राज्यमंत्री के गांव में छुआछूत

ये कैसी दलित हितैषी सरकार! आयोग के दफ्तर पर ताला, एससी आयोग के अध्यक्ष पद पर नहीं करने दे रही काम, ना नए अध्यक्ष की नियुक्ति

क्या है पूरा मामला
जिला मुख्यालय से 10 किमी दूर टेमला में महाशिवरात्रि के दिन एक दलित युवती को शिव मंदिर के पुजारी ने पूजा करने से रोका था. वायरल वीडियो में महिला बार-बार उसे मंदिर में जाकर पूजा करने देने की बात कहती है, लेकिन पुजारी उसे मंदिर में नहीं आने देता है. वहां बैठी महिलाएं भी पंडित का समर्थन करती हैं. युवती पुलिस में जाने और शिकायत करने की धमकी देती है, फिर भी उसे मंदिर में प्रवेश नहीं करने दिया जाता है. पीड़िता ने मीडिया में आकर बयान देते हुए कहा है कि पंडित हमें मंदिर में नहीं जाने दे रहे थे. हमें मंदिर में पूजा करने का अधिकार चाहिए, संविधान में कहां लिखा है कि हम मंदिर नहीं जा सकते. उस वक्त 100 से 200 लोग देख रहे थे. उसके बावजूद भी किसी नहीं कुछ नहीं कहा. मंदिर में जाने का सभी को हक है.

पूर्व राज्यमंत्री बालकृष्ण पाटीदार का गृहगांव है टेमला
पूर्व राज्यमंत्री रहे बालकृष्ण पाटीदार के गृहगांव टेमला में दलित युवती को मंदिर में प्रवेश से रोकने का वीडियो सोशल मीडिया पर भी वायरल है. वीडियो में युवती और पुजारी की बहस साफ देखी जा सकती है. इस मामले की तूल पकड़ने के बाद युवती के साथ अनुसूचित जाति के लोगों ने एसपी ऑफिस पहुंच कर विरोध करते हुए कार्रवाई की मांग की है. युवती की शिकायत पर मेनगांव थाने में पुजारी सहित तीन लोगों के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर लिया गया है.


खरगोन। महाशिवरात्रि के दिन एक दलित युवती को पुजारी द्वारा शिव मंदिर में पूजा करने से रोकने का वीडियो तेजी से वायरल होने के बाद, मामले ने तूल पकड़ लिया है. युवती का वीडियो देखने के बाद गुस्साए समाज के लोगों ने एसपी कार्यालय पहुंच कर जमकर नारेबाजी की और बेटी को न्याय दिलाने की मांग की है. युवती ने भी एसपी ऑफिस पहुंच कर मामले की शिकायत की है. वहीं इस मामले में राजनीति भी शुरू हो गई है. कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने इस मामले में जिम्मेदारों पर कार्रवाई करने की मांग की है.

पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह का बयान
दलित युवती को मंदिर में पूजा करने से रोका

दोषी पर कार्रवाई हो: दिग्विजय सिंह
दलित युवती को मंदिर में प्रवेश न देने के मामले में पूछे जाने पर पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह का कहना है कि जिसने भी महिला को मंदिर में जाने से रोका उस पर कानूनी अपराध का मामला बनता है. संविधान में इसके लिए कानून है, और जिस किसी ने भी इसका उल्लंघन किया है उसपर कार्रवाई होनी चाहिए.

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खरगोन राज्यमंत्री के गांव में छुआछूत

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क्या है पूरा मामला
जिला मुख्यालय से 10 किमी दूर टेमला में महाशिवरात्रि के दिन एक दलित युवती को शिव मंदिर के पुजारी ने पूजा करने से रोका था. वायरल वीडियो में महिला बार-बार उसे मंदिर में जाकर पूजा करने देने की बात कहती है, लेकिन पुजारी उसे मंदिर में नहीं आने देता है. वहां बैठी महिलाएं भी पंडित का समर्थन करती हैं. युवती पुलिस में जाने और शिकायत करने की धमकी देती है, फिर भी उसे मंदिर में प्रवेश नहीं करने दिया जाता है. पीड़िता ने मीडिया में आकर बयान देते हुए कहा है कि पंडित हमें मंदिर में नहीं जाने दे रहे थे. हमें मंदिर में पूजा करने का अधिकार चाहिए, संविधान में कहां लिखा है कि हम मंदिर नहीं जा सकते. उस वक्त 100 से 200 लोग देख रहे थे. उसके बावजूद भी किसी नहीं कुछ नहीं कहा. मंदिर में जाने का सभी को हक है.

पूर्व राज्यमंत्री बालकृष्ण पाटीदार का गृहगांव है टेमला
पूर्व राज्यमंत्री रहे बालकृष्ण पाटीदार के गृहगांव टेमला में दलित युवती को मंदिर में प्रवेश से रोकने का वीडियो सोशल मीडिया पर भी वायरल है. वीडियो में युवती और पुजारी की बहस साफ देखी जा सकती है. इस मामले की तूल पकड़ने के बाद युवती के साथ अनुसूचित जाति के लोगों ने एसपी ऑफिस पहुंच कर विरोध करते हुए कार्रवाई की मांग की है. युवती की शिकायत पर मेनगांव थाने में पुजारी सहित तीन लोगों के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर लिया गया है.


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