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झाबुआः बिना सुरक्षा के काम कर रहे मजदूर, हो सकता है बड़ा हादसा - delhi-mumbai expressway

भारत माला प्रोजेक्ट के तहत दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे बनाने का काम कर रही निर्माण एजेंसी मजदूरों की सुरक्षा से खिलवाड़ कर रही है. झाबुआ जिले में मजदूर बिना किसी सुरक्षा साधनों के काम कर रहे हैं.

workers working without protection
बिना सुरक्षा के काम कर रहे मजदूर
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Published : Sep 20, 2020, 7:04 AM IST

झाबुआ। देश की सबसे महत्वपूर्ण परियोजना में से एक भारत माला प्रोजेक्ट के तहत दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे बनाने में निर्माण एजेंसी मजदूरों की सुरक्षा से खिलवाड़ किया जा रहा है. मध्यप्रदेश की सीमा से होकर गुजर रही इस सड़क परियोजना का 90 किलोमीटर का हिस्सा झाबुआ जिले के सीमा में आता है. जिले के भामल क्षेत्र में चल रहे निर्माण के काम के दौरान जीआर इंफ्रा प्रोजेक्ट लिमिटेड कंपनी मजदूरों की सुरक्षा का ध्यान नहीं दे रही है. जिससे किसी भी वक्त कोई हादसा होने की आशंका बनी रहती है.

भारत माला माला प्रोजेक्ट के तहत 10 लाख 3000 करोड़ की लागत से दिल्ली मुंबई एक्सप्रेस वे सड़क बनाई जा रही है. आठ लेन की सड़क झाबुआ जिले के 137 गांव से गुजरेगी. सड़क निर्माण एजेंसी जिन मजदूरों से बड़े-बड़े पुलिया और ओवर ब्रिज के पिलर का काम करवा रही है. वो काफी रिस्की है लेकिन कंपनी उन्हें सुरक्षा के उपकरण मुहैया नहीं करा रही है. हालांकि इससे पहले काम के दौरान काकनवानी क्षेत्र में विस्फोट में एक ग्रामीण की मौत हो गई थी. उसके बाद भी कंपनी ने सबक नहीं लिया है.

जीआर इंफ्रा प्रोजेक्ट लिमिटेड कंपनी ने पास में ही एक कैंप बनाया है. इस कैंप में क्रेशर और मिक्सर मशीनें लगी है. क्रेशर से उड़ने वाली धूल और मिट्टी से बचाव के लिए ना तो मजदूरों को मास्क दिए गए हैं और ना ही हेलमेट, जिसके कारण हमेशा हादसे का डर बना रहता है. भारत माला प्रोजेक्ट के तहत बनने वाले इस एक्सप्रेस वे की मॉनिटरिंग एनएचए कर रही है. निर्माण एजेंसी और जिम्मेदार अधिकारियों को काम कर रहे मजदूरों की सुरक्षा पर ध्यान देना चाहिए ताकि भविष्य में किसी भी घटना से बचा जा सके.

झाबुआ। देश की सबसे महत्वपूर्ण परियोजना में से एक भारत माला प्रोजेक्ट के तहत दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे बनाने में निर्माण एजेंसी मजदूरों की सुरक्षा से खिलवाड़ किया जा रहा है. मध्यप्रदेश की सीमा से होकर गुजर रही इस सड़क परियोजना का 90 किलोमीटर का हिस्सा झाबुआ जिले के सीमा में आता है. जिले के भामल क्षेत्र में चल रहे निर्माण के काम के दौरान जीआर इंफ्रा प्रोजेक्ट लिमिटेड कंपनी मजदूरों की सुरक्षा का ध्यान नहीं दे रही है. जिससे किसी भी वक्त कोई हादसा होने की आशंका बनी रहती है.

भारत माला माला प्रोजेक्ट के तहत 10 लाख 3000 करोड़ की लागत से दिल्ली मुंबई एक्सप्रेस वे सड़क बनाई जा रही है. आठ लेन की सड़क झाबुआ जिले के 137 गांव से गुजरेगी. सड़क निर्माण एजेंसी जिन मजदूरों से बड़े-बड़े पुलिया और ओवर ब्रिज के पिलर का काम करवा रही है. वो काफी रिस्की है लेकिन कंपनी उन्हें सुरक्षा के उपकरण मुहैया नहीं करा रही है. हालांकि इससे पहले काम के दौरान काकनवानी क्षेत्र में विस्फोट में एक ग्रामीण की मौत हो गई थी. उसके बाद भी कंपनी ने सबक नहीं लिया है.

जीआर इंफ्रा प्रोजेक्ट लिमिटेड कंपनी ने पास में ही एक कैंप बनाया है. इस कैंप में क्रेशर और मिक्सर मशीनें लगी है. क्रेशर से उड़ने वाली धूल और मिट्टी से बचाव के लिए ना तो मजदूरों को मास्क दिए गए हैं और ना ही हेलमेट, जिसके कारण हमेशा हादसे का डर बना रहता है. भारत माला प्रोजेक्ट के तहत बनने वाले इस एक्सप्रेस वे की मॉनिटरिंग एनएचए कर रही है. निर्माण एजेंसी और जिम्मेदार अधिकारियों को काम कर रहे मजदूरों की सुरक्षा पर ध्यान देना चाहिए ताकि भविष्य में किसी भी घटना से बचा जा सके.

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