जबलपुर| जिस संपत्ति को बढ़ाने के लिए लोग पाई-पाई जोड़ते हैं, वही संपत्ति कई बार विवाद का कारण बन जाती है, ऐसी ही पुश्तैनी संपत्ति को लेकर चल रहे विवाद से निपटने के लिए एक युवक ने अपने ही भाई का आयकर खाता हैक कर उसकी आय 50 लाख दिखा कर पोर्टल के माध्यम से आयकर विभाग को सूचित कर दिया, लेकिन उसका ये खेल ज्यादा समय तक नहीं चला और कानून के लंबे हाथ उसकी गर्दन तक पहुंच गये.
विकास अग्रवाल एक टैक्स कंसलटेंट हैं. विकास का अपने भाई प्रशांत अग्रवाल के साथ पुश्तैनी संपत्ति को लेकर विवाद चल रहा था. जिसके बाद विकास ने अपने भाई से बदला लेने का षड्यंत्र रचा और सबसे पहले विकास ने प्रशांत अग्रवाल का इनकम टैक्स अकाउंट हैक किया. उसके बाद प्रशांत अग्रवाल के नाम से विकास ने पचास लाख रुपए की आय होने की जानकारी आईटी के पोर्टल पर डाल दी. जैसे ही आयकर विभाग को पचास लाख रुपए की सूचना मिली तो आयकर विभाग ने तुरंत बीस लाख रुपए के टैक्स का नोटिस प्रशांत अग्रवाल को भेज दिया.
एक छोटी सी स्टेशनरी की दुकान चलाने वाले प्रशांत अग्रवाल ने कुछ दिन पहले ही अपनी आय तीन लाख रुपए घोषित की थी. जब प्रशांत को 20 लाख रुपय टैक्स देने का नोटिस मिला तो उसने इस मामले की अपने स्तर पर पड़ताल की. आयकर विभाग ने विकास को जानकारी दी कि ये इनकम टैक्स का रिटर्न उसने खुद भरा है. इसके बाद प्रशांत ने जबलपुर की साइबर सेल में अपने साथ हुए धोखे की शिकायत की. जबलपुर साइबर सेल ने मामले की जांच करते हुए विकास को धर दबोचा.
जब शुरुआत में विकास से पूछताछ की गई तो उसका कहना था कि प्रशांत के कहने पर ही उसने आयकर रिटर्न दाखिल किया है और उसकी कोई गलती नहीं है, लेकिन जब कड़ाई से पूछताछ की गई तो विकास ने अकाउंट हैक करने की बात कबूल कर ली. विकास का कहना है कि संपत्ति विवाद के चलते वो प्रशांत को ऐसे मामले में फंसाना चाहता था, जिससे उसका नुकसान हो जाए और वो परेशान हो जाए. विकास के खिलाफ धारा 420 और आईटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है.