जबलपुर। जबलपुर के नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल कॉलेज में जूनियर डॉक्टरों ने फिर गुंडागर्दी की. आए दिन डॉक्टर किसी ने किसी के साथ मारपीट करते हैं, लेकिन इनके खिलाफ एफआईआर दर्ज नहीं होने के कारण इनके हौसले बुलंद हैं. एक बार फिर डॉक्टरों की गुंडागर्दी का मामला सामने आया है. नगर निगम के स्वास्थ्य विभाग की टीम डेंगू चिकनगुनिया एवं मलेरिया की रोकथाम के लिए दवा छिड़काव करने के लिए मेडिकल कैंपस के हॉस्टल क्रमांक 1 पहुंची. तभी दवा छिड़काव करते समय एक डॉक्टर ने कर्मचारियों से अभद्र भाषा का प्रयोग किया. कर्मचारियों ने इस इसका विरोध किया तो पिटाई कर दी.
बेसबॉल एवं लाठी-डंडों से मारपीट : इसके बाद देखते ही देखते हॉस्टल में मौजूद करीब 30 से 35 जूनियर डॉक्टरों ने सभी कर्मचारियों को बेसबॉल एवं लाठी-डंडों से जमकर मारपीट की. डॉक्टरों के चंगुल से छूटने के बाद जैसे- तैसे कर्मचारी हॉस्टल से बाहर आए और अन्य दो साथियों को परिसर में खड़ी गाड़ी और सामान लेने भेजा. तभी वहां मौजूद डॉक्टरों ने उनकी भी जमकर पिटाई कर दी. इसमें एक कर्मचारी की रीढ की हड्डी टूट गई वहीं अन्य पांच गंभीर रूप से घायल हैं. उन्हें उपचार के लिए मेडिकल अस्पताल में भर्ती कराया गया है.
दवा का छिड़काव करने गई थी टीम : नगर निगम गढ़ा क्षेत्र की सीएसआई हर्षा पटेल ने बताया कि जबलपुर में सबसे ज्यादा डेंगू चिकनगुनिया एवं मलेरिया के मरीज मेडिकल कैंपस और कॉलोनियों से ही निकल रहे हैं. इसको लेकर नगर निगम जिला कलेक्टर एवं स्वास्थ्य विभाग की बैठक की गई, जिसमें फैसला लिया गया कि जिस क्षेत्र में सबसे ज्यादा मरीज निकल रहे हैं, वहां दवा का छिड़काव किया जाए.आदेश का पालन करने टीम मेडिकल कैंपस पहुंची थी. तभी डॉक्टरों ने हमला कर दिया. फिलहाल अभी तक तक पुलिस ने एफआईआर दर्ज नहीं की है. इस मामले को लेकर नगर निगम की टीम कमिश्नर और जिला कलेक्टर से बात कर रही है. (Junior doctors of Medical College Jabalpur) (Doctors brutally beat up municipal workers) (Doctors beat up workers six injured)