जबलपुर। बरगी विधानसभा क्षेत्र से बीजेपी की पूर्व विधायक प्रतिभा सिंह के बेटों के कारनामें किसी से छुपे नहीं हैं. बेलखेड़ा थाना क्षेत्र में हुए गोलीकांड में पूर्व विधायक प्रतिभा सिंह के बेटे गोलू सिंह पर आरोप था कि उसने अपने साथियों के साथ कूड़ा गांव पहुंचकर देर रात कई हवाई फायरिंग की थी. अब वहीं एक बार फिर से पूर्व विधायक के बेटे नीरज सिंह की धमकी से परेशान एक सेवानिवृत डॉक्टर पुलिस के चक्कर काटने को मजबूर है.
डॉक्टर के प्लाट पर पूर्व विधायक के बेटे की नजर
करीब बीस साल तक विक्टोरिया जिला अस्पताल में बतौर सिविल सर्जन की सेवाएं दे चुके डॉक्टर जीपी चौबे आज अपने प्लाट के हक के लिए दर-दर भटक रहे हैं. डॉक्टर जीपी चौबे ने मदनमहल थाना पुलिस से शिकायत में बताया कि एक प्लॉट राइट टाउन में खरीदा था, लेकिन 16 वर्ष बीत जाने के बाद भी वह उस प्लॉट में मकान नहीं बनवा पा रहे हैं, क्योंकि पूर्व विधायक प्रतिभा सिंह के बेटे नीरज सिंह उस प्लॉट को अपना बता रहे है.
पूर्व विधायक के बेटे ने देर रात गांव में बरसाईं गोलियां, आरोपी की तलाश में जुटी पुलिस
धाक जमा रहा पूर्व भाजपा विधायक का बेटे
डॉक्टर जीपी चौबे का बकायदा जबलपुर नगर निगम से नक्शा पास है और अब जबकि वह उस प्लाट में मकान बनवाना चाहते हैं, तो भाजपा नेत्री के बेटा, बुजुर्ग चिकित्सक के साथ धक्का-मुक्की कर, मकान निर्माण में लगे कर्मचारियों को गाली-गलौच कर वहां से भगा रहा है.
पूर्व विधायक के बेटे की दादागिरी
जिला अस्पताल से सेवानिवृत्त हुए पूर्व सिविल सर्जन डॉक्टर जीपी चौबे ने बताया कि उन्होंने वर्ष 2004 में राइट टाऊन में प्लॉट नंबर 102 अशोक सिंह की पत्नी श्रीमती विद्या ठाकुर से खरीदा था. वह वर्तमान में अपने प्लॉट पर भवन निर्माण करना चाहते हैं, लेकिन विधायक प्रतिभा सिंह के बेटे नीरज सिंह उन्हें आवास निर्माण नहीं कराने दे रहा है. इतना ही नहीं, जब उन्होंने प्लाट के दस्तावेज दिखाए तो विधायक बेटे नीरज सिंह ने उनके साथ अभद्रता करते हुए धक्का दिया और वहां से भगा दिया.
पूर्व विधायक के बेटे का रसूक
सेवानिवृत्त सिविल सर्जन ने मदनमहल थाने पहुंचकर पूर्व विधायक के बेटे के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई है. पीड़ित डॉक्टर ने नीरज सिंह की करतूतों से पूर्व विधायक प्रतिभा सिंह को भी अवगत करवाया, तो उल्टे प्रतिभा सिंह ने आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए साफ लफ्जों में कह दिया कि अभी आप प्लॉट पर भवन निर्माण नहीं करा सकते. जिसके बाद थक-हारकर बुजुुर्ग प्लॉट में अपना मालिकाना हक पाने पुलिस के पास गए, इधर मदन महल पुलिस को जवाब भी रटा रटाया था कि जांच की जा रही है.