इंदौर। विकास योजनाओं के लिए लाखों करोड़ रुपए के कर्ज पर आज पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने शिवराज सरकार पर सवाल उठाए हैं. आज इंदौर दौरे के दौरान कमलनाथ ने सवाल उठाते हुए कहा मध्य प्रदेश सरकार अब तक 330000 करोड़ रुपए का कर्जा ले चुकी है, लेकिन सरकार को यह बताना चाहिए कि इस कर्ज का क्या उपयोग हुआ है.
कमलनाथ ने सीएम पर साधा निशाना: चुनावों के मद्देनजर शिवराज सरकार की घोषणाओं के बाद आज कमलनाथ ने 100 यूनिट तक बिजली मुफ्त देने और 200 यूनिट का आधा बिल देने की घोषणा में भी भारी भरकम खर्च होने के सवाल पर कमलनाथ ने कहा "पहले शिवराज सिंह चौहान यह बताएं कि 30 लाख तीस हजार करोड़ से क्या पेंशनर्स को लाभ हुआ, क्या आशा ऊषा कार्यकर्ताओं को लाभ हुआ, क्या संविदा कर्मचारियों को लाभ हुआ, क्या आउट सोर्स वालों को लाभ हुआ. सरकार में बैठे लोगों ने कर्जे से बड़े-बड़े ठेके दिए, अब ठेके किसको दिए यह समझाने की जरूरत नहीं है." वहीं कांग्रेस सरकार बनने इस कार्य से निपटने के सवाल पर कमलनाथ का कहना था कि "हमारा वित्तीय प्रबंधन वर्तमान सरकार से अच्छा होगा, जिससे ऐसी स्थिति नहींं बनेगी."
कर्नाटक में तो 40% कमीशन: इंदौर के पूर्व आज बदनावर में भी कमलनाथ ने कर्ज पर कमीशन का जिक्र किया. उन्होंने कहा "जिस प्रकार ठेकों में मध्यप्रदेश में कमीशन है, उसी प्रकार कर्नाटक में 40 परसेंट कमीशन था, लेकिन मध्य प्रदेश की जनता जानती है कि यहां पर भ्रष्टाचार की व्यवस्था बनी हुई है. पंचायत से लेकर मंत्रालय तक यहां भी बड़े-बड़े ठेकों में कमीशन चल रहा है. इस तरह के खुले आरोप लगाने के बावजूद मुझे ईडी और सीबीआई से कतई डर नहीं लगता, क्योंकि मेरा रास्ता सच्चाई का रास्ता है. 44 साल के मेरे राजनीतिक जीवन पर कोई उंगली नहीं उठा सकता, 44 साल मुझे मेरे क्षेत्र की जनता ने वोट दिया है. कोई सांसद नहीं है देश में, जो इतने चुनाव जीता हो. जितने मैं जीता हूं."