इंदौर। प्रदेश की कैबिनेट मंत्री उषा ठाकुर ने इंदौर में विवादित बयान दिया है. उन्होंने कहा कि कहा कि वर्ग विशेष के लोग जिस मोहल्ले में रहते हैं, वहां का नाम खुद ही बदल लेते हैं और खुद ही बोर्ड लगा लेते हैं. नाम बदले जाने को लेकर प्रस्ताव ना तो जिला योजना समिति में जाता है ना ही किसी से पूछा जाता है. उषा ठाकुर ने कहा है कि यह जागरण नहीं पुनर्जागरण है. तथ्य और प्रमाण के आधार पर यदि परिवर्तन होता है तो होने देना चाहिए. मंत्री उषा ठाकुर ने यह भी कहा कि मध्य प्रदेश और मालवा के किसान समझदार है और उन्होंने कानूनों को समझा है. इसलिए मध्य प्रदेश में आंदोलन जैसी कोई स्थिति नहीं बनेगी.
वर्ग विशेष के लोगों पर उषा ठाकुर ने की टिप्पणी
मंत्री उषा ठाकुर ने कहा कि हमें इतिहास पर मिलकर तय करना होगा. प्रमाण जिसके पक्ष में आएंगे उस पर निर्णय लिया जाएगा. उषा ठाकुर ने कहा कि कई मोहल्ले का नाम बिना सोचे समझे और बिना पूछे बदल दिए गए. अगर संवैधानिक तथ्य पर यह हो रहा है तो इसमें किसी को आपत्ति नहीं होना चाहिए.
मध्यप्रदेश में नहीं है किसान आंदोलन का कोई भी असर
उषा ठाकुर ने कहा कि मध्यप्रदेश में किसान आंदोलन का कोई असर नहीं है. प्रदेश और मालवा के किसान समझदार हैं, जिन्होंने कृषि कानूनों को समझा है. इसलिए मध्यप्रदेश में आंदोलन की कोई स्थिति नहीं बनी. पंजाब और हरियाणा में उच्च कोटि के दलाल सुनियोजित तरीके से आंदोलन को आगे बढ़ा रहे हैं. यह जो गलत मानसिकता के लोग हैं, टुकड़े-टुकड़े गैंग हर जगह जाकर परिस्थितियों का फायदा उठाते हैं. उन्होंने कहा कि शाहीन बाग में जो अंदर हुए हैं उन्हें छुड़ाने की चिंता किसान आंदोलन में क्यों हो रही है यह सोचने की बात है.