इंदौर। भ्रामक जानकारी शेयर करने के आरोप में पूर्व सीएम कमलनाथ के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है, जिसे लेकर प्रदेश में सियासत गरमा गई है. प्रदेश के पश्चिमी अंचल में जमकर विरोध हुआ. पूर्व मंत्री सज्जन वर्मा के नेतृत्व में कांग्रेस विधायकों ने आईजी हरिनारायण चारी मिश्र को ज्ञापन सौंपकर मौतों के आंकड़े छिपाने के आरोप में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पर एफआईआर दर्ज करने की मांग की.
कमलनाथ के खिलाफ एफआईआर दर्ज किए जाने के बाद पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा ने कहा है कि सरकार भय की राजनीति कर रही है. कांग्रेस विधायक संजय शुक्ला के अलावा पूर्व मंत्री सज्जन वर्मा ने अपनी प्रतिक्रिया दी थी. सीएम शिवराज पर कोरोना से हुई मौतों को छिपाने का आरोप लगाया था. कांग्रेसियों ने चेतावनी दी थी कि वे पुलिस को मौतों के आंकड़े सौंपकर शिवराज पर एफआईआर दर्ज करने की मांग करेंगे.
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कांग्रेस नेता और पूर्व मंत्री सज्जन वर्मा के साथ विधायक संजय शुक्ला, विशाल पटेल और विनय बाकलीवाल समेत अन्य पदाधिकारी इंदौर आईजी के कार्यालय पर पहुंचे, जहां इंदौर में कोरोना से हुई मौतों के आंकड़े कांग्रेसियों ने आईजी को सौंपा. इस दौरान सज्जन वर्मा ने मांग की है, कि जिस तरह राज्य सरकार मौतों को छिपा रही है और कई मरीजों की जान खतरे में डाल रही है. इस मामले में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के खिलाफ भी एफआईआर दर्ज की जाए. वर्मा ने आरोप लगाया कि पूरे विश्व में आज इंडियन वेरिएंट को लेकर मध्य प्रदेश समेत पूरे भारत को बदनाम किया जा रहा है, लेकिन जो मोदी पूरी दुनिया में घूमते थे वह आज इस घटनाक्रम के बावजूद मौन व्रत धारण किए बैठे हैं. जहां तक मध्य प्रदेश का सवाल है तो मध्य प्रदेश में बीते 2 महीने में ही 10,0000 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है. शिवराज सरकार आंकड़े छिपाकर गरीब जनता के साथ अन्याय पर तुली हुई है. यह बात उजागर करना भी अब अपराध हो चुका है.