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Narmadapuram Murder Case: 22 बीघा जमीन को लेकर अधेड़ की हत्या, 15 दिन बाद पुलिस ने 5 फिट गहरे गड्ढे से निकाला शव

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Published : Jul 8, 2023, 1:04 PM IST

नर्मदापुरम में जमीन को लेकर साथ रहने वाले अपनों ने ही एक अधेड़ की हत्या कर शव को 5 फीट गहरा गड्ढा खोदकर उसी में दफना दिया. आरोपी परिजनों और पुलिस के साथ मिलकर मृतक की तलाश भी कई दिनों तक करते रहे. गहन जांच में हत्या के कारण का खुलासा हो गया.

Narmadapuram crime news
नर्मदापुरम हत्याकांड
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अवधेश प्रताप सिंह

नर्मदापुरम। 22 बीघा जमीन को लेकर 3 लोगों ने 45 वर्षीय युवक की उसी के खेत में हत्या कर दी और 5 फिट गहरे गड्ढे में शव को गड़ा दिया, घटना पिछले माह की 21 जून की है, जिसकी गुमशुदगी मृतक के परिवार के लोगों ने डोलरिया थाने में दर्ज कराई थी, जिसके बाद मामले को लेकर पुलिस मृतक की तलाश कर रही थी, इतना ही नहीं आरोपी मृतक के परिवार के साथ मिलकर करीब 15 दिनों तक तलाश करते रहे, ताकि किसी को आरोपियों के ऊपर शक न हो. पुलिस के द्वारा आरोपियों पर शक होने पर उनसे कड़ी पूछताछ की गई. जिसके बाद आरोपियों ने अपना जुर्म कबूला कर लिया है. आरोपियों को पुलिस ने कोर्ट में पेश कर दो दिनों की रिमांड मांगी है, मृतक का पोस्टमार्टम कराकर शव का अंतिम संस्कार करा दिया गया. वहीं तीसरे आरोपी की पुलिस अभी भी तलाश कर रही है.

ये है पूरा मामला: डोलरिया थाना क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले गांव सेमरी खुर्द में पिछले माह की 21 तारीख को प्रशांत पटेल जिसकी उम्र लगभग 45 वर्ष के गुम होने की सूचना पुलिस को मिली थी. थाना डोलरिया क्षेत्र में जिसकी गुम इंसान कायमी की गई थी विशेष टीम द्वारा उसकी तलाश की जा रही थी, तलाश करने के दौरान भी कोई सुराग पुलिस को नहीं मिला था. मृतक के परिवार को भी कोई सुराग नहीं मिल रहा था. कई लोगों से पूछताछ से एवं चर्चा के दौरान 2 लोगों के ऊपर शक हुआ. जिनके बयान लिए गए थे. उनसे पूछताछ की गई दूसरी बार और तीसरी बार भी पूछताछ की गई थी.

पिता ने आरोपी के नाम की थी जमीन: पूछताछ में यह स्पष्ट हुआ की विदिशा में एक क्रय की गई भूमि है. उस पर से यह विवाद हुआ था. उसी गांव के रहने वाले मयंक तिवारी उसके मामा चेतन पाठक और विदिशा के एक साथी के साथ लोहे की राड से हत्या कर दी थी और वहीं पास में खेत के गड्ढा करके उसे गड़ा दिया गया था. पूछताछ के बाद कई तथ्य सामने आए और एक विशेष टीम पहुंची और उस स्थान की खुदाई की ओर मृतक का मृत शरीर पुलिस को मिला जिसका पोस्टमार्टम कराया गया. मामले में 3 आरोपियों पर हत्या का आरोप दर्ज किया गया. 3 आरोपियों में से दो आरोपियों को मयंक तिवारी, चेतन पाठक को गिरफ्तार कर न्यायालय पेश किया गया. जिसे 2 दिनों की रिमांड के लिए आरोपियों से पूछताछ की जा रही है. वहीं एक आरोपी घटना दिनांक से ही फरार है जिसके लिए जिसकी तलाश की जा रही है.

जमीन विवाद में हत्या: मामले को लेकर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अवधेश प्रताप सिंह ने बताया की प्रारंभिक तौर पर जो जानकारी लगी है. उसमें लगभग 22 बीघा जमीन है, जो विदिशा में है उसकी स्थिति पूरी तरह स्पष्ट करने की आवश्यकता है. उन्होंने कहा कि वह जमीन मृतक के पिता ने उसका अनुबंध किया था जिसमे मृतक के बजाय उसमें पार्टनर आरोपी मयंक तिवारी था जिस कारण से मयंक तिवारी और मृतक के बीच विवाद भी हुआ करता था. मृतक को यह लगता था कि उसके पिता ने मृतक अपने बेटे का नाम नहीं लिखवा कर उसमें अन्य व्यक्ति का नाम लिखवाया था जिस कारण से यह विवाद आए दिन हुआ करता था और जब मयंक तिवारी के मामा को जब यह लगा कि यह बार-बार विवाद करता रहता है, तो वह लोग आए और मृतक जो राह में रोड़ा है, उसे योजनाबद्ध तरीके से अपने साथी को लेकर इन लोगों ने मुलाकात की इनके बीच में बातचीत हुई और विवाद हुआ और वहीं इन्होंने रॉड से उसके सर पर हमला किया जिसके कारण चोट आई और वह मृत हो गया.

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पुलिस को गुमराह करने की कोशिश: अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ने बताया जब प्रारंभिक तौर पर पूछताछ हुई थी, तभी निश्चित रूप से आरोपियों ने पुलिस को गुमराह करने की कोशिश की. जब देर रात तक युवक का पता नहीं चला तो वह वापस नहीं आए, तो इनके पिता ने इन लोगों को फोन लगाया. जिस पर से आरोपी रात में ही वापस भोपाल से आए और वहां पर रुके घरवालों को भरोसा दिलाने के लिए उसकी तलाश भी की, लेकिन जब पुलिस ने कई चरणों में पूछताछ की जिनके जबाब यह नहीं दे पाए जिससे यह स्पष्ट हुआ कि सारी कहानी सामने आई. आरोपी जो मयंक तिवारी है वह अपने ननिहाल में रहता है, वहां पर उसका बिजनेस है, शनिवार, रविवार को वह अपने घर आता है, उसका मामा है जो कि पुलिस विभाग में आरक्षक है जो रायसेन जिले में पदस्थ है जो की 6 माह से निलंबित चल रहा है वहीं तीसरा आरोपी भी है जिस पर तीन से चार मामले विदिशा में दर्ज है.

ऐसे हुआ आरोपियों पर शक: अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ने कहा कि आरोपी बार-बार शनिवार, इतवार को यह जो मयंक तिवारी है भाई के साथ में आता था लेकिन उस दिन इसका मामा भी साथ में आया और तीसरा व्यक्ति भी आया. शनिवार, इतवार के बाद सोमवार,मंगलवार, बुधवार भी यह लोग यहां रुके घटना बुधवार की है. पुलिस को शक हुआ की यह लोग इतना समय यहां रुके क्यों. दूसरी बात यह सामने निकल कर आई कि जो मृतक है उसे अंतिम बार जब उसकी पत्नी ने फोन लगाया था, कि आप कहां पर हैं, तब उसने चेतन पाठक जिसको वह मामा कहता था नाम लिया था. उसके साथ हूं कहा था. तब प्रारंभिक तौर पर ही यह स्पष्ट था कि कहीं ना कहीं इनकी उपस्थिति है और घटना करके तत्काल वहां से कुछ समय बाद गायब भी हो गए थे. देर रात तक उस गांव में नहीं थे. कॉल करने पर भोपाल पता लगा था और उसके पिता के कॉल पर आरोपी वापस आए थे. वही अभी और भी पूरा मामला विवेचना में हैं. सभी पहलुओं पर विवेचना की जा रही है.

अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अवधेश प्रताप सिंह

नर्मदापुरम। 22 बीघा जमीन को लेकर 3 लोगों ने 45 वर्षीय युवक की उसी के खेत में हत्या कर दी और 5 फिट गहरे गड्ढे में शव को गड़ा दिया, घटना पिछले माह की 21 जून की है, जिसकी गुमशुदगी मृतक के परिवार के लोगों ने डोलरिया थाने में दर्ज कराई थी, जिसके बाद मामले को लेकर पुलिस मृतक की तलाश कर रही थी, इतना ही नहीं आरोपी मृतक के परिवार के साथ मिलकर करीब 15 दिनों तक तलाश करते रहे, ताकि किसी को आरोपियों के ऊपर शक न हो. पुलिस के द्वारा आरोपियों पर शक होने पर उनसे कड़ी पूछताछ की गई. जिसके बाद आरोपियों ने अपना जुर्म कबूला कर लिया है. आरोपियों को पुलिस ने कोर्ट में पेश कर दो दिनों की रिमांड मांगी है, मृतक का पोस्टमार्टम कराकर शव का अंतिम संस्कार करा दिया गया. वहीं तीसरे आरोपी की पुलिस अभी भी तलाश कर रही है.

ये है पूरा मामला: डोलरिया थाना क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले गांव सेमरी खुर्द में पिछले माह की 21 तारीख को प्रशांत पटेल जिसकी उम्र लगभग 45 वर्ष के गुम होने की सूचना पुलिस को मिली थी. थाना डोलरिया क्षेत्र में जिसकी गुम इंसान कायमी की गई थी विशेष टीम द्वारा उसकी तलाश की जा रही थी, तलाश करने के दौरान भी कोई सुराग पुलिस को नहीं मिला था. मृतक के परिवार को भी कोई सुराग नहीं मिल रहा था. कई लोगों से पूछताछ से एवं चर्चा के दौरान 2 लोगों के ऊपर शक हुआ. जिनके बयान लिए गए थे. उनसे पूछताछ की गई दूसरी बार और तीसरी बार भी पूछताछ की गई थी.

पिता ने आरोपी के नाम की थी जमीन: पूछताछ में यह स्पष्ट हुआ की विदिशा में एक क्रय की गई भूमि है. उस पर से यह विवाद हुआ था. उसी गांव के रहने वाले मयंक तिवारी उसके मामा चेतन पाठक और विदिशा के एक साथी के साथ लोहे की राड से हत्या कर दी थी और वहीं पास में खेत के गड्ढा करके उसे गड़ा दिया गया था. पूछताछ के बाद कई तथ्य सामने आए और एक विशेष टीम पहुंची और उस स्थान की खुदाई की ओर मृतक का मृत शरीर पुलिस को मिला जिसका पोस्टमार्टम कराया गया. मामले में 3 आरोपियों पर हत्या का आरोप दर्ज किया गया. 3 आरोपियों में से दो आरोपियों को मयंक तिवारी, चेतन पाठक को गिरफ्तार कर न्यायालय पेश किया गया. जिसे 2 दिनों की रिमांड के लिए आरोपियों से पूछताछ की जा रही है. वहीं एक आरोपी घटना दिनांक से ही फरार है जिसके लिए जिसकी तलाश की जा रही है.

जमीन विवाद में हत्या: मामले को लेकर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अवधेश प्रताप सिंह ने बताया की प्रारंभिक तौर पर जो जानकारी लगी है. उसमें लगभग 22 बीघा जमीन है, जो विदिशा में है उसकी स्थिति पूरी तरह स्पष्ट करने की आवश्यकता है. उन्होंने कहा कि वह जमीन मृतक के पिता ने उसका अनुबंध किया था जिसमे मृतक के बजाय उसमें पार्टनर आरोपी मयंक तिवारी था जिस कारण से मयंक तिवारी और मृतक के बीच विवाद भी हुआ करता था. मृतक को यह लगता था कि उसके पिता ने मृतक अपने बेटे का नाम नहीं लिखवा कर उसमें अन्य व्यक्ति का नाम लिखवाया था जिस कारण से यह विवाद आए दिन हुआ करता था और जब मयंक तिवारी के मामा को जब यह लगा कि यह बार-बार विवाद करता रहता है, तो वह लोग आए और मृतक जो राह में रोड़ा है, उसे योजनाबद्ध तरीके से अपने साथी को लेकर इन लोगों ने मुलाकात की इनके बीच में बातचीत हुई और विवाद हुआ और वहीं इन्होंने रॉड से उसके सर पर हमला किया जिसके कारण चोट आई और वह मृत हो गया.

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पुलिस को गुमराह करने की कोशिश: अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ने बताया जब प्रारंभिक तौर पर पूछताछ हुई थी, तभी निश्चित रूप से आरोपियों ने पुलिस को गुमराह करने की कोशिश की. जब देर रात तक युवक का पता नहीं चला तो वह वापस नहीं आए, तो इनके पिता ने इन लोगों को फोन लगाया. जिस पर से आरोपी रात में ही वापस भोपाल से आए और वहां पर रुके घरवालों को भरोसा दिलाने के लिए उसकी तलाश भी की, लेकिन जब पुलिस ने कई चरणों में पूछताछ की जिनके जबाब यह नहीं दे पाए जिससे यह स्पष्ट हुआ कि सारी कहानी सामने आई. आरोपी जो मयंक तिवारी है वह अपने ननिहाल में रहता है, वहां पर उसका बिजनेस है, शनिवार, रविवार को वह अपने घर आता है, उसका मामा है जो कि पुलिस विभाग में आरक्षक है जो रायसेन जिले में पदस्थ है जो की 6 माह से निलंबित चल रहा है वहीं तीसरा आरोपी भी है जिस पर तीन से चार मामले विदिशा में दर्ज है.

ऐसे हुआ आरोपियों पर शक: अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ने कहा कि आरोपी बार-बार शनिवार, इतवार को यह जो मयंक तिवारी है भाई के साथ में आता था लेकिन उस दिन इसका मामा भी साथ में आया और तीसरा व्यक्ति भी आया. शनिवार, इतवार के बाद सोमवार,मंगलवार, बुधवार भी यह लोग यहां रुके घटना बुधवार की है. पुलिस को शक हुआ की यह लोग इतना समय यहां रुके क्यों. दूसरी बात यह सामने निकल कर आई कि जो मृतक है उसे अंतिम बार जब उसकी पत्नी ने फोन लगाया था, कि आप कहां पर हैं, तब उसने चेतन पाठक जिसको वह मामा कहता था नाम लिया था. उसके साथ हूं कहा था. तब प्रारंभिक तौर पर ही यह स्पष्ट था कि कहीं ना कहीं इनकी उपस्थिति है और घटना करके तत्काल वहां से कुछ समय बाद गायब भी हो गए थे. देर रात तक उस गांव में नहीं थे. कॉल करने पर भोपाल पता लगा था और उसके पिता के कॉल पर आरोपी वापस आए थे. वही अभी और भी पूरा मामला विवेचना में हैं. सभी पहलुओं पर विवेचना की जा रही है.

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