ETV Bharat / state

हरदाः गुप्तेश्वर मंदिर में की गई भगवान भोलेनाथ की पूजा, किया गया आकर्षक श्रृंगार - गुप्तेश्वर मंदिर में श्रावणी पर्व

हरदा में श्रावणी पर्व मनाया गया, जिसमें अजनाल नदी के किनारे बने गुप्तेश्वर मंदिर में लोगों ने कई विधियों से भगवान भोलेनाथ का श्रृंगार किया. सालभर जाने अनजाने हुए किसी भी प्रकार के दोषों की मुक्ति के लिए ये पर्व मनाया जाता है. इसके साथ ही छिंदवाड़ा में भी श्रावणी पर्व की धूम रही.

पूजा करते पंडित
author img

By

Published : Aug 15, 2019, 6:21 PM IST

हरदा। सर्व ब्राह्मण समाज ने अजनाल नदी के किनारे स्थित प्राचीन गुप्तेश्वर मंदिर में श्रावणी पर्व मनाया. सावन माह की पूर्णिमा पर हेमाद्री संकल्प के साथ सप्त ऋषियों की पूजा की. समाज के लोगों ने दश विधि स्नान कर यज्ञोपवीत धारण किया. यहां पर विप्र समाज के बंधुओ ने अलग अलग विधियों से स्नान किया.

मनाया गया श्रावणी पर्व

श्रावणी पर्व के अवसर गुप्तेश्वर मन्दिर में भगवान गुप्तेश्वर और भगवान परशुराम की प्रतिमा को रक्षा सूत्र भी बांधा गया. इसी तरह से बाबीसा ब्राह्मण समाज ने भी प्रताप कालोनी स्थित धर्मशाला ने श्रावणी पर्व मनाया. इस अवसर पर ब्राह्मणों ने हेमाद्री संकल्प लेकर यज्ञोपवीत धारण किया. सर्व ब्राह्मण समाज ने हर साल यह आयोजन किया जाता है. जिसमें बड़ी संख्या में समाज के लोग शामिल हुए.

आचार्य ओमप्रकाश पुरोहित ने बताया कि साल के बारह महीने में जाने अनजाने में किसी भी प्रकार के दोष हो जाते है. उनकी निवर्ती के लिए दस विधि स्नान कर श्रावणी पर्व मनाया जाता है. इसके साथ ही छिंदवाड़ा में भी श्रावणी पर्व मनाया गया.

हरदा। सर्व ब्राह्मण समाज ने अजनाल नदी के किनारे स्थित प्राचीन गुप्तेश्वर मंदिर में श्रावणी पर्व मनाया. सावन माह की पूर्णिमा पर हेमाद्री संकल्प के साथ सप्त ऋषियों की पूजा की. समाज के लोगों ने दश विधि स्नान कर यज्ञोपवीत धारण किया. यहां पर विप्र समाज के बंधुओ ने अलग अलग विधियों से स्नान किया.

मनाया गया श्रावणी पर्व

श्रावणी पर्व के अवसर गुप्तेश्वर मन्दिर में भगवान गुप्तेश्वर और भगवान परशुराम की प्रतिमा को रक्षा सूत्र भी बांधा गया. इसी तरह से बाबीसा ब्राह्मण समाज ने भी प्रताप कालोनी स्थित धर्मशाला ने श्रावणी पर्व मनाया. इस अवसर पर ब्राह्मणों ने हेमाद्री संकल्प लेकर यज्ञोपवीत धारण किया. सर्व ब्राह्मण समाज ने हर साल यह आयोजन किया जाता है. जिसमें बड़ी संख्या में समाज के लोग शामिल हुए.

आचार्य ओमप्रकाश पुरोहित ने बताया कि साल के बारह महीने में जाने अनजाने में किसी भी प्रकार के दोष हो जाते है. उनकी निवर्ती के लिए दस विधि स्नान कर श्रावणी पर्व मनाया जाता है. इसके साथ ही छिंदवाड़ा में भी श्रावणी पर्व मनाया गया.

Intro:
सर्व ब्राह्मण समाज के द्वारा अजनाल नदी के किनारे स्थित प्राचीन गुप्तेश्वर मंदिर में श्रावणी पर्व मनाया गया। सावन माह की पूर्णिमा पर हेमाद्री संकल्प के साथ सप्त ऋषियों की पूजा अर्चना कर दश विधि स्नान कर यज्ञोपवीत धारण किया गया।यहां पर विप्र समाज के बंधुओ के द्वारा अलग अलग विधियों से स्नान किया गया।


Body:श्रावणी पर्व के अवसर गुप्तेश्वर मन्दिर में भगवान गुप्तेश्वर एवं भगवान परशुराम जी की प्रतिमा को रक्षा सूत्र भी बांधा गया।इसीतरह से बाबीसा ब्राह्मण समाज के द्वारा भी प्रताप कालोनी स्थित धर्मशाला ने श्रावणी पर्व मनाया गया।इस अवसर पर ब्राह्मणों ने हेमाद्री संकल्प लेकर यज्ञोपवीत धारण किया।सर्व ब्राह्मण समाज के द्वारा प्रतिवर्ष यह आयोजन किया जाता है।जिसमें बड़ी संख्या में समाज के लोग शामिल हुए।


Conclusion:आचार्य ओमप्रकाश पुरोहित ने बताया कि साल के बारह महीने में जाने अनजाने में किसी भी प्रकार के दोष हो जाते है।उनकी निवर्ती के लिए दस विधि स्नान कर श्रावणी पर्व मनाया जाता है।
बाईट - ओमप्रकाश पुरोहित,आचार्य,हरदा

नोट - इस खबर से जुड़े कुछ विजुअल वार्प पर भेज रहा हूं।कृपया इस खबर के साथ जोड़ने का कष्ट करें।
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.