ग्वालियर। ईटीवी भारत की खबर का एक बार फिर बड़ा असर हुआ है. ईटीवी भारत ने बुधवार को बताया था कि किस तरह से एक ऐसी और रेफ्रिजरेटर मैकेनिक ने अपनी सूझबूझ से ऑक्सीजन फ्लो मीटर तैयार किया है. इस मामले में ग्वालियर के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी ने मोनू कुशवाहा के प्रयासों को सराहा है. उनका कहना है कि मोनू द्वारा बनाए गए ऑक्सीफ्लो मीटर को मेडिकल चेक करने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने बड़ी संख्या में इन ऑक्सीफ्लो मीटर को खरीद सकता है. क्योंकि 300 ऑक्सीजन फ्लोमीटर के लिए कारपोरेशन को स्वास्थ्य विभाग ने लंबे समय से आर्डर दिया था, लेकिन वह अभी तक नहीं मिल सके हैं.
- स्वास्थ्य विभाग मोनू से खरिदेगा ऑक्सीफ्लो मीटर
300 ऑक्सीजन फ्लोमीटर के लिए कारपोरेशन को स्वास्थ्य विभाग ने लंबे समय से आर्डर दिया था, इन ऑक्सीफ्लो मीटर सप्लाई की आखिरी तारीख 9 मई है. ऐसे में यदि जीवन रक्षक ऑक्सीजन फ्लोमीटर सस्ते और मजबूत मोनू के द्वारा बनाए जाते हैं, तो स्वास्थ्य विभाग उन्हें खरीदेगा. फिलहाल स्थानीय नर्सिंग होम के कई कर्मचारियों ने ईटीवी भारत की खबर को देखते हुए मोनू कुशवाहा से संपर्क साधा है. उन्होंने मोनू द्वारा बनाए गए ऑक्सी फ्लोमीटर की तारीफ की है. कहा है कि ऐसी महामारी के दौर में जब बाजार से ऑक्सीजन फ्लोमीटर गायब है, ऐसे में मोनू के प्रयास से लोगों को सस्ता और टिकाऊ ऑक्सी फ्लोमीटर मिल रहा है. यही अपने आप में बड़ी उपलब्धि है.
800 रुपए में बिकने वाला ऑक्सीफ्लो मीटर 8 हजार रुपये में बेचते हुए ग्राहक-दुकानदार गिरफ्तार
- एक हजार में बन रहे ऑक्सीफ्लो मीटर
उधर ऑक्सीजन फ्लोमीटर बनाने वाले मोनू कुशवाहा का कहना है कि स्वास्थ्य विभाग ने उनसे संपर्क नहीं साधा है, लेकिन यदि विभाग उनसे संपर्क होता है तो वे विभाग को यह फ्लोमीटर बनवाकर देगा. इसके लिए वह दिन रात मेहनत करके ऑक्सी फ्लोमीटर को तैयार कर देगा. गौरतलब है कि इस समय 7 हजार रुपए तक यह ऑक्सीफ्लो मीटर मिल रहा है. वहीं मोनू ने मात्र एक हजार रुपए में इसे तैयार किया है. अच्छी बात यह भी है कि मोनू ने ऑक्सीमीटर के लिए अपना कमीशन वगैरह सभी कुछ छोड़ दिया है. सिर्फ लागत को ही जरूरतमंदों से ले रहे हैं.