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'My Traffic My Safety App': महिलाओं की सुरक्षा को लेकर पुलिस का बड़ा कदम, गृह मंत्री ने लॉन्च किया ऐप

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Published : Jul 26, 2021, 10:01 AM IST

Updated : Jul 26, 2021, 10:15 AM IST

महिलाओं से संबंधित आपराधों पर लगाम कसने के लिए ग्वालियर में माई ट्रैफिक माई सेफ्टी ऐप लॉन्‍च किया गया है. इस ऐप को प्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने पुलिस कंट्रोल रूम से लॉन्‍च किया है.

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गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा

ग्वालियर। प्रदेश की शिवराज सरकार महिलाओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए एक के बाद एक बड़ा कदम उठा रही है. इसी क्रम में पुलिस ने एक नई पहल का आगाज करते हुए ग्वालियर में माई ट्रैफिक माई सेफ्टी नाम से एक ऐप लॉन्‍च किया है. प्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने पुलिस कंट्रोल रूम से इस ऐप को लॉन्‍च किया है. इस मौके पर उन्होंने कहा कि, ग्वालियर शहर में महिला सुरक्षा पुख्ता करने में यह ऐप महत्वपूर्ण रोल अदा करेगा.

ऐप से रजिस्टर्ड होंगे ऑटो-टैक्सी
बता दें कि, महिला सुरक्षा पुख्ता करने में यह ऐप इसलिए भी अहम रोल अदा करेगा, क्योंकि इस ऐप में शहर के सभी ऑटो-टैक्सी रजिस्टर्ड होंगे. इनमें लगे क्यूआर कोड के जरिए महिलाओं को किसी भी संदेह की स्थिति में तत्काल सुरक्षा मिलेगी. दरअसल, इस तरह के मामलों में वाहन की लोकेशन, ट्रेवल हिस्ट्री और डाटा जुटानें में पहले समय लगता था, जोकि अब कुछ ही क्षणों में पुलिस के पास उपलब्ध होगा. इस मायने में भी ये ऐप काफी मददगार साबित होगा.

क्‍यूआर कोड को मोबाइल में करना होगा स्कैन
दरअसल, माई ट्रैफिक माई सेफ्टी ऐप के पहले फेज में ग्वालियर के 3 हजार ऑटो टैक्सी रजिस्टर्ड हो चुके हैं. इसके अलावा इस ऐप को अधिक मजबूती प्रदान करता है वाहनों में लगा जीपीएस और क्‍यूआर कोडिंग सिस्टम, जिसके जरिए गाड़ी की लोकेशन बिना किसी देरी के ट्रेस की जा सकेगी. अब सवाल उठता है कि महिला इस ऐप का कैसे इस्तेमाल करेंगी, तो बता दें कि महिला यात्री जब ऑटो या टैक्सी में बैठेंगी, उस दौरान उन्हें क्‍यूआर कोड को अपने मोबाइल में स्कैन करना होगा. स्कैन करते ही संबंधित वाहन की पूरी जानकारी मोबाइल पर आ जाएगी, जिसे यात्री वाट्सएप के जरिए अपने परिजनों के साथ शेयर कर सकते हैं. साथ ही अपनी स्थिति से अवगत करा सकती हैं. इतना ही नहीं खुद को असुरक्षित महसूस करने पर महिला ऐप के जरिए ही पुलिस को सूचित कर सकेंगी.

कोर्ट का ऐतिहासिक फैसला: 13 साल की मासूम से रेप और हत्या के दोषी रिश्तेदार को फांसी की सजा


ग्वालियर बना पहला शहर
इसी के साथ माई ट्रैफिक माई सेफ्टी का आगाज करने वाला ग्वालियर पहला शहर बन गया है. इस ऐप से पुलिस शहर के सभी 9 हजार ऑटो टैक्सी को रजिस्टर्ड करेगी. पहले फेज में शहर के 3 हजार ऑटो टैक्सी रजिस्टर्ड हो चुके हैं.

ग्वालियर। प्रदेश की शिवराज सरकार महिलाओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए एक के बाद एक बड़ा कदम उठा रही है. इसी क्रम में पुलिस ने एक नई पहल का आगाज करते हुए ग्वालियर में माई ट्रैफिक माई सेफ्टी नाम से एक ऐप लॉन्‍च किया है. प्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने पुलिस कंट्रोल रूम से इस ऐप को लॉन्‍च किया है. इस मौके पर उन्होंने कहा कि, ग्वालियर शहर में महिला सुरक्षा पुख्ता करने में यह ऐप महत्वपूर्ण रोल अदा करेगा.

ऐप से रजिस्टर्ड होंगे ऑटो-टैक्सी
बता दें कि, महिला सुरक्षा पुख्ता करने में यह ऐप इसलिए भी अहम रोल अदा करेगा, क्योंकि इस ऐप में शहर के सभी ऑटो-टैक्सी रजिस्टर्ड होंगे. इनमें लगे क्यूआर कोड के जरिए महिलाओं को किसी भी संदेह की स्थिति में तत्काल सुरक्षा मिलेगी. दरअसल, इस तरह के मामलों में वाहन की लोकेशन, ट्रेवल हिस्ट्री और डाटा जुटानें में पहले समय लगता था, जोकि अब कुछ ही क्षणों में पुलिस के पास उपलब्ध होगा. इस मायने में भी ये ऐप काफी मददगार साबित होगा.

क्‍यूआर कोड को मोबाइल में करना होगा स्कैन
दरअसल, माई ट्रैफिक माई सेफ्टी ऐप के पहले फेज में ग्वालियर के 3 हजार ऑटो टैक्सी रजिस्टर्ड हो चुके हैं. इसके अलावा इस ऐप को अधिक मजबूती प्रदान करता है वाहनों में लगा जीपीएस और क्‍यूआर कोडिंग सिस्टम, जिसके जरिए गाड़ी की लोकेशन बिना किसी देरी के ट्रेस की जा सकेगी. अब सवाल उठता है कि महिला इस ऐप का कैसे इस्तेमाल करेंगी, तो बता दें कि महिला यात्री जब ऑटो या टैक्सी में बैठेंगी, उस दौरान उन्हें क्‍यूआर कोड को अपने मोबाइल में स्कैन करना होगा. स्कैन करते ही संबंधित वाहन की पूरी जानकारी मोबाइल पर आ जाएगी, जिसे यात्री वाट्सएप के जरिए अपने परिजनों के साथ शेयर कर सकते हैं. साथ ही अपनी स्थिति से अवगत करा सकती हैं. इतना ही नहीं खुद को असुरक्षित महसूस करने पर महिला ऐप के जरिए ही पुलिस को सूचित कर सकेंगी.

कोर्ट का ऐतिहासिक फैसला: 13 साल की मासूम से रेप और हत्या के दोषी रिश्तेदार को फांसी की सजा


ग्वालियर बना पहला शहर
इसी के साथ माई ट्रैफिक माई सेफ्टी का आगाज करने वाला ग्वालियर पहला शहर बन गया है. इस ऐप से पुलिस शहर के सभी 9 हजार ऑटो टैक्सी को रजिस्टर्ड करेगी. पहले फेज में शहर के 3 हजार ऑटो टैक्सी रजिस्टर्ड हो चुके हैं.

Last Updated : Jul 26, 2021, 10:15 AM IST
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