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चिड़ियाघर में पशु-पक्षी खा रहे गुड़ और फल, ठंड से बचाने के लिए किए गए विशेष इंतजाम

ठंड की दस्तक के बाद ग्वालियर चिड़ियाघर में जानवरों और पक्षियों के रहने के लिए खास इंतजाम किया गया है. जानवरों के खान-पान से लेकर उन्हें कितने तापमान में रखना है. इसका पूरा इंतजाम किया गया है.

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ग्वालियर
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Published : Nov 26, 2020, 2:06 PM IST

ग्वालियर। जिले के ग्वालियर चंबल संभाग में ठंड शुरू हो चुकी है. इस ठंड से न केवल आम लोग बल्कि जानवर और पक्षियों का भी बुरा हाल होने वाला है. इसी के चलते ग्वालियर चिड़ियाघर ने सर्दी से बचाव के लिए वहां रहने वाले पशु पक्षियों के लिए विशेष इंतजाम किए गए हैं. इसके साथ ही खानपान में भी बदलाव किया गया है. साथ ही हीटर और अधिक ऊर्जा देने वाले बल्ब भी लगाए गए हैं.

ग्वालियर चिड़ियाघर में बेहतर इंतजाम

दरअसल ग्वालियर के गांधी प्राणी उद्यान में जो जानवर खुले में रहते हैं, उनके लिए नाइट हाउस में जमीन पर सूखी घास डाली गई है. ताकि सर्दी में जानवरों को राहत मिल सके. वहीं बात अगर खानपान की करें, तो सभी जानवरों को इस मौसम में मेथी ,हरा लहसुन, गुड़, बरसीम खाने के लिए दिया जा रहा है. इसके साथ ही उन्हें भोजन में मौसमी सब्जियां और फ्रूट भी खिलाए जा रहे हैं.

जानवरों की राजा कहीं जाने वाली शेर के पिंजरे में टेंपरेचर मेंटेन करने के लिए मीटर लगाया गया है. साथ ही अब सातों दिन भोजन दिया जा रहा है. जबकि गर्मियों में शुक्रवार को इनको भोजन नहीं दिया जाता है. ग्वालियर चिड़ियाघर के डॉ. उपेंद्र यादव का कहना है कि चिड़ियाघर में अलग-अलग प्रजाति के पशु पक्षी और जानवर हैं, जिनको अलग-अलग टेंपरेचर पर रहने की आदत है. इसलिए उनके हिसाब से उनके बेड़े में इंतजाम किए गया है.

ग्वालियर। जिले के ग्वालियर चंबल संभाग में ठंड शुरू हो चुकी है. इस ठंड से न केवल आम लोग बल्कि जानवर और पक्षियों का भी बुरा हाल होने वाला है. इसी के चलते ग्वालियर चिड़ियाघर ने सर्दी से बचाव के लिए वहां रहने वाले पशु पक्षियों के लिए विशेष इंतजाम किए गए हैं. इसके साथ ही खानपान में भी बदलाव किया गया है. साथ ही हीटर और अधिक ऊर्जा देने वाले बल्ब भी लगाए गए हैं.

ग्वालियर चिड़ियाघर में बेहतर इंतजाम

दरअसल ग्वालियर के गांधी प्राणी उद्यान में जो जानवर खुले में रहते हैं, उनके लिए नाइट हाउस में जमीन पर सूखी घास डाली गई है. ताकि सर्दी में जानवरों को राहत मिल सके. वहीं बात अगर खानपान की करें, तो सभी जानवरों को इस मौसम में मेथी ,हरा लहसुन, गुड़, बरसीम खाने के लिए दिया जा रहा है. इसके साथ ही उन्हें भोजन में मौसमी सब्जियां और फ्रूट भी खिलाए जा रहे हैं.

जानवरों की राजा कहीं जाने वाली शेर के पिंजरे में टेंपरेचर मेंटेन करने के लिए मीटर लगाया गया है. साथ ही अब सातों दिन भोजन दिया जा रहा है. जबकि गर्मियों में शुक्रवार को इनको भोजन नहीं दिया जाता है. ग्वालियर चिड़ियाघर के डॉ. उपेंद्र यादव का कहना है कि चिड़ियाघर में अलग-अलग प्रजाति के पशु पक्षी और जानवर हैं, जिनको अलग-अलग टेंपरेचर पर रहने की आदत है. इसलिए उनके हिसाब से उनके बेड़े में इंतजाम किए गया है.

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