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महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए किया गया प्रशिक्षित, कोदो-कुटकी से उत्पाद बना बढ़ाएंगी आमदनी

गुरैया में महिला सशक्तिकरण के लिए NIFTEM और आदिम जाति कल्याण विभाग ने कोदो-कुटकी से उत्पाद बनाने और बाजार में सप्लाई करने का प्रशिक्षण दिया.

महिला सशक्तिकरण के लिए प्रशिक्षण
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Published : Sep 8, 2019, 5:57 PM IST

डिण्डौरी। शहपुरा विकासखंड के गुरैया में महिला सशक्तिकरण के लिए राष्ट्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी उद्यमशीलता एवं प्रबंधन संस्थान सोनीपथ (NIFTEM) और आदिम जाति कल्याण विभाग के संयुक्त प्रयास से कोदो और कुटकी के मूल्य वर्धित उत्पाद बनाने और उन्हें बाजार में सप्लाई करने के प्रक्षिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया.

महिला सशक्तिकरण के लिए प्रशिक्षण
प्रशिक्षण कार्यक्रम में NIFTEM सोनीपत से आये वैज्ञानिक डॉक्टर कोमल चाऊ, निधि कौशिक, परमेश्वर राम और मंजीत सिंह ने तेजस्विनी महिला जागृति संघ की महिलाओं को प्रशिक्षण दिया. NIFTEM के वैज्ञानिक परमेश्वर राम ने कहा कि हमने तीन दिन तक महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए यहां के स्थानीय स्तर पर बहुतायत मात्रा में उत्पादन होने वाले कोदो-कुटकी से बिस्कुट और ब्रेड बनाने के तरीकों के बारे में बताया है, इससे महिलाएं आत्मनिर्भर और सशक्त बनेंगी.


तेजस्विनी महिला सशक्तिकरण जिला परियोजना प्रबंधक यशवंत सोनवानी ने बताया कि समूह द्वारा कोदो-कुटकी कुकीज से ग्रामीण महिलाओं के आय में वृद्वि होगी, सदस्यों द्वारा जो कुकीज का उत्पादन किया जाएगा, वह गुणवत्ता पूर्ण होगा. इसकी मॉनिटरिंग भी लगातार की जाएगी, उत्पादन में वृद्धि करके अधिक लाभ कमाया जा सकेगा.


तेजस्विनी जागृति महिला संघ की अध्यक्ष सुभद्रा वनवासी ने बताया कि इससे हम एक अच्छा रोजगार पाकर अपने प्रोडक्ट को बाजार में और आंगनबाड़ियों में सप्लाई करेंगे, जिससे हमारी आजीविका भी अच्छे तरीके से चलेगी.

डिण्डौरी। शहपुरा विकासखंड के गुरैया में महिला सशक्तिकरण के लिए राष्ट्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी उद्यमशीलता एवं प्रबंधन संस्थान सोनीपथ (NIFTEM) और आदिम जाति कल्याण विभाग के संयुक्त प्रयास से कोदो और कुटकी के मूल्य वर्धित उत्पाद बनाने और उन्हें बाजार में सप्लाई करने के प्रक्षिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया.

महिला सशक्तिकरण के लिए प्रशिक्षण
प्रशिक्षण कार्यक्रम में NIFTEM सोनीपत से आये वैज्ञानिक डॉक्टर कोमल चाऊ, निधि कौशिक, परमेश्वर राम और मंजीत सिंह ने तेजस्विनी महिला जागृति संघ की महिलाओं को प्रशिक्षण दिया. NIFTEM के वैज्ञानिक परमेश्वर राम ने कहा कि हमने तीन दिन तक महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए यहां के स्थानीय स्तर पर बहुतायत मात्रा में उत्पादन होने वाले कोदो-कुटकी से बिस्कुट और ब्रेड बनाने के तरीकों के बारे में बताया है, इससे महिलाएं आत्मनिर्भर और सशक्त बनेंगी.


तेजस्विनी महिला सशक्तिकरण जिला परियोजना प्रबंधक यशवंत सोनवानी ने बताया कि समूह द्वारा कोदो-कुटकी कुकीज से ग्रामीण महिलाओं के आय में वृद्वि होगी, सदस्यों द्वारा जो कुकीज का उत्पादन किया जाएगा, वह गुणवत्ता पूर्ण होगा. इसकी मॉनिटरिंग भी लगातार की जाएगी, उत्पादन में वृद्धि करके अधिक लाभ कमाया जा सकेगा.


तेजस्विनी जागृति महिला संघ की अध्यक्ष सुभद्रा वनवासी ने बताया कि इससे हम एक अच्छा रोजगार पाकर अपने प्रोडक्ट को बाजार में और आंगनबाड़ियों में सप्लाई करेंगे, जिससे हमारी आजीविका भी अच्छे तरीके से चलेगी.

Intro:डिण्डोरी जिले के शहपुरा विकासखंड के गुरैया गांव में तेजस्विनी महिला सशक्तिकरण कार्यक्रम के तहत स्व सहायता समूह से जुड़ी महिलाएं उत्पादों के निर्माण का कार्य तो कर ही रहीं हैं। वहीं अब महिलाओं को एक नया रोजगार मिल रहा है, जिसमें यह समूह की महिलाएं अब कोदो-कुटकी से तैयार अनेक प्रकार के उत्पादों को बाजार में सप्लाई करेंगे Body:

डिण्डोरी जिले के शहपुरा विकासखंड के गुरैया गांव में तेजस्विनी महिला सशक्तिकरण कार्यक्रम के तहत स्व सहायता समूह से जुड़ी महिलाएं उत्पादों के निर्माण का कार्य तो कर ही रहीं हैं। वहीं अब महिलाओं को एक नया रोजगार मिल रहा है, जिसमें यह समूह की महिलाएं अब कोदो-कुटकी से तैयार अनेक प्रकार के उत्पादों को बाजार में सप्लाई करेंगे इसके लिए महिलाओं को शहपुरा विकासखंड के ग्राम गुरैया में तेजस्विनी महिला सशक्तिकरण कार्यक्रम की कार्यक्रम के तेजस्विनी जागृति महिला संघ, राष्ट्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी उद्यमशीलता एवं प्रबंधन कार्यक्रम एवं आदिम जाति कल्याण विभाग द्वारा आयोजित कोदो और कुटकी के मूल्य वर्धित उत्पादों पर प्रशिक्षण कार्यक्रम में NIFTEM सोनीपत हरियाणा से आये वैज्ञानिक डॉ कोमल चाऊ, निधि कौशिक, परमेश्वर राम ,एवं मंजीत सिंह द्वारा तीन दिवसीय प्रशिक्षण दिया गया और प्रशिक्षण में कोदो-कुटकी से किस प्रकार कुकीज बनाकर उसे बाजार में बेचने संबंधी कई जानकारियां भी दी गईं हैं।



आर्थिक रूप से सशक्त होंगी महिलाएं

तेजस्वनी महिला सशक्तिकरण जिला परियोजना प्रबंधक यशवंत सोनवानी ने बताया कि समूह द्वारा कोदो कुटकी कुकीज से ग्रामीण की महिलाओं के आय में वृद्वि होगी, सदस्यों द्वारा जो कुकीज का उत्पादन किया जाएगा वह गुणवत्ता पूर्ण होगा। इसकी मॉनीटरिंग भी लगातार की जाएगी तथा उत्पादन में वृद्धि करके अधिक लाभ कमाया जाएगा।
आपको बता दें कि डिंडोरी जिले में कोदो कुटकी अनाज का 31600 हेक्टेयर भूमि में 2 लाख 40 हजार 160 क्विंटल उत्पादन हो रहा है ।
सभी आंगनवाड़ी केन्द्रों में इन उत्पादों की सप्लाई की जा रही है ।
वहीं प्रशिक्षण प्राप्त करने आई महिलाओं में तेजस्विनी जागृति महिला संघ की अध्यक्ष सुभद्रा बनवासी ने बताया कि हमें यहां तीन दिन तक कोदो-कुटकी से पौष्टिक बिस्कुट और ब्रेड बनाने के तरीकों के बारे में वैज्ञानिकों द्वारा बताया गया । इससे हम एक अच्छा रोजगार पाकर अपने प्रोडक्ट को बाजार में और आंगनवाड़ियों में सप्लाई करेंगे ।जिससे हमारी आजीविका भी अच्छे तरीके से चलेगी ।
NIFTEM के वैज्ञानिक परमेश्वर राम ने कहा कि हमने तीन दिन तक महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए यहां के स्थानीय स्तर पर बहुतायत मात्रा में उत्पादन होने वाले कोदो कुटकी से बिस्कुट और ब्रेड बनाने के तरीकों के बारे में बताया गया । इससे महिलाएं आत्मनिर्भर और सशक्त भी होंगी।

बाईट- यशवंत सोनवानी, जिला कार्यक्रम प्रबंधक, तेजस्विनी

बाईट- परमेश्वर राम, वैज्ञानिक, NIFTEM हरियाणा

बाईट- सुहद्रा बनवासी, अध्यक्ष ,तेजस्विनी जागृति महिला संघ शहपुरा

बाईट- पूनम परस्ते, प्रशिक्षणार्थीConclusion:राष्ट्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी उद्यमशीलता एवं प्रबंधन कार्यक्रम संस्थान हरियाणा से आए वैज्ञानिकों ने महिलाओं को आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने दिया तीन दिवसीय प्रशिक्षण
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