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खेत में तालाब बनाकर मछली उत्पादन, नीली क्रांति को बढ़ावा दे रही सरकार

डिंडौरी के करौंदी के किसान टेकेश्वर साहू ने अपने खेत में मत्स्य पालन विभाग के अधिकारियों की सलाह पर बैंक से लोन लेकर मछली पालन करने में ईटीवी भारत से अपनी खुशी जाहिर की है.

खेत में तालाब बनाकर मछली उत्पादन
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Published : Nov 20, 2019, 9:27 AM IST

Updated : Nov 20, 2019, 1:10 PM IST

डिंडौरी। केन्द्र और राज्य सरकार नीली क्रांति योजना को बढ़ावा देने के लिए तरह-तरह की योजनाएं बनाकर किसानों को मछली पालन करने के लिए प्रोत्साहित कर रही है. इसी सिलसिले में डिंडौरी में लोग मछली पालन में रुचि ले रहे हैं. जिले के करौंदी के किसान टेकेश्वर साहू बैंक से लोन लेकर अपने 2.5 एकड़ खेत में तालाब बनाकर मछली पालन कर रहे हैं, जिसकी सलाह उन्हें मत्स्य पालन विभाग के अधिकारियों ने दी थी.

जिले के शहपुरा विकासखंड के करौंदी के रहने वाले किसान टेकेश्वर साहू ने ईटीवी भारत को बताया कि पहले उनके खेतों में अनाज का उत्पादन नहीं हो पाता था, जिसके कारण उन्हें मत्स्य पालन विभाग के अधिकारियों ने सलाह दी कि आप अपने खेतों में तालाब बनाकर मछली पालन करें. इसके बाद सालभर पहले ही उन्होंने मछली पालन की प्रक्रिया शुरू की. टेकेश्वर साहू को नीली क्रांति योजना के तहत मत्स्य पालन विभाग के द्वारा सब्सिडी भी मिली है. इससे उन्हें मछली पालन करने में खुशी हो रही है.

खेत में तालाब बनाकर मछली उत्पादन

किसान टेकेश्वर साहू ने बताया कि नीली क्रांति के साथ-साथ हरित क्रांति को बढ़ावा देने के लिए वे अपने खेत में बनाए गए तालाबों में मछलियों के पालन के साथ-साथ खेतों के मेड़ पर हाइब्रिड आम और अनार के तकरीबन 150 से ज्यादा पौधे भी लगाए हैं, जो आने वाले समय में भरपूर फल देने लगेंगे. इससे उन्हें अच्छा मुनाफा होने की उम्मीद है.

डिंडौरी। केन्द्र और राज्य सरकार नीली क्रांति योजना को बढ़ावा देने के लिए तरह-तरह की योजनाएं बनाकर किसानों को मछली पालन करने के लिए प्रोत्साहित कर रही है. इसी सिलसिले में डिंडौरी में लोग मछली पालन में रुचि ले रहे हैं. जिले के करौंदी के किसान टेकेश्वर साहू बैंक से लोन लेकर अपने 2.5 एकड़ खेत में तालाब बनाकर मछली पालन कर रहे हैं, जिसकी सलाह उन्हें मत्स्य पालन विभाग के अधिकारियों ने दी थी.

जिले के शहपुरा विकासखंड के करौंदी के रहने वाले किसान टेकेश्वर साहू ने ईटीवी भारत को बताया कि पहले उनके खेतों में अनाज का उत्पादन नहीं हो पाता था, जिसके कारण उन्हें मत्स्य पालन विभाग के अधिकारियों ने सलाह दी कि आप अपने खेतों में तालाब बनाकर मछली पालन करें. इसके बाद सालभर पहले ही उन्होंने मछली पालन की प्रक्रिया शुरू की. टेकेश्वर साहू को नीली क्रांति योजना के तहत मत्स्य पालन विभाग के द्वारा सब्सिडी भी मिली है. इससे उन्हें मछली पालन करने में खुशी हो रही है.

खेत में तालाब बनाकर मछली उत्पादन

किसान टेकेश्वर साहू ने बताया कि नीली क्रांति के साथ-साथ हरित क्रांति को बढ़ावा देने के लिए वे अपने खेत में बनाए गए तालाबों में मछलियों के पालन के साथ-साथ खेतों के मेड़ पर हाइब्रिड आम और अनार के तकरीबन 150 से ज्यादा पौधे भी लगाए हैं, जो आने वाले समय में भरपूर फल देने लगेंगे. इससे उन्हें अच्छा मुनाफा होने की उम्मीद है.

Intro:Etv Bharat Special Story

केन्द्र सरकार एवं राज्य सरकार के द्वारा नील क्रांति योजना को बढ़ावा देने के लिए तरह-तरह की योजनाएं बनाकर किसानों को मछली पालन करने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है । इसी सिलसिले में डिंडौरी जिले में लोग मछली पालन करने में रूचि ले रहे हैं ।Body:Etv Bharat Special Story

केन्द्र सरकार एवं राज्य सरकार के द्वारा नील क्रांति योजना को बढ़ावा देने के लिए तरह-तरह की योजनाएं बनाकर किसानों को मछली पालन करने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है । इसी सिलसिले में डिंडौरी जिले में लोग मछली पालन करने में रूचि ले रहे हैं ।

डिंडौरी जिले के शहपुरा विकासखंड के करौंदी के किसान टेकेश्वर साहू ने बैंक से लोन लेकर अपने 2.5 एकड़ के खेत में तालाब बनाकर मछली पालन कर रहे हैं ।
टेकेश्वर साहू ने ईटीवी भारत को बताया कि पहले उनके खेतों में अनाज का उत्पादन नहीं हो पाता था । जिसके कारण उन्हें मत्स्य पालन विभाग के अधिकारियों द्वारा सलाह दी गई कि आप अपने खेतों में तालाब बनाकर मछली पालन करें ।
इसके बाद साल भर पहले ही उन्होंने मछली पालन की प्रक्रिया शुरू की ।
करीब तीन महीने पहले ही उन्होंने मछलियों के बीजों को अपने डाला था, इसके बाद अब उनके तालाबों में मछलियों की संख्या में दिनों दिन बढ़ोत्तरी हो रही है । जिससे कि 20-25 लाख रूपये तक का उत्पादन होने की उम्मीद है ।
किसान टेकेश्वर साहू ने बताया कि नील क्रांति के साथ-साथ हरित क्रांति को बढ़ावा देने के लिए वे अपने खेत में बनाये गये तालाबों में मछलियों के पालन के साथ-साथ खेतों के मेड़ पर हाइब्रिड आम और अनार के तकरीबन 150 से ज्यादा पौधे भी लगाए हैं । जो कि आने वाले समय में भरपूर फल देने लगेंगे ,जिससे उन्हें अच्छा मुनाफा होने की उम्मीद है ।
टेकेश्वर साहू को नील क्रांति योजना के तहत मत्स्य पालन विभाग के द्वारा सब्सिडी भी मिली है । जिससे उन्हें मछली पालन करने में खुशी हो रही है ।
वहीं मप्र शासन के मत्स्य पालन एवं मत्स्योद्योग विभाग के संचालक ओपी सक्सेना का कहना है कि डिंडौरी जिले के किसान नील क्रांति योजना को बढ़ावा देने के लिए मछली पालन करने में रूचि ले रहे हैं । इससे उनको कम लागत में अच्छा मुनाफा होगा । विभाग के द्वारा किसानों को अच्छी सब्सिडी भी मिल रही है ।

बाइट1- टेकेश्वर साहू, किसान, ग्राम-करौंदी
बाइट2- ओपी सक्सेना, संचालक, मत्स्य पालन एवं मत्स्योद्योग विभागConclusion:केन्द्र सरकार एवं राज्य सरकार के द्वारा नील क्रांति योजना को बढ़ावा देने के लिए तरह-तरह की योजनाएं बनाकर किसानों को मछली पालन करने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है । इसी सिलसिले में डिंडौरी जिले में लोग मछली पालन करने में रूचि ले रहे हैं ।

डिंडौरी जिले के शहपुरा विकासखंड के करौंदी के किसान टेकेश्वर साहू ने बैंक से लोन लेकर अपने 2.5 एकड़ के खेत में तालाब बनाकर मछली पालन कर रहे हैं ।
मछली पालन के साथ-साथ अपनी मेड़ फलदार पौधे और अरहर का भी उत्पादन कर अच्छा मुनाफा कमा रहे हैं ।
Last Updated : Nov 20, 2019, 1:10 PM IST
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