छिंदवाड़ा। परासिया रोड निवासी विवेक कुशवाहा का परिवार खुशहाल जिंदगी जी रहा था, परिवार में मां-बाप, दो भाई और दोनों की पत्नी एकसाथ रहते हैं, लेकिन कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर उनके परिवार पर कहर बनकर टूटी और उन्होंने दूसरी लहर में अपनी मां को खो दिया. धीरे-धीरे स्थिति सामान्य होने लगी है, पर तीसरी लहर की आशंका ने उनके जख्मों को दोबारा कुरेदना शुरू कर दिया है.
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कोरोना ने मां को छीन लिया, कई संक्रमित
दूसरी लहर में कोरोना के संक्रमण से खुद पीड़ित रहे विवेक सिंह कुशवाहा ने बताया कि उनका परिवार खुशी से जीवन व्यतीत कर रहा था, लेकिन अचानक ही दूसरी लहर में वे खुद भी कोरोना संक्रमित (Kushwaha family victim of corona pandemic) हो गए, उनके दो भाई और साथ ही उनके भाई की पत्नी और मां भी कोरोना संक्रमण की चपेट में आ गईं. आखिरकार उन्होंने अपनी मां को खो दिया.
अस्पतालों में जगह नहीं, अपनों ने भी छोड़ा साथ
कोरोना की दूसरी लहर के दौरान ऐसा डरावना मंजर था कि किसी अस्पताल में बिस्तर मिलना तो दूर इलाज के लिए जगह भी नहीं मिल रही थी, घर में 5 लोग कोरोना संक्रमित थे और सभी अलग-अलग जगह मजबूरी में इलाज करा रहे थे, ऐसे में अपने लोग भी घरों से नहीं निकल रहे थे.
जमा पूंजी खत्म, अब भी झेल रहे कोरोना का दंश
विवेक सिंह कुशवाहा ने बताया कि जैसे तैसे इलाज तो मिला, लेकिन सारी जमा पूंजी खत्म हो गई और जीवन का सबसे अहम हिस्सा उनकी मां भी इस दुनिया में नहीं रहीं. कोरोना के बाद किसी न किसी साइड इफेक्ट से अब भी गुजर रहे हैं.
आमजनों से सावधानी बरतने की कर रहे अपील
दूसरी लहर में कोरोना का दंश झेल चुके कुशवाहा परिवार का कहना है कि जो दिन हम लोगों ने देखा है, वह भगवान किसी को न दिखाए, लेकिन फिर से तीसरी लहर का आगाज हो चुका है. उन्होंने जनता से अपील की है कि कोरोना वायरस से बचने के लिए सावधानी ही एकमात्र उपाय है, जरूरी सावधानी (advice to be alert from third wave) सभी लोग अपनाएं, ताकि इस महामारी से बचा जा सके क्योंकि इसका दंश बहुत खराब है.