छतरपुर। प्रदेश में बेमौसम बारिश, ओला, कोरोना और लॉकडाउन ने इन किसानों की मेहनत पर पानी फेर दिया है. तीसरे लॉकडाउन में सब्जी की खेती करने वाले किसानों की हालत ये हो गई है कि, अब किसान ने खेतों के बाहर सब्जी के दामों में 40 फीसदी छूट का बोर्ड लगा दिया है.
एक हजार क्विंटल सब्जी बर्बाद
गांव के कुछ किसानों ने सब्जियों में दी जाने वाली छूट को बकायदा बोर्ड में लिखाकर खेतों के बाहर लगवाया है. बड़े पैमाने पर टमाटर की खेती करने वाले किसान बलदाऊ बताते हैं कि, उनके टमाटर खेतों में लगे लगे ही सड़ गए हैं, अब तक 1 हजार क्विंटल टमाटर सड़ चुका है, और अगर इसी तरह लॉक डाउन आगे बढ़ता रहा तो, वह दिन दूर नहीं जब सब्जियां खेतों में ही सड़ जाएंगी.
2 से 3 रुपये किलो में बिक रहा टमाटर
सब्जी की खेती करने वाले किसान किसानों का कहना है कि, लॉकडाउन के चलते उनकी सब्जियां बाहर नहीं जा पा रही हैं. ट्रेन चलना बंद है और यही वजह है कि सब्जियों के दामों में भारी गिरावट आ गई है. ये टमाटर जो कभी 10 से 20 रुपये प्रति किलो बिकता था आज उसकी कीमत 2 से 3 तीन रुपये किलो में बिक रहे हैं. इस कमाई से खेत में काम करने वाले मजदूरों की मजदूरी तक नहीं निकल पा रही है.
लॉकडाउन बढ़ा तो कर्ज का संकट
किसानों की मानें तो, अगर लॉक डाउन इसी तरह आगे बढ़ता रहा तो आने वाले समय में सब्जी के किसानों को बुरे हालातों का सामना करना पड़ सकता है. अभी हालात इस तरह के हैं कि, सब्जियां खेतों में ही सड़ने लगी हैं, लेकिन अभी किसी प्रकार का कोई कर्ज नहीं है, लेकिन अब अगर हालात ऐसे ही रहे तो आर्थिक नुकसान के अलावा कर्ज भी हो सकता है.