छिंदवाड़ा। जिला अस्पताल में दो ऐसे मामले सामने आए हैं जो सीधा कमलनाथ पर सवाल खड़े करते हैं. मुख्यमंत्री कमलनाथ के गढ़ छिंदवाड़ा में स्वास्थ्य विभाग कितना गंभीर है इसका अंदाजा अस्पताल के दो गंभीर मामलों से लगाया जा सकता है.
छिंदवाड़ा के जिला अस्पताल में एक अज्ञात मरीज को कुछ लोग बेहोशी की हालत में लेकर अस्पताल पहुंचे और मौके पर मौजूद ड्यूटी डॉक्टर से मरीज को देखने के लिए कहा गया. लेकिन ड्यूटी डॉक्टर ने मरीज को देखे बिना ही उसे मृत घोषित कर दिया. लेकिन कुछ देर बाद ही मरीज के शरीर में कुछ हलचल होता देख वार्ड बॉय ने उसे जिला अस्पताल में भर्ती करवाया. अभी वर्तमान में उस मरीज का इलाज चल रहा है.
वहीं जिला अस्पताल में एक गर्भवती महिला को प्रसव पीड़ा होने के चलते मैटर्निटी वार्ड में भर्ती करवाया गया, जिसकी डिलेवरी में एक अविकसित मृत बच्चे ने जन्म लिया. लेकिन कुछ देर बाद ही मृत बच्चे के शरीर को अस्पताल के पीछे से एक कुत्ता नोचता हुआ जिला अस्पताल के गेट तक ले आया. गार्ड ने कुत्ते को भगाया और फिर मृत बच्चे को अस्पताल स्टॉफ ने मरचुरी में रखवाया. जब किसी प्रसूता को मृत बच्चा होता है तो अस्पताल प्रबंधन पूरी कागजी कार्यवाही कर शव परिजनों को सौंप दिया जाता है. लेकिन इस मामले में जब मृत बच्चे के परिजनों से बात की गई तो उनका कहना था कि हमें केवल सूचना दी गई थी कि बच्चा मृत पैदा हुआ है उसे हमें सौंपा नहीं गया.
जब अस्पताल प्रबंधन से बात की गई तो उन्होंने कैमरे से बचते हुए कहा कि हमारे पास रजिस्टर में परिजनों को शव सुपुर्दगी की एंट्री है, जिसमें परिजनों के हस्ताक्षर भी हैं. जब इन दोनों मामलों पर सिविल सर्जन सुशील राठी से बात की गई तो वे शिकायत आने के बाद कार्रवाई करने की बात कह रहे हैं.