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अधिगृहित जमीन का मुआवजा नहीं मिलने से नाराज किसानों ने दी ये चेतावनी

नेशनल हाइवे अथॉरिटी द्वारा अधिगृहित की गई जमीन का मुआवजा नहीं मिलने और एसडीएम की वादाखिलाफी को लेकर किसानों ने एसडीएम को ज्ञापन सौंपा. साथ ही चेतावनी दी है कि अगर 20 अक्टूबर तक उनकी मांगें नहीं मानी गई तो वह तहसील प्रांगण में भूख हड़ताल करेंगे.

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Published : Oct 15, 2019, 6:08 PM IST

Updated : Oct 16, 2019, 12:42 AM IST

किसानों ने एसडीएम को सौंपा ज्ञापन

छतरपुर। नौगांव तहसील क्षेत्र के किसान जहां एक ओर अतिवृष्टि से हुए नुकसान का दर्द झेल रहे हैं, वहीं दूसरी ओर नेशनल हाइवे अथॉरिटी ने किसानों की अधिगृहित की गई जमीन का मुआवजा नहीं दिया है, जिससे उनकी परेशानी और बढ़ गई है. जिसके चलते किसानों ने एसडीएम को ज्ञापन सौंपा. किसानों ने चेतावनी दी है कि अगर 20 अक्टूबर तक उनकी मांगे नहीं मानी गई तो वह तहसील प्रांगण में भूख हड़ताल करेंगे.

किसानों ने एसडीएम को ज्ञापन सौंपा

इस दौरान किसान अस्पताल चौराहे पर एकत्रित हुए और नारेबाजी करते हुए तहसील प्रांगण पहुंचे. जहां तहसीलदार भानु प्रताप ज्ञापन लेने पहुंचे, लेकिन किसानों ने उन्हें ज्ञापन सौंपने से इनकार कर दिया. जिसके बाद किसान एसडीएम को ज्ञापन देने की मांग करते हुए धरने पर बैठ गए. हंगामा बढ़ता देख एसडीएम ने किसानों का ज्ञापन लेकर एक बार फिर किसानों की समस्या का निराकरण करने का आश्वासन दिया है.

किसान इसकी शिकायत कई बार अधिकारियों से लेकर जनप्रतिनिधियों तक से कर चुके हैं, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई. पिछले दिनों भी विधायक नीरज दीक्षित की जनसुनवाई में एसडीएम ने किसानों की समस्या का 2 महीने के अंदर निराकरण करने की बात लिखित रूप में दी थी, लेकिन आज भी किसान दर-दर की ठोकरें खाने को मजबूर हैं.

छतरपुर। नौगांव तहसील क्षेत्र के किसान जहां एक ओर अतिवृष्टि से हुए नुकसान का दर्द झेल रहे हैं, वहीं दूसरी ओर नेशनल हाइवे अथॉरिटी ने किसानों की अधिगृहित की गई जमीन का मुआवजा नहीं दिया है, जिससे उनकी परेशानी और बढ़ गई है. जिसके चलते किसानों ने एसडीएम को ज्ञापन सौंपा. किसानों ने चेतावनी दी है कि अगर 20 अक्टूबर तक उनकी मांगे नहीं मानी गई तो वह तहसील प्रांगण में भूख हड़ताल करेंगे.

किसानों ने एसडीएम को ज्ञापन सौंपा

इस दौरान किसान अस्पताल चौराहे पर एकत्रित हुए और नारेबाजी करते हुए तहसील प्रांगण पहुंचे. जहां तहसीलदार भानु प्रताप ज्ञापन लेने पहुंचे, लेकिन किसानों ने उन्हें ज्ञापन सौंपने से इनकार कर दिया. जिसके बाद किसान एसडीएम को ज्ञापन देने की मांग करते हुए धरने पर बैठ गए. हंगामा बढ़ता देख एसडीएम ने किसानों का ज्ञापन लेकर एक बार फिर किसानों की समस्या का निराकरण करने का आश्वासन दिया है.

किसान इसकी शिकायत कई बार अधिकारियों से लेकर जनप्रतिनिधियों तक से कर चुके हैं, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई. पिछले दिनों भी विधायक नीरज दीक्षित की जनसुनवाई में एसडीएम ने किसानों की समस्या का 2 महीने के अंदर निराकरण करने की बात लिखित रूप में दी थी, लेकिन आज भी किसान दर-दर की ठोकरें खाने को मजबूर हैं.

Intro:एक और किसानों को अत्यधिक बारिश के कारण फसलों की नुकसान की पीड़ा है वही नेशनल हाईवे अथॉरिटी द्वारा अधिग्रहण की गई जमीन का मुआवजा न मिलने से किसान परेशान होते दिखाई दे रहे हैंBody:मामला नौगांव तहसील क्षेत्र का है जहां नेशनल हाईवे निकलने के कारण जिन किसानों की जमीन है भूमि अधिग्रहित हुई थी उन किसानों को आज तक मुआवजा नहीं मिल पाया है किसान लगातार अधिकारियों से लेकर जनप्रतिनिधियों तक के चौखट पर दस्तक दे चुके हैं लेकिन आज तक किसानों की समस्या का निराकरण नहीं दिखाई दे रहा है अपने आप को किसानों की सरकार कहने वाली कमलनाथ सरकार और उनके जनप्रतिनिधि अधिकारी किसानों की समस्याओं के प्रति कितने सजग हैं इस बात का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि पिछले दिनों विधायक नीरज दीक्षित की जनसुनवाई में एसडीएम नौगांव ने किसानों को 2 महीने में उनकी समस्या का निराकरण करने की बात लिखित रूप से कही थी लेकिन आज भी किसान दर-दर की ठोकरें खाने को मजबूर हैं आज किसानों ने नौगांव टीवी अस्पताल चौराहे पर एकत्रित होकर नारेबाजी करते हुए किसान तहसील प्रांगण पहुंचे जहां तहसीलदार भानु प्रताप ज्ञापन लेने पहुंचे लेकिन किसानों ने उनको ज्ञापन देने से मना कर दिया किसानों का कहना था कि जब तक एसडीएम नहीं आएंगे तब तक हम ज्ञापन नहीं देंगे इसके बाद मौके पर ही किसान धरने पर बैठ गए कुछ देर बाद पहुंचे एसडीएम ने किसानों का ज्ञापन लेकर एक बार फिर किसानों की समस्या का निराकरण करने का आश्वासन दिया अब देखने वाली बात होगी कब तक किसानों की समस्या का निराकरण होता है
Conclusion:राजनीतिक संरक्षण प्राप्त एसडीएम पिछले कई वर्षों से नौगांव में जमे हुए हैं एसडीएम बीबी गंगेले की गुमराह करने वाली कार वाली से परेशान होकर किसानों ने ज्ञापन देकर प्रशासन को अल्टीमेटम दिया है कि अगर 20 अक्टूबर तक उनकी समस्या का निराकरण नहीं होता तो वह उग्र आंदोलन के लिए बाध्य होंगे

बाइट-बीबी गंगेले एसडीएम नौगांव
बाइट-नरेंद्र रिछारिया पीड़ित किसान
Last Updated : Oct 16, 2019, 12:42 AM IST
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