छतरपुर। लॉकडाउन के कारण देश के अनेक मजदूर जानलेवा संकट से गुजर रहे हैं. मंगलवार उत्तर प्रदेश के मथुरा से छतरपुर लौट रहे पांच मजदूरों की सड़क हादसे में मौत हो गई, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ट्वीट कर पीड़ित परिवार के प्रति अपनी संवेदनाएं व्यक्त की हैं. साथ ही सीएम ने ट्वीट कर मृतकों के परिजनों को संबल योजना में तहत चार- चार लाख रुपए की आर्थित सहायता देने का एलान किया है.
सभी मजदूर एक ही परिवार के सदस्य थे. मरने वालों में दो पुरुष, दो महिलाएं और एक मासूम बच्ची शामिल है. ये सभी लोग चार साल मजदूरी कर रहे थे और कोरोना संक्रमण के चलते मथुरा शहर की बुद्ध बिहार कालोनी में फंसे हुए थे. सोमवार को जानकारी मिली कि, छतरपुर की ओर जाने के लिए जाजम पट्टी से बस का इंतजाम किया गया है, बस पकड़ने के लिए ये तीन टैम्पो से रवाना हुए, जहां सोमवार की रात मथुरा-भरतपुर मार्ग पर इनके टैम्पो एक मेटाडोर के सामने आ गई, जिससे यह भीषण हादसा हुआ.
हादसे में मजदूर रामसखी पत्नी अशोक कुमार उम्र 40, लक्ष्मी पुत्री अशोक उम्र 04, रोशनी पुत्री अशोक उम्र 18, राजू उर्फ कैलाश पुत्र मोहन अहिरवार उम्र 18 वर्ष, शिववरन पुत्र मनीराम अहिरवार उम्र 18 निवासी पटली और रूचि पुत्री रामरतन उम्र 08 निवासी सरवई की मौत हो गई है. जबकि मृतिका रूचि की मां लक्ष्मी अहिरवार उम्र 28 और उसकी बहन मोहिनी अहिरवार उम्र 6 साल गंभीर रूप से घायल हैं. हादसे में बुद्ध विहार कॉलोनी निवासी टैम्पो चालक मदन मोहन की भी मौत हो गई है.
मथुरा में मजदूरों की मौत की खबर जैसे ही चंदला अंचल के पटली गांव पहुंची, तो यहां मातम छा गया. लवकुशनगर के एसडीएम अविनाश रावत, चंदला तहसीलदार पियूष दीक्षित राजस्व अमले के साथ ग्राम पटली पहुंची और पीड़ित परिवार के सदस्यों को तात्कालिक सहायता राशि प्रदान की. सीएम शिवराज सिंह ने किया ट्वीट कर मृतकों के परिजनों को संबल योजना के तहत चार-चार लाख रुपए की आर्थिक सहायता दिए जाने का एलान किया है.