बुरहानपुर। जिले में ताप्ती नदी के सतियारा घाट पर गुरुवार को बालाजी मेले के दूसरे दिन भक्ति से सराबोर माहौल रहा. भक्तों ने मेला स्थल पर ताप्ती नदी में दीपदान किया. तैरते पानी पर झिलमिलाते दीपों से सुंदर दृश्य बना. श्रद्धालुओं ने इसे निहारा. हजारों की संख्या में भक्तों ने भगवान बालाजी के दर्शन किए. गुरुवार को रात में भगवान बालाजी के दर्शन करने के लिए श्रद्धालुओं का जनसैलाब उमड़ा. देर रात तक दर्शन, पूजन का सिलसिला चलता रहा.
पकवानों का आनंद लिया : इस दौरान श्रद्धालुओं ने अलग-अलग पकवानों का आनंद लिया. बच्चों ने झूले में बैठकर मनोरंजन किया. पिछले दो दिन में एक लाख से अधिक श्रद्धालु सतियारा घाट पर पहुंचे. मेले के अंतिम दिन भी हजारों श्रद्धालु दर्शन करने के लिए पहुंचेंगे. यह मेला तीन साल बाद लगा है. दो साल कोरोना के कारण नहीं लगाया गया. तीसरे साल में ताप्ती नदी का जलस्तर बढऩे के कारण मेला स्थगित किया गया था. इसलिए भक्तों में काफी जोश देखने को मिला. पूरे जिले से लोग मेले में आए.
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आज होगा समापन : मंदिर के आशीष भगत ने बताया कि बालाजी मेला का इतिहास 450 साल पुराना है. सतियारा घाट पर ताप्ती नदी में तीन बार डुबकी लगाकर भगवान बालाजी महाराज का स्नान कराया गया. इसके बाद श्रीजी अपने मंदिरनुमा अस्थायी पांडाल में विराजमान हुए. शाम 7 बजे बालाजी महाराज को भोग लगाया गया. हजारों श्रद्धालुओं ने प्रसादी प्राप्त की. शुक्रवार को सतियारा घाट में आयोजित 3 दिवसीय मेले का समापन होगा. बालाजी महाराज की रथयात्रा सतियारा घाट से राजघाट, गांधी चौक, पांडुमल चौराहा से वापस मंदिर लौटेगी.