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दुनिया की सबसे तेज दौड़ने वाली मैग्लेव ट्रेन, 600 किलोमीटर प्रति घंटा है रफ्तार - मैग्लेव ट्रेन

चीन ने दुनिया की सबसे तेज चलने वाली ट्रेन को पटरी पर मंगवार को दौड़ा दिया है. दावा किया जा रहा है कि इस ट्रेन की रफ्तार 600 किलोमीटर प्रतिघंटा होगी.

world's fastest train
दुनिया की सबसे तेज ट्रेन
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Published : Jul 20, 2021, 11:07 PM IST

Updated : Jul 22, 2021, 11:46 AM IST

बीजिंग/हैदराबाद। चीन ने अपनी द्रुत गति की मैग्लेव ट्रेन (Maglev Train) की शुरुआत की है. इस ट्रेन की अधिकतम रफ्तार 600 किलोमीटर प्रतिघंटा बताई जा रही है. चीन की सरकारी समाचार एजेंसी शिन्हुआ के अनुसार यह जमीन पर दौड़ने वाला सबसे तेज वाहन है. नई मैग्लेव परिवहन प्रणाली की सार्वजनिक तौर पर शुरुआत चीन के तटीय शहर किंगदाओ में हुई है.

2016 में हुई थी परियोजना की शुरुआत

दरअसल द्रुत गति की मैग्लेव ट्रेन परियोजना की शुरुआत अक्टूबर 2016 में की गई थी. रिपोर्ट के अनुसार 2019 में 600 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार की इस ट्रेन का प्रोटोटाइप बनाया गया था. इसका सफल परीक्षण कोरोना काल के दौरान जून 2020 में हुआ. परियोजना के मुख्य अभियंता डिंग सान्सान (Ding Sansan) ने कहा कि इस ट्रेन में 10 डिब्बे लगाए जा सकते हैं. प्रत्येक की क्षमता 100 यात्रियों की होगी. इस हिसाब से इस ट्रेन में एक बार में एक हजार लोग बैठ सकते है.

कुत्ता बना कलाकारः कुछ ही सेकेंड में मुंह से ब्रश पकड़कर बनाई फूल की पेंटिंग, Video Viral

पहिए और ट्रैक में रहेगी दूरी

डिंग सान्सान ने कहा कि यह ट्रेन 1,500 किलोमीटर के दायरे में यात्रा की दृष्टि से सर्वश्रेष्ठ समाधान है. परंपरागत ट्रेनों की तरह मैग्लेव रेल के पहिये रेल ट्रैक के संपर्क में नहीं आते हैं.

बीजिंग/हैदराबाद। चीन ने अपनी द्रुत गति की मैग्लेव ट्रेन (Maglev Train) की शुरुआत की है. इस ट्रेन की अधिकतम रफ्तार 600 किलोमीटर प्रतिघंटा बताई जा रही है. चीन की सरकारी समाचार एजेंसी शिन्हुआ के अनुसार यह जमीन पर दौड़ने वाला सबसे तेज वाहन है. नई मैग्लेव परिवहन प्रणाली की सार्वजनिक तौर पर शुरुआत चीन के तटीय शहर किंगदाओ में हुई है.

2016 में हुई थी परियोजना की शुरुआत

दरअसल द्रुत गति की मैग्लेव ट्रेन परियोजना की शुरुआत अक्टूबर 2016 में की गई थी. रिपोर्ट के अनुसार 2019 में 600 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार की इस ट्रेन का प्रोटोटाइप बनाया गया था. इसका सफल परीक्षण कोरोना काल के दौरान जून 2020 में हुआ. परियोजना के मुख्य अभियंता डिंग सान्सान (Ding Sansan) ने कहा कि इस ट्रेन में 10 डिब्बे लगाए जा सकते हैं. प्रत्येक की क्षमता 100 यात्रियों की होगी. इस हिसाब से इस ट्रेन में एक बार में एक हजार लोग बैठ सकते है.

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पहिए और ट्रैक में रहेगी दूरी

डिंग सान्सान ने कहा कि यह ट्रेन 1,500 किलोमीटर के दायरे में यात्रा की दृष्टि से सर्वश्रेष्ठ समाधान है. परंपरागत ट्रेनों की तरह मैग्लेव रेल के पहिये रेल ट्रैक के संपर्क में नहीं आते हैं.

Last Updated : Jul 22, 2021, 11:46 AM IST
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