भोपाल। इस समय यदि आप एटीएम से पैसा निकालने जा रहे हैं तो अपने साथ सेनिटाइजर ले जाना बिल्कुल भी ना भूलें, क्योंकि एटीएम में आम लोगों के लिए रखे गए सेनिटाइजर ताले में बंद हैं. यह स्थिति किसी एक दो नहीं बल्कि अधिकांश एटीएम की है. एटीएम बूथ में ना तो गार्ड है और ना मशीन को सेनिटाइज करने की कोई दूसरी व्यवस्था दिखाई देती है.
राजधानी भोपाल में करीब 630 एटीएम बूथ मौजूद हैं. इनमें से महज 60 फीसदी एटीएम बूथ पर सिक्योरिटी गार्ड या केयरटेकर मौजूद हैं. जिन एटीएम पर सिक्योरिटी गार्ड मौजूद रहते हैं. वहां लोगों को तो हैंड सेनिटाइजर कराया जाता है. साथ ही समय-समय पर मशीनों को भी सेनिटाइज किया जाता है, लेकिन बाकी बूथ पर इस तरह की व्यवस्था नहीं है. जिन एटीएम बूथ पर केयरटेकर नहीं है. वहां सेनिटाइजर ताले में बंद है. जिसका उपयोग ही लोग नहीं कर सकते. हालांकि इस मामले में सबसे ज्यादा शिकायतें सरकारी बैंक के एटीएम की ही हैं.
जिला अदालत स्थित एटीएम बूथ पर पैसे निकालने पहुंचे सुखदेव वर्मा ने बताया कि एटीएम बूथ में सेनिटाइजर तो रखा है, लेकिन वह ताले में कैद है. वही दूसरे उपभोक्ता रामप्रकाश ने बताया कि एटीएम से उन्होंने पैसा तो निकाल लिया, लेकिन उन्हें डर है कि कहीं एटीएम संक्रमित ना हो. क्योंकि यहां ना तो एटीएम मशीन को सेनिटाइज करने की कोई व्यवस्था है और सेनिटाइजर भी लॉक में रखा हुआ है. उधर जब इस संबंध में एसबीआई के अधिकारियों से चर्चा की गई तो उन्होंने कहा कि एटीएम को सेनिटाइज करने की पूरी व्यवस्था की गई है. साथ ही लोगों के लिए वहां सेनिटाइजर भी रखे पाए गए हैं. हालांकि जब उन्हें भोपाल जिला अदालत के एटीएम की जानकारी दी गई तो उन्होंने तत्काल कर्मचारियों को भेजकर व्यवस्थाओं को दुरुस्त कराया.
एटीएम की सुरक्षा को लेकर पहले भी उठ चुके हैं सवाल
यह पहला मौका नहीं है जब एटीएम बूथ में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर सवाल उठ रहे हो. एटीएम में सेंधमारी की घटनाओं के बाद पुलिस प्रशासन द्वारा पहले भी कई बार बैंक अधिकारियों को एटीएम की सुरक्षा को लेकर निर्देश दिए जा चुके हैं. दरअसल शहर के एटीएम की सुरक्षा व्यवस्था प्राइवेट एजेंसी के हवाले होती है. एसबीआई के एटीएम पर सुरक्षा गार्ड के स्थान पर केयरटेकर रखी गए हैं, लेकिन अधिकांश स्थानों पर केयरटेकर दिखाई ही नहीं देते.