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CM कमलनाथ के पत्र पर BJP ने जताया विरोध, कांग्रेस ने दी सफाई - भोपाल

लोकसभा चुनाव में निष्पक्ष चुनाव को लेकर सीएम कमलनाथ द्वारा कांग्रेस कार्यकर्ताओं को लिखे पत्र पर बीजेपी ने आपत्ति जताई है. बीजेपी इस मामले में सीएम से इस्तीफे की मांग भी कर रही है.

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Published : May 2, 2019, 8:06 AM IST

भोपाल। मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कार्यकर्ताओं को एक पत्र लिखा था, जिस पर बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रभात झा ने गहरी आपत्ति जताई है. वहीं कांग्रेस की मीडिया प्रभारी शोभा ओझा ने कहा है निष्पक्ष चुनाव होना हर व्यक्ति की जवाबदेही है.


शोभा ओझा का कहना है कि बीजेपी पिछले 15 सालों से कुछ कर्मचारियों को अपना एजेंट बनाकर काम करा रही थी, चाहे वो चुनाव हो या फिर दूसरा कोई काम हो. उन्होंने कहा कि निष्पक्ष चुनाव को लेकर सीएम कमलनाथ ने कार्यकर्ताओं को पत्र लिखा है. जिसमें उन्होंने कहा है कि वे इस बात पर सजग रहे कि कोई भी अगर चुनाव में अड़ंगा लगाता है, तो वे इसकी जानकारी दें. कोई भी कर्मचारी चुनाव में परेशानी खड़ा करता है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी. शोभा ओझा ने कहा कि कोई भी चुनाव निष्पक्ष होना चाहिए, यह हर व्यक्ति की जिम्मेदारी है.

कांग्रेस ने दी सफाई


वहीं बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रभात झा ने इस पत्र का विरोध करते हुए कहा है कि उनकी पार्टी किसी भी अधिकारी और कर्मचारी के अपमान को सहन नहीं करेगी. साथ ही इस इस मामले में कमलनाथ से इस्तीफे की मांग भी की है.

भोपाल। मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कार्यकर्ताओं को एक पत्र लिखा था, जिस पर बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रभात झा ने गहरी आपत्ति जताई है. वहीं कांग्रेस की मीडिया प्रभारी शोभा ओझा ने कहा है निष्पक्ष चुनाव होना हर व्यक्ति की जवाबदेही है.


शोभा ओझा का कहना है कि बीजेपी पिछले 15 सालों से कुछ कर्मचारियों को अपना एजेंट बनाकर काम करा रही थी, चाहे वो चुनाव हो या फिर दूसरा कोई काम हो. उन्होंने कहा कि निष्पक्ष चुनाव को लेकर सीएम कमलनाथ ने कार्यकर्ताओं को पत्र लिखा है. जिसमें उन्होंने कहा है कि वे इस बात पर सजग रहे कि कोई भी अगर चुनाव में अड़ंगा लगाता है, तो वे इसकी जानकारी दें. कोई भी कर्मचारी चुनाव में परेशानी खड़ा करता है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी. शोभा ओझा ने कहा कि कोई भी चुनाव निष्पक्ष होना चाहिए, यह हर व्यक्ति की जिम्मेदारी है.

कांग्रेस ने दी सफाई


वहीं बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रभात झा ने इस पत्र का विरोध करते हुए कहा है कि उनकी पार्टी किसी भी अधिकारी और कर्मचारी के अपमान को सहन नहीं करेगी. साथ ही इस इस मामले में कमलनाथ से इस्तीफे की मांग भी की है.

Intro:चुनाव निष्पक्ष होनी चाहिए यह हर एक व्यक्ति की जवाबदारी है = शोभा ओझा

भोपाल | मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ के द्वारा कार्यकर्ताओं को लिखे गए एक पत्र के मामले ने जमकर तूल पकड़ लिया है चुनावी मौसम के समय बीजेपी भी इस मुद्दे को भुनाने में लग गई है जहां एक तरफ बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और सांसद प्रभात झा ने गहरी आपत्ति व्यक्त की है उन्होंने मुख्यमंत्री के इस पत्र को अधिकारियों और कर्मचारियों का खुला अपमान ही नहीं उन्हें धमकी देना भी करार दिया है अब इस पत्र को लेकर लगातार राजनीति की जा रही है .


Body:माना जा रहा है कि बीजेपी जल्द ही इस पत्र की शिकायत निर्वाचन आयोग में कर सकती है हालांकि बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रभात झा ने कांग्रेस को इस मामले में घेरने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी है उन्होंने कहा कि है कि यह पत्र प्रदर्शित करता है कि कांग्रेस कार्यालय जैसे चुनाव कार्यालय हो गया है और कमलनाथ स्वयं चुनाव आयुक्त बन गए हैं लेकिन मुख्यमंत्री कमलनाथ को इस बात का ज्ञान नहीं है कि चुनाव में यदि कोई गड़बड़ी करता है तो उसकी शिकायत चुनाव आयोग में की जाती है किसी पार्टी कार्यालय के मुखिया से कभी नहीं बीजेपी ने साफ कर दिया है कि वह किसी अधिकारी कर्मचारी के अपमान को सहन नहीं करेगी पार्टी चुनाव आयोग से यह अपेक्षा कर रही है कि वह कमलनाथ के विरुद्ध कठोर कार्यवाही करें साथ ही इस इस मामले में कमलनाथ से इस्तीफे की मांग भी की है हालांकि इस पूरे मामले पर कांग्रेस भी अपने मुख्यमंत्री के बचाव में उतर आई है और उसने उल्टा बीजेपी को ही कटघरे में खड़ा करने का प्रयास किया है .


Conclusion:प्रदेश कांग्रेस की मीडिया प्रभारी शोभा ओझा का कहना है कि भारतीय जनता पार्टी पिछले 15 वर्षों से कुछ कर्मचारियों को बीजेपी का एजेंट बना कर काम कर रही थी चाहे वह चुनाव हो चाहे दूसरे प्रचार-प्रसार के काम हो इन सभी जगह पर इस तरह के कुछ कर्मचारियों का इस्तेमाल किया जा रहा था .


उन्होंने कहा कि चुनाव निष्पक्ष होनी चाहिए यह हर एक व्यक्ति की जवाबदारी है कमलनाथ ने कांग्रेस के कार्यकर्ताओं को जो चिट्ठी लिखी है उसका मूल उद्देश्य केवल यही है कि इस बात पर सभी कार्यकर्ता सजग रहें अगर कोई कर्मचारी चुनाव को बाधित करता है और पक्षपात करता है या फिर चुनाव निष्पक्ष होने में अड़ंगा लगाता है तो उसका नाम जरूर बताएं ताकि उस पर कठोर कार्रवाई हो सके इसके अलावा मुख्यमंत्री के पत्र का कोई आशय नहीं है .
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