भोपाल। अपनी जान जोखिम में डालकर दूसरों की जान बचाने वाले संविदा कर्मचारियों की नौकरी पर संकट छा गया है. मुख्यमंत्री और सामान्य प्रशासन विभाग के आदेशों के बावजूद SDRF के DG नें संविदा कर्मचारियों को एक सितंबर से काम पर नहीं आने का मौखिक आदेश दे दिया है.
मौखिक आदेश से नाराज संविदाकर्मी गृह मंत्री बाला बच्चन के निवास पर पहुंचे और उन्हें संविदा अवधि बढा़ने के लिए ज्ञापन सौंपा. साथ ही उन्होंने शिकायत की है कि जबसे बरसात का मौसम आया है, उनसे जमकर काम कराया जा रहा है, पर पिछले 5 माह से वेतन नहीं दिया गया.
SDRF के गजट में स्पष्ट रुप से उल्लेख है कि तीन वर्ष की नौकरी के बाद दो वर्ष के लिए और बढ़ाया जायेगा, लेकिन महानिदेशक अपनी मन मर्जी से काम कर रहे हैं. 5 महीने से कर्मचारियों को वेतन नहीं मिल रहा है और न ही संविदा की अवधि बढा़ई जा रही है. 38 में से 11 कर्मचारियों की संविदा अवधि बढा़ दी गई है, बाकी 28 संविदा की अवधि समाप्त करने के मौखिक निर्देश दिये गये हैं.
सामान्य प्रशासन विभाग के आदेश की अवहेलना
म.प्र. सामान्य प्रशासन विभाग ने 5 जून 2018 को एक संविदा नीति का आदेश जारी किया था, जिसमें उल्लेख था कि किसी भी संविदा कर्मचारी को हटाया नहीं जायेगा और सभी को नियमित किया जायेगा.
मुख्यमंत्री के निर्देशों की अवहेलना
मुख्यमंत्री कमलनाथ ने एक अगस्त 2019 को मंत्रालय में सभी विभागों के अधिकारियों की बैठक ली गई थी, जिसमें उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिये गये थे कि किसी भी संविदा कर्मचारी को हटाया नहीं जायेगा.
मामले में गृह मंत्री बाला बच्चन ने संविदा कर्मचारियों को आश्वासन दिया है कि इस संबंध में मुख्यमंत्री से बात कर कोई रास्ता निकालेंगे.