भोपाल| प्रदेश के पवई विधानसभा क्षेत्र के विधायक प्रहलाद लोधी की सदस्यता को विधानसभा अध्यक्ष नर्मदा प्रसाद प्रजापति के द्वारा खत्म कर दी गई है. इसकी सूचना भी उन्होंने निर्वाचन आयोग को भेज दी है. प्रहलाद लोधी को कोर्ट के द्वारा रेत माफिया को संरक्षण देते हुए, तहसीलदार के साथ मारपीट करने के चलते दो साल की सजा सुनाई गई है. प्रहलाद लोधी के अलावा ये सजा उनके अन्य साथियों को भी सुनाई गई थी.
प्रहलाद लोधी को फिलहाल न्यायालय से किसी प्रकार की राहत नहीं मिली है, बल्कि सदस्यता रिक्त हो जाने के बाद उनके लिए एक नया संकट खड़ा हो गया है. प्रहलाद लोधी का कहना है कि 'मैं चुना हुआ जनप्रतिनिधि हूं, लाखों लोगों की भावनाएं मेरे साथ जुड़ी हुई हैं. जिन्होंने मुझे वोट देकर विश्वास जताया है, वो सभी लोग मेरे लिए दुआ कर रहे हैं.' मारपीट के आरोप को लेकर उनका कहना है कि वो सब कुछ झूठ है, वहीं मारपीट मामले को लेकर उन्होंने बताया कि जिस समय ये घटनाक्रम हुआ था, उस समय वो वहां पर मौजूद ही नहीं थे, लेकिन राजनीतिक साजिश के तहत उनका नाम लिखवाया गया था. जिन्होंने नाम लिखवाया है वो सभी दूसरी पार्टी के लोग हैं.
प्रहलाद लोधी का कहना है कि कोर्ट का सम्मान करते हैं, लेकिन गवाही के दौरान जो चश्मदीद लोग थे. जिसमें बाबू और पटवारी भी शामिल थे, उन्होंने साफ तौर पर कहा था कि घटनाक्रम के समय वो वहां पर मौजूद नहीं थे और ना ही किसी प्रकार का कोई विवाद हुआ था. प्रहलाद लोधी ने कहा कि उन्होंने कुछ गलत नहीं किया है. इसलिए पार्टी उनके साथ खड़ी है.