भोपाल। थाने में यदि आप कोई शिकायती आवेदन लेकर जाएंगे, तो अब पुलिस को उस पर शिकायत नंबर डालकर देना होगा. उस शिकायत नंबर के आधार पर आप भविष्य में उस पर हुई कार्रवाई के बारे में पूछ सकेंगे. पुलिस मुख्यालय ने इस संबंध में सभी पुलिस अधीक्षकों को निर्देश जारी कर दिए हैं. पुलिस मुख्यालय ने यह कदम राज्य सूचना आयोग के निर्देश के बाद उठाया है. पिछले दिनों मामले की सुनवाई के दौरान राज्य सूचना आयोग के सामने आया था कि थाने में पहुंचने वाली शिकायतों का कोई रिकॉर्ड ही संधारित नहीं किया जा रहा है, जिसके बाद आयोग ने पुलिस मुख्यालय को इस संबंध में पत्र लिखा था.
अब हर शिकायत का रखना होगा रिकॉर्ड: दरअसल, अभी तक शिकायत लेकर पहुंचने पर थाना स्टॉफ सील साइन करके आवेदक को उसकी रिसीविंग थमा देते थे. इससे कई बार बाद में यह पता लगाना मुश्किल हो जाता था कि संबंधित आवेदन पर क्या कार्रवाई हुई. ऐसा ही मामला पिछले दिनों राज्य सूचना आयोग के सामने आया था. सतना जिले के एक मामले की सुनवाई के दौरान सामने आया कि पुलिस ने संबंधित शिकायत लिए जाने से ही इंकार कर दिया. इसको लेकर राज्य सूचना आयुक्त राहुल सिंह ने इसको लेकर गंभीर सवाल उठाते हुए पुलिस मुख्यालय को पत्र लिखकर इसमें सुधार के लिए कहा था. इसके बाद अब पुलिस मुख्यालय ने सभी पुलिस अधीक्षकों को इस संबंध में निर्देश जारी किए हैं.
अब हर शिकायत का रखना हो रिकॉर्ड: पुलिस मुख्यालय ने सभी जिलों के एसपी को पत्र भेजकर निर्देश दिया है कि थाने में आने वाली हर शिकायत का रिकॉर्ड संधारित किया जाए. इसे थाने की जनरल डायरी में दर्ज किया जाएगा और जनरल डायरी में दर्ज शिकायत नंबर को आवेदन पर डालकर उसकी कॉपी शिकायतकर्ता को देनी होगी. निर्देश में कहा गया है कि थाने पहुंचने वाली शिकायत संज्ञेय अपराध की श्रेणी का हो या फिर असंज्ञेय अपराध की श्रेणी का सभी पर शिकायत नंबर डालना होगा और इसकी जानकारी संबंधित अधिकारी को देनी होगी, ताकि भविष्य में शिकायतकर्ता द्वारा पूछे जाने पर उसे संबंधित शिकायत पर होने वाली कार्रवाई के संबंध में सूचित किया जा सके.