भोपाल। मालवा और निमाड़ के किसानों को लहसुन नदियों में फेंकना पड़ रहा है. दाम नहीं मिलने से किसानों को लहसुन खेतों में ही जलाना पड़ रहा है. इसी समस्या को लेकर कृषि मंत्री और सांसद दुर्गादास उइके ने केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर से मुलाकात की. कमल पटेल ने लहसुन किसानों की व्यथा के बारे में चर्चा की. केंद्रीय मंत्री से गुजारिश की गई कि लहसुन केंद्र सरकार खरीद ले या फिर कोई और रास्ता सुझाएं, जिससे किसानों को राहत मिल सके.
विस्तृत योजना बनाने को कहा : हालांकि फिलहाल लहसुन के अच्छे दाम मिलेंगे, इसे लेकर कृषि मंत्री की तरफ से कोई ठोस आश्वासन नहीं दिया गया. लेकिन उन्होंने ये जरूर कहा कि केंद्र और राज्य सरकार संयुक्त क्रियान्यवन के साथ विस्तृत योजना बनाएंगे. प्रदेश के कृषि मंत्री कमल पटेल ने कहा कि रतलाम, मंदसौर, नीमच, इंदौर के लहसुन और प्याज उत्पादक किसानों को उचित मूल्य नहीं मिल रहा. किसानों को उनकी लागत भी नहीं मिल रही है. ऐसे में किसान बहुत परेशान हैं.
लहसुन को केंद्र से खरीदने की मांग : कमल पटेल ने तोमर से गुजारिश की लहसुन के दाम बहुत कम मिल रहे हैं. यदि संभव हो तो सरकार इसकी खरीदी कर ले. हालांकि इस पर कोई खास आश्वासन नहीं मिला. बता दें कि एमपी में लहसुन मंडियों में 50 पैसे से 2 रुपए किलो बिक रहा है. इसके चलते किसान लहसुन को नदियों में फेंक रहे हैं तो कहीं खेतों में ही जला रहे हैं. किसान संगठनों ने कृषि मंत्री कमल पटेल से मुलाकात की थी और मांग की थी कि सरकार किसानों से लहसुन खरीदे. Garlic Cultivation in MP, Bumper yield Garlic MP, Farmers Throw Garlic Rivers, Agriculture Minister Kamal Patel Delhi, Raise problem garlic farmers, not get assurance