भोपाल। मध्यप्रदेश सरकार का बजट 9 मार्च को वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा द्वारा विधानसभा में पेश किया जाएगा. सरकार के आगामी बजट से उद्योग और व्यापार जगत को राहत की उम्मीद है. स्टार्टअप चलाने वाले युवा भी सरकार से आस लगाए बैठे हैं. इनके अनुसार सरकार को बजट में लघु उद्योगों और स्टार्टअप को बढ़ावा देने के लिए नए प्रावधान लाने चाहिए. इसके साथ ही कोरोना काल में जो व्यापारी परेशान हुए हैं और उन्हें जो नुकसान झेलना पड़ा है, उसकी भरपाई के लिए भी सरकार को बजट में प्रोत्साहन देने के लिए प्रावधान करना चाहिए.
स्टार्टअप से ज्यादा चक्कर डॉक्यूमेंटेशन में लगाने पड़ते हैं...
रेंटोजो, स्टार्टअप के डायरेक्टर शिवम यादव का कहना है कि स्टार्टअप चलाने वालों के लिए सरकार को ऐसी पॉलिसी लानी चाहिए जिससे उन्हें बहुत ज्यादा डॉक्यूमेंटेशन और लोन के लिए चक्कर ना लगाना पड़ें. हमारी मांग है कि सरकार कुछ ऐसा करे कि डैशबोर्ड के माध्यम से हम अपने डॉक्यूमेंट्स एमएसएमई डिपार्टमेंट और बैंक तक पहुंचा सकें.
केंद्र के समान स्टार्टअप फंड स्कीम लागू करे राज्य सरकार
बीमा एक्सप्रेस स्टार्टअप के को-फाउंडर महेंद्र पांचाल कहते हैं कि प्रदेश सरकार को केंद्र के समान स्टार्टअप फंडिंग की योजना लानी चाहिए. जिससे मध्यप्रदेश में युवा स्टार्टअप स्थापित करने की तरफ आकर्षित हों. शुरुआती तौर पर फंड की जरूरत को पूरा करने के लिए सरकार को बजट में प्रावधान करना चाहिए.
पिछले बजट में नहीं लगा था कोई टैक्स
पिछली बार बजट में मध्य प्रदेश सरकार ने कोई टैक्स नहीं लगाया था. इस बार भी सरकार से कोई नया टैक्स नहीं लगाए जाने की उम्मीद की जा रही है. वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने 2020-21 में बजट पेश करते हुए 2 लाख 41375 करोड़ का बजट पेश किया था, लेकिन इस बार चुनाव के कारण बजट का आकार बड़ा हो सकता है.