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प्रवीण कक्कड़ के ठिकानों पर छापेमारी का जानें पूरा प्लान, CRPF की टीम ने भी निभाया अहम रोल - भोपाल

मुख्यमंत्री कमलनाथ के ओएचडी प्रवीण कक्कड़ सहित उनके करीबों पर छापेमार ने की कार्रवाई आयकर विभाग की टीम ने बड़े ही चलाई से बनाई थी. इस कार्रवाई के लिए आयकर विभाग की टीम और CRPF की टीम दिल्ली से आई थी. प्रदेश के अधिकारियों और एजेंसी को कानों कान भनक तक नहीं लगी.

CRPF की टीम ने भी निभाया अहम रोल
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Published : Apr 7, 2019, 6:19 PM IST

भोपाल। आयकर विभाग की टीम ने मुख्यमंत्री कमलनाथ के ओएचडी प्रवीण कक्कड़ सहित उनके करीबियों पर छापमार कार्रवाई की है. कार्रवाई के लिए आयकर विभाग की टीम और CRPF की टीम 4 अप्रैल को ही दिल्ली से रवाना हो गई थी. आयकर विभाग की करीब 35 सदस्य टीम दो अलग-अलग फ्लाइट से रात करीब 9 बजे भोपाल पहुंची थी. जिसके बाद एयरपोर्ट से CRPF और IT के अधिकारियों का काफिला ट्रेवल्स की गाड़ियों से रात करीब ढाई बजे तक इंदौर रोड पर घूमते रहे और ठीक 3 बजते ही प्रवीण प्रवीण कक्कड़ और उनके करीबियों के घर में दाखिल हुए.

आयकर विभाग की कार्रवाई के बारे में प्रदेश के अधिकारियों और एजेंसी को कानों कान भनक नहीं लगी. यह पहला मौका है जब आयकर विभाग के द्वारा कि गई कार्रवाई में प्रदेश के आयकर विभाग के अधिकारियों को शामिल नहीं किया. यहां तक कि स्थानीय सुरक्षा एजेंसियों की भी मदद नहीं ली गई. क्योंकि मामला मुख्यमंत्री कमलनाथ के ओएसडी से जुड़ा था. इसलिए आयकर विभाग की पूरी टीम कार्रवाई के लिए दिल्ली से ही भोपाल आई थी.


लगातार 48 घंटे का सफर कर पहुंची थी CRPF की टीम


आयकर विभाग की भोपाल और इंदौर में कार्रवाई के लिए CRPF की टीम दिल्ली से दो बसों से 4 अप्रैल को रवाना हुई थी. भोपाल पहुंचने से पहले सीआरपीएफ की टीम ने नीमच में स्टे किया था और यहां से टीम में महिला सदस्यों को भी शामिल किया गया था. आयकर विभाग की करीब 35 सदस्य की टीम 2 फ्लाइट से भोपाल एयरपोर्ट पहुंची और ट्रेवल्स की गाड़ी किराए पर बुलाई गई. जिसमें आधा दर्जन गाड़ियों में सवार होकर आयकर विभाग के अधिकारी रात करीब ढाई बजे तक इंदौर रोड पर घूमते रहे. एयरपोर्ट से रवाना होने से पहले आयकर विभाग के अधिकारियों ने किराए पर बुलाई गई गाड़ियों के ड्राइवर और कंडक्टर के मोबाइल और ड्राइविंग लाइसेंस अपने कब्जे में ले लिया था. ताकि कोई बात लीक ना हो सके.

आयकर विभाग का काफिला सोनकच्छ तक गया. इस दौरान अधिकारियों ने प्लैनिंग की और जैसे ही ढाई बजा टीम भोपाल शहर में दाखिल हुई और दो हिस्सों में बट गई. एक टीम ने श्यामला हिल्स स्थित मुख्यमंत्री कमलनाथ के ओएसडी प्रवीण कक्कड़ के निवास नादिर कॉलोनी के मकान नंबर 14 में दाखिल हुई और दूसरी टीम ने प्लेटिनम प्लाजा स्थित प्रवीण कक्कड़ के करीबी अश्विनी शर्मा और प्रतीक जोशी के घर कार्रवाई की.

प्रवीण कक्कड़ सहित कई लोगों के घर IT का छापा

प्लेटिनम प्लाजा में सिक्योरिटी गार्ड से खुलवाया दरवाजा


प्लेटिनम प्लाजा में पहुंची टीम ने इस बहुमंजिला इमारत के पांचवें और छठे फ्लोर में रहने वाले अश्विनी शर्मा और प्रतीक जोशी का दरवाजा यहां ड्यूटी पर रहने वाले सिक्योरिटी गार्ड से खुलवाया. जैसे ही उन्होंने दरवाजा खुला आयकर विभाग की टीम घर के अंदर दाखिल हो गई. आयकर विभाग के अधिकारियों ने घर में मौजूद सभी सदस्यों को एक कमरे में बैठाया और उनके मोबाइल और टेलीफोन बंद करा दिए. शुरुआत में तो उन्हें भरोसा ही नहीं हुआ और उन्होंने कार्रवाई का विरोध जताया. लेकिन जब आयकर विभाग के अधिकारियों ने जब उन्हें समझाइश दी, उसके बाद ही उन्होंने सहयोग करना शुरू किया.

भोपाल। आयकर विभाग की टीम ने मुख्यमंत्री कमलनाथ के ओएचडी प्रवीण कक्कड़ सहित उनके करीबियों पर छापमार कार्रवाई की है. कार्रवाई के लिए आयकर विभाग की टीम और CRPF की टीम 4 अप्रैल को ही दिल्ली से रवाना हो गई थी. आयकर विभाग की करीब 35 सदस्य टीम दो अलग-अलग फ्लाइट से रात करीब 9 बजे भोपाल पहुंची थी. जिसके बाद एयरपोर्ट से CRPF और IT के अधिकारियों का काफिला ट्रेवल्स की गाड़ियों से रात करीब ढाई बजे तक इंदौर रोड पर घूमते रहे और ठीक 3 बजते ही प्रवीण प्रवीण कक्कड़ और उनके करीबियों के घर में दाखिल हुए.

आयकर विभाग की कार्रवाई के बारे में प्रदेश के अधिकारियों और एजेंसी को कानों कान भनक नहीं लगी. यह पहला मौका है जब आयकर विभाग के द्वारा कि गई कार्रवाई में प्रदेश के आयकर विभाग के अधिकारियों को शामिल नहीं किया. यहां तक कि स्थानीय सुरक्षा एजेंसियों की भी मदद नहीं ली गई. क्योंकि मामला मुख्यमंत्री कमलनाथ के ओएसडी से जुड़ा था. इसलिए आयकर विभाग की पूरी टीम कार्रवाई के लिए दिल्ली से ही भोपाल आई थी.


लगातार 48 घंटे का सफर कर पहुंची थी CRPF की टीम


आयकर विभाग की भोपाल और इंदौर में कार्रवाई के लिए CRPF की टीम दिल्ली से दो बसों से 4 अप्रैल को रवाना हुई थी. भोपाल पहुंचने से पहले सीआरपीएफ की टीम ने नीमच में स्टे किया था और यहां से टीम में महिला सदस्यों को भी शामिल किया गया था. आयकर विभाग की करीब 35 सदस्य की टीम 2 फ्लाइट से भोपाल एयरपोर्ट पहुंची और ट्रेवल्स की गाड़ी किराए पर बुलाई गई. जिसमें आधा दर्जन गाड़ियों में सवार होकर आयकर विभाग के अधिकारी रात करीब ढाई बजे तक इंदौर रोड पर घूमते रहे. एयरपोर्ट से रवाना होने से पहले आयकर विभाग के अधिकारियों ने किराए पर बुलाई गई गाड़ियों के ड्राइवर और कंडक्टर के मोबाइल और ड्राइविंग लाइसेंस अपने कब्जे में ले लिया था. ताकि कोई बात लीक ना हो सके.

आयकर विभाग का काफिला सोनकच्छ तक गया. इस दौरान अधिकारियों ने प्लैनिंग की और जैसे ही ढाई बजा टीम भोपाल शहर में दाखिल हुई और दो हिस्सों में बट गई. एक टीम ने श्यामला हिल्स स्थित मुख्यमंत्री कमलनाथ के ओएसडी प्रवीण कक्कड़ के निवास नादिर कॉलोनी के मकान नंबर 14 में दाखिल हुई और दूसरी टीम ने प्लेटिनम प्लाजा स्थित प्रवीण कक्कड़ के करीबी अश्विनी शर्मा और प्रतीक जोशी के घर कार्रवाई की.

प्रवीण कक्कड़ सहित कई लोगों के घर IT का छापा

प्लेटिनम प्लाजा में सिक्योरिटी गार्ड से खुलवाया दरवाजा


प्लेटिनम प्लाजा में पहुंची टीम ने इस बहुमंजिला इमारत के पांचवें और छठे फ्लोर में रहने वाले अश्विनी शर्मा और प्रतीक जोशी का दरवाजा यहां ड्यूटी पर रहने वाले सिक्योरिटी गार्ड से खुलवाया. जैसे ही उन्होंने दरवाजा खुला आयकर विभाग की टीम घर के अंदर दाखिल हो गई. आयकर विभाग के अधिकारियों ने घर में मौजूद सभी सदस्यों को एक कमरे में बैठाया और उनके मोबाइल और टेलीफोन बंद करा दिए. शुरुआत में तो उन्हें भरोसा ही नहीं हुआ और उन्होंने कार्रवाई का विरोध जताया. लेकिन जब आयकर विभाग के अधिकारियों ने जब उन्हें समझाइश दी, उसके बाद ही उन्होंने सहयोग करना शुरू किया.

Intro:मुख्यमंत्री कमलनाथ की ओएचडी प्रवीण कक्कड़ और उनके करीबियों पर आयकर विभाग की कार्रवाई के लिए सीआरपीएफ की टीम 4 अप्रैल को ही दिल्ली से रवाना हो गई थी जो शनिवार शाम करीब 7 बजे भोपाल पहुंची थी आयकर विभाग की करीब 35 सदस्य टीम भोपाल दो अलग-अलग फ्लाइट से रात करीब 9 बजे पहुंची थी एयरपोर्ट से ही सीआरपीएफ और आयकर विभाग के अधिकारियों का काफिला ट्रेवल्स की गाड़ियों से रात करीब ढाई बजे तक इंदौर रोड पर घूमता रहा और ठीक 3 बजते ही प्रवीण प्रवीण कक्कड़ और उनके करीबियों के घर में दाखिल हुआ। आयकर विभाग की इस कार्रवाई की मध्य प्रदेश की किसी भी एजेंसी को कानों कान भनक नहीं लगी।


Body:मुख्यमंत्री कमलनाथ के ओएसडी प्रवीण कक्कड़ और उनके करीबी अश्विनी शर्मा प्रतीक जोशी पर कार्रवाई की प्रदेश के अधिकारियों को भनक तक नहीं लगी यह पहला मौका है जब आयकर विभाग ने मध्यप्रदेश में की गई कार्रवाई में प्रदेश के अपने ही महकमे की आयकर विभाग के अधिकारियों को कार्रवाई में शामिल नहीं किया यहां तक कि स्थानीय सुरक्षा एजेंसियों की भी मदद नहीं ली गई क्योंकि मामला मुख्यमंत्री कमलनाथ के ओएसडी से जुड़ा था इसलिए आयकर विभाग की पूरी टीम कार्रवाई के लिए दिल्ली से ही राजधानी भोपाल आई थी।

लगातार 48 घंटे का सफर कर पहुंची थी सीआरपीएफ की टीम
बताया जाता है कि आयकर विभाग की भोपाल और इंदौर में कार्रवाई के लिए सीआरपीएफ की टीम दिल्ली से दो बसों से 4 अप्रैल को रवाना हुई थी यह टीम शनिवार शाम 7 बजे भोपाल एयरपोर्ट पहुंच चुकी थी। भोपाल पहुंचने से पहले सीआरपीएफ की टीम ने नीमच में स्टे किया था और यहां से टीम में महिला सदस्यों को भी शामिल किया गया था। आयकर विभाग की करीब 35 सदस्य की टीम 2 फ्लाइट से भोपाल करीब रात बजे पहुंची एयरपोर्ट से किराए पर बुलाई गई आधा दर्जन गाड़ियों में सवार होकर आयकर विभाग के अधिकारी रात करीब ढाई बजे तक इंदौर रोड पर घूमते रहे एयरपोर्ट से रवाना होने से पहले आयकर विभाग के अधिकारियों ने किराए पर बुलाई गई गाड़ियों के ड्राइवर और कंडक्टर के मोबाइल और ड्राइविंग लाइसेंस अपने कब्जे में ले लिया ताकि कोई बात लीक हो सके। बताया जाता है कि आयकर विभाग का काफिला सोनकच्छ तक गया। इस दौरान अधिकारियों ने प्लैनिंग की और जैसे ही ढाई बजे यह टीम भोपाल शहर में दाखिल हुई और दो हिस्सों में बट गई एक टीम ने श्यामला हिल्स स्थित मुख्यमंत्री कमलनाथ के ओएसडी प्रवीण कक्कड़ के निवास नादिर कॉलोनी के मकान नंबर 14 में दाखिल हुई और दूसरी टीम ने प्लेटिनम प्लाजा स्थित प्रवीण कक्कड़ के करीबी अश्विनी शर्मा और प्रतीक जोशी के घर कार्रवाई की।

प्लेटिनम प्लाजा में सिक्योरिटी गार्ड से खुलवाया दरवाजा
बताया जाता है कि प्लेटिनम प्लाजा में पहुंची टीम ने इस बहुमंजिला इमारत के पांचवें और छठे फ्लोर में रहने वाले अश्विनी शर्मा और प्रतीक जोशी का दरवाजा यहां ड्यूटी पर रहने वाले सिक्योरिटी गार्ड से खुलवाया और जैसे ही उन्होंने दरवाजा खुला आयकर विभाग की टीम घर के अंदर दाखिल हो गई। आयकर विभाग के अधिकारियों ने घर में मौजूद सभी सदस्यों को एक कमरे में बैठाया और उनके मोबाइल और टेलीफोन बंद करा दिए। शुरुआत में तो उन्हें भरोसा ही नहीं हुआ और उन्होंने कार्रवाई का विरोध जताया लेकिन जब आयकर विभाग के अधिकारियों ने जब उन्हें समझाइश दी, उसके बाद ही उन्होंने सहयोग करना शुरू किया।



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