भोपाल/वाराणसी। वाराणसी से उज्जैन को जोड़ने वाली ट्रेन काशी महाकाल एक्सप्रेस का कमर्शियल रन शुरू हो गया है. 16 फरवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए ट्रेन को रवाना किया था, इस ट्रेन में हर किसी के यात्रा करने की सुविधा उपलब्ध हो गई है. पहली बार ये ट्रेन यात्रियों को लेकर इंदौर के लिए रवाना हुई है. 2:45 पर इस ट्रेन को हरी झंडी दिखाकर कैंट रेलवे स्टेशन से रवाना किया गया. वाराणसी रेलवे स्टेशन पर हिंदू संस्कृति के अनुसार पूजा पाठ और हर-हर महादेव के जयघोष के बीच लोगों ने ट्रेन में एंट्री की और लोगों पर पुष्प वर्षा कर टीका लगाकर उन्हें रवाना किया गया.
काशी-महाकाल एक्सप्रेस शुरू होने के साथ ही विवादों में रहीं क्योंकि ट्रेन की एक बर्थ भगवान शिव के नाम पर रिजर्व कर देने पर विवाद छिड़ गया, बाद में आईआरसीटीसी ने ट्रेन की सीट रिजर्व नहीं करने की बात कही और पहले दिन से पूजा पाठ की बात कही थी. इसके बाद आज भगवान के छोटे से मंदिर को परमानेंट ट्रेन के पैंट्रीकार में शिफ्ट कर दिया गया है.
आईआरसीटीसी ने पहले दिन इस ट्रेन में यात्रा करने वाले पैसेंजर्स को अपनी तरफ से गिफ्ट भी देने की बात कही है. ट्रेन के अंदर ओम नमः शिवाय का जाप स्पीकर्स में बजया जा रहा है. ट्रेन रवाना हो चुकी है और महाशिवरात्रि पर सुबह ट्रेन उज्जैन महाकाल पहुंचेगी. अधिकारियों का कहना है की पहले इस दिन इस ट्रेन में पूरी तरह से सारी सीटें बुक हो चुकी हैं और लखनऊ के बाद से इसमें वेटिंग भी है.