भोपाल। मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव में कांग्रेस और समाजवादी पार्टी के बीच सीटों के बंटवारे की कोशिशें परवान नहीं चढ़ सकी. इसके बाद अब दोनों ही पार्टियां ने अपने-अपने उम्मीदवार उतारने शुरू कर दिए है. कांग्रेस की तरफ से जारी रविवार को 144 उम्मीदवारों की सूची में उन सीटों पर भी अपने उम्मीदवार उतार दिए, जहां समाजवादी पार्टी पहले ही अपने उम्मीदवार उतार चुकी है. जाहिर है कि इससे केन्द्र में इंडिया गठबंधन को लेकर चल ही मुहिम को भी झटका लगा है. उधर, इसको लेकर पीसीसी चीफ कमलनाथ ने कहा कि दोनों ही पार्टियों का लक्ष्य यही है कि बीजेपी को हराएं, लेकिन सीट शेयरिंग का फार्मूला नहीं निकल सका.
गठबंधन न होने की कमलनाथ ने यह बताई वजह: समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के बीच गठबंधन न हो पाने को लेकर जब कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ से सवाल किया गया, तो उन्होंने कहा कि विधानसभा चुनाव में टिकट बंटवारे को लेकर समाजवादी पार्टी से अलग-अलग स्तरों पर बात हुई है. हम चाहते हैं कि भाजपा को हराने में सपा हमारा साथ दे. सपा की भी इसमें दिलचस्पी है. मैं अखिलेश यादव को धन्यवाद देता हूं कि उनकी भी इच्छा बीजेपी को हराने की है. उन्होंने भी कहा कि हम मिलकर हराना चाहते हैं, लेकिन हमें भी अपनी स्थानीय स्थिति देखनी पड़ती है. इसमें भी कुछ पेंच फंस जाते हैं. यदि सपा कहे कि हम आपके उम्मीदवार को भी टिकट दे देते हैं, लेकिन कैंडीडेंट कहता है कि मैं सपा के सिंबल पर चुनाव नहीं लडूंगा, यह प्रक्टिकल बातें हैं, जो आ जाती हैं.
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बातचीत बेनतीजा तो यहां से भी उतारे उम्मीदवार: एमपी में कांग्रेस और सपा के बीच टिकट के बंटवारे को लेकर फैसला नहीं हो सका तो कांग्रेस ने रविवार को भांडेर, राजनगर, बिजावर और कटंगी सीट से भी अपना उम्मीदवार मैदान में उतार दिया. इन सीटों पर कांग्रेस की सपा से बात चल रही थी. कांग्रेस की सूची से बौखलाई समाजवादी पार्टी ने भी अब इन सीटों पर अपने उम्मीदवारों का ऐलान कर दिया है. जाहिर है कि अब इन 4 सीटों सहित कई और सीटों पर समाजवादी पार्टी अपने उम्मीदवार मैदान में उतार रही है. इससे अब इन सीटों पर मुकाबला त्रिकोणीय होगा. नुकसान किसको होगा यह चुनाव के नतीजे ही बताएंगे.
इंडिया गठबंधन पर पड़ेगा असर: जाहिर है सीट शेयरिंग का फार्मूला मध्यप्रदेश में न निकलना, इंडिया गठबंधन पर सवाल खड़े कर रहा है. इंडिया गठबंधन में सपा, आम आदमी पार्टी शामिल है, लेकिन प्रदेश में दोनों ही पार्टियां पूरे दमखम से मैदान में उतर रही हैं. हालांकि, जब इसको लेकर कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ से सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि प्रदेश में सपा से गठबंधन को लेकर खूब बातचीत हुई और बातचीत चल भी रही है, अब नतीजा नहीं निकला तो, क्या कर सकते हैं. वैसे भी इंडिया गठबंधन केन्द्र के चुनाव के लिए है.