भोपाल। नियमितीकरण की मांग को लेकर 62 दिनों से धरने पर बैठे अतिथि शिक्षकों ने नगरीय निकाय चुनाव का बहिष्कार करने का फैसला लिया है, अतिथि शिक्षकों का कहना है कि सरकार ने वचन पत्र में अतिथि शिक्षकों को नियमित करने का वादा किया था, लेकिन सरकार बनते ही सरकार के तेवर भी बदल गए.
अतिथि शिक्षकों ने कहा कि कांग्रेस सरकार को जिताने में अतिथि शिक्षकों का बहुत बड़ा हाथ है, सरकार अतिथि शिक्षकों को गंभीरता से नहीं ले रही है, उन्होंने कहा कि अब आने वाले चुनाव में सरकार को इसका खामियाजा भुगतना पड़ेगा.
अतिथि शिक्षक हजारों की संख्या में शाहजहानी पार्क में अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल पर बैठे हैं, इस बीच यदि अतिथि शिक्षकों को कुछ भी होता है तो इसकी जिम्मेदारी राज्य सरकार की होगी. अतिथि शिक्षकों ने सरकार को चुनौती दी है कि आने वाले उप चुनाव और नगरीय निकाय चुनाव में कांग्रेस का सूपड़ा साफ करने में भी अतिथि शिक्षक अपनी भूमिका निभाएंगे.
उन्होंने कहा कि कांग्रेस पर भरोसा कर उन्होंने विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को सपोर्ट किया था, लेकिन जीत के बाद सरकार बनते ही बदले रवैये से नाराज अतिथि शिक्षक नगरीय निकाय चुनाव में सरकार को हराने में भी अपनी पूर्ण भूमिका निभाएंगे.