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अब अनिल अंबानी को चार साल में चुकाने होंगे 450 करोड़, नेता प्रतिपक्ष ने सरकार पर लगाया ये आरोप - chief minister kamalnath

उद्योगपति अनिल अंबानी को 450 करोड़ रुपए चुकाने के लिए 4 साल की मोहलत देने के फैसले पर नेता प्रतिपक्ष ने कड़ी आपत्ति जताई है. उन्होंने कमलनाथ सरकार को पूंजीपतियों की सरकार बताया और इस फैसले को मध्यप्रदेश के ऊपर कुठाराघात करार दिया है.

Gopal Bhargava targeted Kamal Nath government
कमलनाथ सरकार पर भड़के गोपाल भार्गव
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Published : Feb 7, 2020, 5:37 PM IST

Updated : Feb 7, 2020, 7:12 PM IST

भोपाल। मध्य प्रदेश सरकार ने अनिल अंबानी को 450 करोड़ रुपए चुकाने के लिए 4 साल की मोहलत देने का फैसला किया है. मध्यप्रदेश विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव कमलनाथ सरकार के इस फैसले पर भड़क गए हैं. गोपाल भार्गव ने कहा मुख्यमंत्री स्वयं उद्योगपति हैं, तो उन्हें जनता और गरीबों की चिंता से ज्यादा उद्योगपतियों की पूंजी बढ़ाने की चिंता है. उन्होंने कहा कि उद्योगपतियों को छूट देना प्रदेश के वित्तीय हितों पर कुठाराघात है. यह उद्योगपतियों और पूंजीपतियों की सरकार है.

कमलनाथ सरकार पर भड़के गोपाल भार्गव


गोपाल भार्गव ने कहा कि एक तरफ मुख्यमंत्री कमलनाथ कहते हैं कि प्रदेश की वित्तीय स्थिति ठीक नहीं है. वहीं दूसरी ओर उद्योगपतियों को छूट दे रहे हैं. उनकी देनदारी किस्तों में बांट रहे हैं. यह मध्यप्रदेश के हितों पर कुठाराघात है. गोपाल भार्गव ने कहा है कि मुझे इस फैसले पर घोर आपत्ति है.

पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने साधा निशाना


गोपाल भार्गव ने कहा कि यह राज्य के साथ अन्याय है. एक तरफ सरकार कहती है कि वह आर्थिक संकट से जूझ रहे हैं दूसरी तरफ एक उद्योगपति को एकमुश्त साढ़े चार अरब रुपए इस तरह से छोड़ना या किस्तों में बांटना या विलंबित करना मध्यप्रदेश के हितों के साथ कुठाराघात है. कमलनाथ खुद उद्योगपति हैं , इसलिए वह उद्योगपतियों के शुभचिंतक हैं. उद्योगपति मध्यप्रदेश में एक भी बेरोजगार को रोजगार ना दे सके, लेकिन कमलनाथ जरूर उद्योगपतियों को लाभ दिलाने का काम कर रहे हैं.

पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने साधा निशाना

बीजेपी नेता नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि कांग्रेस की कथनी और करनी में अंतर है. मध्यप्रदेश में कमलनाथ सरकार का स्पेशल पैकेज चल रहा है, लूट सके तो लूट, कमलनाथ की छूट. प्रदेश की उद्योग नीति उद्योगपतियों की सहूलियत से तय हो रही है. किसानों की कर्ज माफी के लिए पैसे नहीं है, कन्यादान की राशि के लिए पैसे नहीं है, लेकिन आम जनता का पैसा इस तरह बर्बाद किया जा रहा है. कॉरपोरेट कल्चर पूरे मध्यप्रदेश में लागू है और गरीब का जीना मुहाल कर दिया है.

भोपाल। मध्य प्रदेश सरकार ने अनिल अंबानी को 450 करोड़ रुपए चुकाने के लिए 4 साल की मोहलत देने का फैसला किया है. मध्यप्रदेश विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव कमलनाथ सरकार के इस फैसले पर भड़क गए हैं. गोपाल भार्गव ने कहा मुख्यमंत्री स्वयं उद्योगपति हैं, तो उन्हें जनता और गरीबों की चिंता से ज्यादा उद्योगपतियों की पूंजी बढ़ाने की चिंता है. उन्होंने कहा कि उद्योगपतियों को छूट देना प्रदेश के वित्तीय हितों पर कुठाराघात है. यह उद्योगपतियों और पूंजीपतियों की सरकार है.

कमलनाथ सरकार पर भड़के गोपाल भार्गव


गोपाल भार्गव ने कहा कि एक तरफ मुख्यमंत्री कमलनाथ कहते हैं कि प्रदेश की वित्तीय स्थिति ठीक नहीं है. वहीं दूसरी ओर उद्योगपतियों को छूट दे रहे हैं. उनकी देनदारी किस्तों में बांट रहे हैं. यह मध्यप्रदेश के हितों पर कुठाराघात है. गोपाल भार्गव ने कहा है कि मुझे इस फैसले पर घोर आपत्ति है.

पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने साधा निशाना


गोपाल भार्गव ने कहा कि यह राज्य के साथ अन्याय है. एक तरफ सरकार कहती है कि वह आर्थिक संकट से जूझ रहे हैं दूसरी तरफ एक उद्योगपति को एकमुश्त साढ़े चार अरब रुपए इस तरह से छोड़ना या किस्तों में बांटना या विलंबित करना मध्यप्रदेश के हितों के साथ कुठाराघात है. कमलनाथ खुद उद्योगपति हैं , इसलिए वह उद्योगपतियों के शुभचिंतक हैं. उद्योगपति मध्यप्रदेश में एक भी बेरोजगार को रोजगार ना दे सके, लेकिन कमलनाथ जरूर उद्योगपतियों को लाभ दिलाने का काम कर रहे हैं.

पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने साधा निशाना

बीजेपी नेता नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि कांग्रेस की कथनी और करनी में अंतर है. मध्यप्रदेश में कमलनाथ सरकार का स्पेशल पैकेज चल रहा है, लूट सके तो लूट, कमलनाथ की छूट. प्रदेश की उद्योग नीति उद्योगपतियों की सहूलियत से तय हो रही है. किसानों की कर्ज माफी के लिए पैसे नहीं है, कन्यादान की राशि के लिए पैसे नहीं है, लेकिन आम जनता का पैसा इस तरह बर्बाद किया जा रहा है. कॉरपोरेट कल्चर पूरे मध्यप्रदेश में लागू है और गरीब का जीना मुहाल कर दिया है.

Intro:भोपाल मध्य प्रदेश सरकार ने अनिल अंबानी को 450 करोड़ रुपए चुकाने के लिए 4 साल की मोहलत देने का फैसला किया है।मध्यप्रदेश विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव कमलनाथ सरकार के इस फैसले पर भड़क गए हैं। गोपाल भार्गव ने कहा मुख्यमंत्री स्वयं उद्योगपति है,तो उन्हें जनता और गरीबों की चिंता से ज्यादा उद्योगपतियों की पूंजी बढ़ाने की चिंता है। उन्होंने कहा कि उद्योगपतियों को छूट देना प्रदेश के वित्तीय हितों पर कुठाराघात है। यह उद्योगपतियों और पूंजीपतियों की सरकार है।
गोपाल भार्गव ने कहा कि एक तरफ मुख्यमंत्री कमलनाथ कहते हैं कि प्रदेश की वित्तीय स्थिति ठीक नहीं है।वहीं दूसरी ओर उद्योगपतियों को छूट दे रहे हैं,उनकी देनदारी किस्तों में बांट रहे है। यह मध्यप्रदेश के हितों पर कुठाराघात है। Body:नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव ने कहा है कि मुझे इस फैसले पर घोर आपत्ति है।इसलिए भी क्योंकि अंबानी की नेटवर्क खरबों रुपए है। फिर भी उनको 450 करोड़ की छूट देना और किस्तों में बांट देना , मैं मान कर चलता हूं कि राज्य के साथ अन्याय है । एक तरफ राज्य सरकार कहती है कि मध्य प्रदेश की वित्तीय स्थिति ठीक नहीं है। हम आर्थिक संकट से जूझ रहे हैं। दूसरी तरफ एक उद्योगपति को एकमुश्त साढ़े चार अरब रुपए इस तरह से छोड़ना या किस्तों में बांटना या विलंबित करना। मैं मान कर चलता हूं कि मध्यप्रदेश के हितों के साथ कुठाराघात है। कमलनाथ खुद उद्योगपति हैं , इसलिए वह उद्योगपतियों के शुभचिंतक हैं ।उद्योगपति मध्यप्रदेश में एक भी बेरोजगार को रोजगार ना दे सके। लेकिन कमलनाथ जरूर उद्योगपतियों को लाभ दिलाने का काम कर रहे हैं । उनके रोजगार और व्यवसाय के साथ मुनाफे में अभिवृद्धि करने का काम कर रहे हैं। मैं शुरू से कह रहा हूं कि यह सरकार उद्योगपतियों और पूंजीपतियों की सरकार है। इस सरकार के मुखिया स्वयं पूंजीपति है। इसलिए अंबानी के लिए छूट देना राज्य की वित्तीय हितों पर कुठाराघात है। हमने अपनी सरकार के समय उन्हें पहले से ही काफी सस्ती जमीन पानी इत्यादि सारी सुविधाएं मुहैया कराई थी। उसके बाद यह छूट देना,मैं मानकर चलता हूं कि किसी तरह से उचित नहीं है।Conclusion:
Last Updated : Feb 7, 2020, 7:12 PM IST
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