भोपाल। राजधानी के हथाईखेड़ा डेम पर बने मैदान में पिछले 25 सालों से पाड़ों की लड़ाई का आयोजन किया जा रहा है. परंपरा के अनुसार हर साल मुकाबले के लिए अलग-अलग पाड़े आते हैं. जिसे देखने के लिए ग्रामीण क्षेत्र के लोग साल भर इंतजार करते है. इस आयोजन में कई मुकाबले खेले जाते हैं और विजेता को पुरस्कार भी दिया जाता है.
बता दें, कि इस आयोजन में हिस्सा लेने के लिए प्रतियोगी साल भर तैयारी करते है. इस दौरान अपने पाड़ों को ताकतवर और मजबूत बनाने के लिए इनकी खास तरह की डाइट का भी ध्यान रखा जाता है. इन्हें खाने के लिए हर वह चीज उपलब्ध कराई जाती है. जिससे इनका शरीर ताकतवर और मजबूत हो सके ताकि मुकाबले के दिन यह अपने प्रतिद्वंदी को पछाड़ सके.
दीपावली के बाद गोवर्धन पूजा के दिन आयोजित होने वाले इस आयोजन में कई रोमांचक मुकाबले देखने को मिले लेकिन राजू नामक पाडे ने अपने सभी मुकाबले जीतकर विजेता का खिताब हासिल किया. उपविजेता बबलू नामक पाड़ा रहा. इन दोनों के बीच भी तीन बार मुकाबले आयोजित किए गए, लेकिन तीनों ही बार राजू नाम के पाडे ने जीत हासिल की .