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सीएम शिवराज ने की पेयजल की स्थिति पर समीक्षा बैठक, अधिकारियों को दिए निर्देश

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पानी की समस्या को लेकर बैठक ली. बैठक में शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल वितरण की क्या स्थिति है इसकी समीक्षा की गई.

cm shivraj singh chouhan
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान
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Published : May 28, 2021, 9:12 AM IST

भोपाल। कोरोना संकट के बीच मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पानी की समस्या को लेकर बैठक ली. बैठक में शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल वितरण की क्या स्थिति है इसकी समीक्षा की गई. इस दौरान सीएम ने कहा कि जहां पर पानी नहीं है, वहां पर बोरिंग की जाए. पेयजल की समस्या है वहां पर वैकल्पिक व्यवस्था की जाए. जल जीवन मिशन की सभी परियोजनाओं को जल्दी पूरा करें.


विदिशा में स्वच्छता के दावों की खुली पोल, कीचड़ के बीच लगे हैंडपंप से पानी पीने को मजबूर लोग

प्रदेश के 95% से अधिक हैंडपंप चालू
मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि जिस जगह पर एक से अधिक दिनों में पानी की सप्लाई हो रही है, वहां पर जल जीवन मिशन को प्राथमिकता दें. इसके साथ ही उन्होंने बुरहानपुर और निवाड़ी में परियोजनाओं की भी जानकारी ली. बता दें कि पानी की पूर्ति हो इसके लिए केंद्र सरकार ने लगभग 5 हजार 1 सौ करोड़ रुपए दिए है. इस दौरान अधिकारियों ने बताया कि प्रदेश के 95% से अधिक हैंडपंप चालू हैं. उन्होंने बताया कि जहां जल स्तर नीचे चला गया है, वहां पर 20580 हैंडपंपों की समस्या है. ग्रामीण क्षेत्रों में 16561 नल परियोजनाओं में से 15630 योजना चालू हैं. प्रदेश के 407 नगरी निकाय में से 351 में प्रतिदिन और 56 में 1 दिन छोड़कर जल दिया जाता है. किसी को कोई समस्या ना हो इसके लिए हैंडपंप सुधार शिकायत निवारण प्रकोष्ठ बनाए गए हैं.

भोपाल। कोरोना संकट के बीच मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पानी की समस्या को लेकर बैठक ली. बैठक में शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल वितरण की क्या स्थिति है इसकी समीक्षा की गई. इस दौरान सीएम ने कहा कि जहां पर पानी नहीं है, वहां पर बोरिंग की जाए. पेयजल की समस्या है वहां पर वैकल्पिक व्यवस्था की जाए. जल जीवन मिशन की सभी परियोजनाओं को जल्दी पूरा करें.


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प्रदेश के 95% से अधिक हैंडपंप चालू
मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि जिस जगह पर एक से अधिक दिनों में पानी की सप्लाई हो रही है, वहां पर जल जीवन मिशन को प्राथमिकता दें. इसके साथ ही उन्होंने बुरहानपुर और निवाड़ी में परियोजनाओं की भी जानकारी ली. बता दें कि पानी की पूर्ति हो इसके लिए केंद्र सरकार ने लगभग 5 हजार 1 सौ करोड़ रुपए दिए है. इस दौरान अधिकारियों ने बताया कि प्रदेश के 95% से अधिक हैंडपंप चालू हैं. उन्होंने बताया कि जहां जल स्तर नीचे चला गया है, वहां पर 20580 हैंडपंपों की समस्या है. ग्रामीण क्षेत्रों में 16561 नल परियोजनाओं में से 15630 योजना चालू हैं. प्रदेश के 407 नगरी निकाय में से 351 में प्रतिदिन और 56 में 1 दिन छोड़कर जल दिया जाता है. किसी को कोई समस्या ना हो इसके लिए हैंडपंप सुधार शिकायत निवारण प्रकोष्ठ बनाए गए हैं.

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